बांका: कोरोना महामारी में आर्थिक तंगी ने सभी को परेशान किया है. इससे छात्र-छात्राएं भी अछूता नहीं हैं. शिक्षक प्रशिक्षण संस्थान बांका में अध्ययनरत प्रशिक्षु शिक्षकों के बीच भी आर्थिक तंगी का दौर शुरू हो चुका है. इम्तिहान सर पर है और उसके लिए फॉर्म भरवाया जा रहा है, लेकिन उनके पास हॉस्टल फीस और फॉर्म भरने के लिए पैसे नहीं है.
कोरोना काल में है आर्थिक स्थिति खराब
आर्थिक तंगी की वजह से उनके अभिभावकों की स्थिति भी बेहद खराब हो गई है. प्राचार्य से फीस माफी की गुहार तो लगाई. लेकिन उन्होंने हाथ खड़े कर दिए. इसके बाद प्रशिक्षु शिक्षक हॉस्टल फीस माफी के लिए डीएम के पास पहुंचे. मुलाकात नहीं हो सकी और मजबूरन ओएसडी को आवेदन सुपुर्द कर निराश लौटना पड़ा.
8 हजार मांगा जा रहा है हॉस्टल फीस
प्रथम वर्ष वालों से 4 हजार और द्वितीय वर्ष वालों से हॉस्टल फीस के नाम पर 8 हजार मांगा जा रहा है, जो देना मुश्किल है. साथ ही कहा जा रहा है कि अटेंडेंस पूरा नहीं हुआ तो उसे अलग से 4 से 5 हजार देने पड़ेंगे. अब फॉर्म भरने के समय सभी को परेशान किया जा रहा है. हम सभी की मांग है कि हॉस्टल फीस माफ किया जाए.
हॉस्टल फीस माफ करने का नहीं है अधिकार- प्राचार्य
शिक्षा प्रशिक्षण संस्थान बांका के प्राचार्य जयकांत पासवान ने बताया कि हॉस्टल फीस माफी का अधिकार मेरे पास नहीं है. फीस माफी को लेकर विभागीय स्तर पर भी कोई पत्र प्राप्त नहीं हुआ है. परीक्षा के लिए फॉर्म भरने में और हॉस्टल फीस जो तय किए गए हैं. प्रशिक्षु शिक्षकों को जमा कराना होगा. फीस माफी को लेकर विभागीय स्तर पर अगर कोई गाइडलाइन आता है तो उस पर अमल किया जाएगा.