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PMO के हस्तक्षेप के बाद छेड़खानी के आरोपी शिक्षक समेत हेड मास्टर और क्लर्क पर FIR - Molestation Case Filed After PMO Interference

रामरुचि बालिका उच्च विद्यालय (Ramruchi Girls High School In Gaya) में एक साल पहले छेड़खानी का मामला सामने आया था. पीड़िता ने इस मामले की शिकायत की. जिसके बाद शिक्षा विभाग ने जांच के आदेश दिए. विभागीय जांच में आरोपी को क्लिन चिट मिला. आखिरकार पीड़िता ने अपने खिलाफ हुए अन्याय की शिकायत पीएमओ में की. पीएमओ ने गया एसएसपी को मामले की जांच के निर्देश दिए हैं. पढ़ें पूरी खबर...

गया में शिक्षका के साथ छेड़खानी का मामला
गया में शिक्षका के साथ छेड़खानी का मामला
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Published : Jul 1, 2022, 9:10 PM IST

गया: बिहार के गया जिले के रामरुचि बालिका उच्च विद्यालय के हेड मास्टर, शिक्षक और क्लर्क पर एफआईआर दर्ज हुआ है. उन पर स्कूल के छात्रा और शिक्षकाओं के साथ छेड़खानी करने का आरोप (Molestation Case Filed After PMO Interference) लगा है. यह मामला एक साल पहले 2021 का है. इसको लेकर पीड़िताओं ने शिक्षा विभाग से लेकर कई जगहों पर शिकायत की लेकिन आरोपियों को क्लीनचीट मिल गया. ऐसे में पीड़ित शिक्षिका ने मामले की शिकायत PMO में की. पीएमओ के हस्तक्षेप के बाद करीब एक साल के देरी से थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई.

यह भी पढ़ें: VIDEO: ये हैं बिहार के रंगीन टीचर.. बच्चों के साथ बैठकर देखते हैं अश्लील गाने, शिक्षा विभाग में हड़कंप

नशे में धुत था मुख्य आरोपी शिक्षक: कोतवाली थाना में इस मामले का कांड दर्ज कराया गया है. जिसमें रामरुचि स्कूल के शिक्षक अरविंद कुमार, हेडमास्टर और क्लर्क को आरोपी बनाया गया है. कोतवाली थानाध्यक्ष ने इसकी पुष्टि की है. जानकारी के अनुसार कोतवाली थाना अंतर्गत रामरुचि बालिका उच्च विद्यालय की छात्राओं और शिक्षिका के साथ विद्यालय के ही शिक्षक ने छेड़खानी की थी. आरोप था कि शराब के नशे में धुत शिक्षक ने अश्लीलता करने का प्रयास किया था. जिससे किसी तरह उन लोगों ने अपनी आबरू बचाई थी.

यह भी पढ़ें: पटना से सटे मसौढ़ी के स्कूलों में बुनियादी सुविधाओं का अभाव, ऐसी व्यवस्था में कैसे पढ़ेंगे नौनिहाल?

विभागीय जांच में मिला क्लीन चिट: यह घटना 26 जनवरी 2021 को सरकारी कार्यक्रम से लौटने के दौरान हुई थी. पीड़िता ने इस मामले की शिकायत शिक्षा विभाग में की. जिसके बाद विभाग ने कुछ अधिकारियों को जांच कर रिपोर्ट देने को कहा था. जांच में आरोपी शिक्षक को क्लीन चिट मिल गई. नतीजतन मामला दबकर रह गया था. वहीं पीड़ित शिक्षिका इस मामले को लेकर लगातार सीएमओ से लेकर अन्य जांच विभाग को लेकर पहुंची. आखिरकार पीड़िता ने थक हारकर पीएमओ में शिकायत की.

"पीएमओ से इस तरह के आवेदन आते ही संबंधित थाने को सुपुर्द कर दिए जाते हैं. इस तरह के कई मामले सुपुर्द किए गए हैं. उन्हें बीते दिन भी पीएमओ से लेटर आए थे. जिसके बाद संबंधित थाना को कार्रवाई के लिए कहा गया था. एसएसपी हरप्रीत कौर ने बताया कि रामरुचि बालिका उच्च विद्यालय गया के शिक्षक के द्वारा छेड़खानी का मामला संज्ञान में नहीं है. मामले में साक्ष्यों के आधार पर कार्रवाई की जाएगी और दोषी को बख्शा नहीं जाएगा" -हरप्रीत कौर, एसएसपी, गया

पीएमओ से एसपी को जांच के निर्देश: पीएमओ ने इस मामले की जांच के लिए गया एसएसपी हरप्रीत कौर को आवश्यक निर्देश दिया है. गया एसएसपी ने निर्देशानुसार तत्काल कार्रवाई करते हुए मामले को कोतवाली थानाध्यक्ष कौशलेंद्र कुमार अकेला को सुपुर्द किया. जिसके बाद कोतवाली थाना की पुलिस हरकत में आई और केस दर्ज कर लिया है. कोतवाली थानाध्यक्ष ने बताया कि आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर कर जांच शुरू है. विद्यालय की ही महिला टीचर की शिकायत पर यह एफआईआर दर्ज हुई है.पीएमओ ऑफिस से मिले निर्देश के सवाल पर उसे टालते हुए थानाध्यक्ष ने कहा कि सीएमओ समेत कई विभागों में शिक्षिका के द्वारा शिकायत की गई थी.

