बक्सर: बिहार में प्रथम चरण की शिक्षक बहाली की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है और लगभग 1 लाख 20 हजार 336 शिक्षकों की बहाली हुई है. शिक्षकों की ट्रेनिंग चल रही है. ऐसे में ट्रेनिंग सेंटर का शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक निरीक्षण कर रहे हैं. इसी कड़ी में गुरुवार को केके पाठक बक्सर के डुमरांव पहुंचे.
'स्कूल से 15 किमी के दायरे में रहें शिक्षक'- केके पाठक: डुमरांव के जिला शिक्षक प्रशिक्षण संस्थान (डायट) का केके पाठक ने निरीक्षण किया. उन्होंने इस दौरान शिक्षकों को सख्त निर्देश देते हुए स्कूल के 15 किलोमीटर के दायरे में रहने की नसीहत दी है. केके पाठक ने कहा कि जिसे भी गांव में नहीं रहना है वे वापस जा सकते हैं.
"बिहार में शिक्षा का माहौल सुधर रहा है. लेकिन अभी और सुधार की आवश्यकता है. ऐसे में पहले की तरह देर से आना और पहले चले जाना अब नहीं चलेगा. शिक्षक नियमित रूप से विद्यालय पहुंचे और शिक्षा के माहौल को और भी बेहतर बनाने में अपना योगदान दें."- केके पाठक, अपर मुख्य सचिव, शिक्षा विभाग
'रहने की व्यवस्था स्कूल के पास कर लें': बता दें कि देर शाम जिला अतिथि गृह में केके पाठक की जिलाधिकारी अंशुल अग्रवाल सहित अन्य वरीय अधिकारियों के साथ बैठक हुई. फिर रात तकरीबन 11 बजे वे कैमूर के लिए प्रस्थान कर गए. बक्सर आने पर सबसे पहले वे डुमरांव स्थित डाइट प्रशिक्षण केंद्र गए, जहां वह प्रशिक्षण ले रहे नव नियुक्त शिक्षकों से मिले. यहां उन्होंने शिक्षकों से यह पूछा कि क्या उन्होंने अपने रहने की व्यवस्था अपने विद्यालयों के समीप कर ली है?
'गांव में रहने की आदत डाल लें'- केके पाठक: जिन शिक्षकों ने हां में उत्तर दिया, केके पाठक उन्हें वेरी गुड कहते हुए अन्य शिक्षकों को भी जल्द से जल्द अपने लिए स्कूल के समीप ही आवास की व्यवस्था कर लेने का निर्देश दिया. चर्चित अपर सचिव ने कहा कि विद्यालय के 15 किलोमीटर के दायरे में अपने रहने की व्यवस्था जरूर कर लें. अब पहले की तरह नहीं चलेगा कि दूर से आकर थक गये और पहले निकल गये. लंबी नौकरी है गांव में रहने की आदत अभी से डाल लें.
दो-तीन शिक्षक साथ में रहें- केके पाठक: केके पाठक को शिक्षकों ने भी अपनी समस्याओं से अवगत कराया. जिसे सुनने के बाद केके पाठक ने कहा कि सरकार जब तक आप लोगों के रहने की व्यवस्था नहीं करती है तब तक आप लोग अपने विद्यालय के 15 किलोमीटर के दायरे में रूम ले लें. 50 किलोमीटर की दूरी रोज तय करना संभव नहीं है. दो तीन लोग मिलकर एक रूम ले लें और साथ में रहें.
'समय का शिक्षक रखें ख्याल': केके पाठक ने कहा कि एक पंचायत मुख्यालय में दो-तीन स्कूल होते हैं, किसी पंचायत मुख्यालय में आप लोग दो-तीन लोग एक साथ रह सकते हैं. केके पाठक ने गांव में रहने को अच्छा बताते हुए कहा कि गांव में रहेंगे तो पढ़ाई का माहौल बनेगा. अगर गांव में रहना पसंद है तो आप लोग आ सकते हैं नहीं तो वापस भेज दिया जाएगा. देर से स्कूल आना और जल्दी चले जाना किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
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