मधुबनी: सुखेत गांव में कचरे से कमाई योजना के अंतर्गत कचरे के बदले गैस देने की योजना की शुरुआत की गई है. डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ रमेश चंद्र श्रीवास्तव ने इस योजना की शुरुआत की. उन्होंने इस कार्यक्रम की शुरुआत फीता काटकर किया.
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कचरे से कमाई योजना
मिथिला रीति रिवाज के अनुसार कुलपति को पाग, दुपट्टा ,मखाना माला से सम्मानित किया गया. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने बताया इस योजना को शुरू करना उनके सपने के सच होने जैसा है. इस योजना से ना सिर्फ गांव में सफाई रहेगी बल्कि पूरे गांव की खाद की जरूरत भी पूरी हो जाएगी.
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रोजगार के अवसर
इस योजना से गांव में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे. गांव में हर परिवार को गीला एवं सूखा कचरा अलग अलग रखने के लिए हरा और नारंगी रंग का डस्टबिन दिया जा रहा है. विश्वविद्यालय की ओर से घर-घर जाकर कचरे का उठाव किया जाएगा और उसे वर्मी कंपोस्ट बनाकर बिक्री की जाएगी. गांव के कचरे के बदले 2 महीने में एक एलपीजी सिलेंडर दिया जाएगा.