गया: बिहार के गया जिले के रामरुचि बालिका उच्च विद्यालय के हेड मास्टर, शिक्षक और क्लर्क पर एफआईआर दर्ज हुआ है. उन पर स्कूल के छात्रा और शिक्षकाओं के साथ छेड़खानी करने का आरोप (Molestation Case Filed After PMO Interference) लगा है. यह मामला एक साल पहले 2021 का है. इसको लेकर पीड़िताओं ने शिक्षा विभाग से लेकर कई जगहों पर शिकायत की लेकिन आरोपियों को क्लीनचीट मिल गया. ऐसे में पीड़ित शिक्षिका ने मामले की शिकायत PMO में की. पीएमओ के हस्तक्षेप के बाद करीब एक साल के देरी से थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई.

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नशे में धुत था मुख्य आरोपी शिक्षक: कोतवाली थाना में इस मामले का कांड दर्ज कराया गया है. जिसमें रामरुचि स्कूल के शिक्षक अरविंद कुमार, हेडमास्टर और क्लर्क को आरोपी बनाया गया है. कोतवाली थानाध्यक्ष ने इसकी पुष्टि की है. जानकारी के अनुसार कोतवाली थाना अंतर्गत रामरुचि बालिका उच्च विद्यालय की छात्राओं और शिक्षिका के साथ विद्यालय के ही शिक्षक ने छेड़खानी की थी. आरोप था कि शराब के नशे में धुत शिक्षक ने अश्लीलता करने का प्रयास किया था. जिससे किसी तरह उन लोगों ने अपनी आबरू बचाई थी.

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विभागीय जांच में मिला क्लीन चिट: यह घटना 26 जनवरी 2021 को सरकारी कार्यक्रम से लौटने के दौरान हुई थी. पीड़िता ने इस मामले की शिकायत शिक्षा विभाग में की. जिसके बाद विभाग ने कुछ अधिकारियों को जांच कर रिपोर्ट देने को कहा था. जांच में आरोपी शिक्षक को क्लीन चिट मिल गई. नतीजतन मामला दबकर रह गया था. वहीं पीड़ित शिक्षिका इस मामले को लेकर लगातार सीएमओ से लेकर अन्य जांच विभाग को लेकर पहुंची. आखिरकार पीड़िता ने थक हारकर पीएमओ में शिकायत की.

"पीएमओ से इस तरह के आवेदन आते ही संबंधित थाने को सुपुर्द कर दिए जाते हैं. इस तरह के कई मामले सुपुर्द किए गए हैं. उन्हें बीते दिन भी पीएमओ से लेटर आए थे. जिसके बाद संबंधित थाना को कार्रवाई के लिए कहा गया था. एसएसपी हरप्रीत कौर ने बताया कि रामरुचि बालिका उच्च विद्यालय गया के शिक्षक के द्वारा छेड़खानी का मामला संज्ञान में नहीं है. मामले में साक्ष्यों के आधार पर कार्रवाई की जाएगी और दोषी को बख्शा नहीं जाएगा" -हरप्रीत कौर, एसएसपी, गया

पीएमओ से एसपी को जांच के निर्देश: पीएमओ ने इस मामले की जांच के लिए गया एसएसपी हरप्रीत कौर को आवश्यक निर्देश दिया है. गया एसएसपी ने निर्देशानुसार तत्काल कार्रवाई करते हुए मामले को कोतवाली थानाध्यक्ष कौशलेंद्र कुमार अकेला को सुपुर्द किया. जिसके बाद कोतवाली थाना की पुलिस हरकत में आई और केस दर्ज कर लिया है. कोतवाली थानाध्यक्ष ने बताया कि आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर कर जांच शुरू है. विद्यालय की ही महिला टीचर की शिकायत पर यह एफआईआर दर्ज हुई है.पीएमओ ऑफिस से मिले निर्देश के सवाल पर उसे टालते हुए थानाध्यक्ष ने कहा कि सीएमओ समेत कई विभागों में शिक्षिका के द्वारा शिकायत की गई थी.

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