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कॉमनवेल्थ गेम्स में शूटिंग को जोड़ने का कोई मतलब नहीं: सीजीएफ प्रमुख - कॉमनवेल्थ गेम्स

सीजीएफ प्रमुख लुईस मार्टिन ने कहा, बहिष्कार करने की धमकी के बावजूद 2022 बर्मिंघम खेलों के कार्यक्रम में निशानेबाजी को शामिल नहीं किया जाएगा.

CWF Cheif Louis Martin
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Published : Nov 13, 2019, 11:09 PM IST

नई दिल्ली: राष्ट्रमंडल खेल महासंघ (सीजीएफ) के एक अधिकारी ने गुरूवार को कहा कि भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) की बहिष्कार करने की धमकी के बावजूद 2022 बर्मिंघम खेलों के कार्यक्रम में निशानेबाजी को शामिल नहीं किया जाएगा. ये बात उन्होंने दोनों खेल संस्थाओं के बीच होने वाली अहम बैठक से पहले कही.

सीजीएफ प्रमुख लुईस मार्टिन और सीईओ डेविड गेवमबर्ग शुक्रवार को आईओए प्रमुख नरेंद्र बत्रा और महासचिव राजीव मेहता से मुलाकात करेंगे.

CWF Cheif Louis Martin
2022 बर्मिंघम खेल

सीजीएफ मीडिया एंड कम्युनिकेशंस के निदेशक टॉम डिगुन ने मीडिया से बातचीत में कहा कि जनरल असेंबली के बाद इस चरण में 2022 कॉमनवेल्थ गेम्स में शूटिंग को जोड़ने का कोई वास्तविक मौका नहीं है, लेकिन इस पर चर्चा होगी. आईओए खेल में भारत की उत्कृष्ट पदक गणना का हवाला देते हुए सीजीएफ को निशानेबाजी के अपने फैसले पर पुनर्विचार करने का प्रयास करेगा.

इस साल की शुरुआत में रवांडा में आयोजित एक सभा में सीजीएफ ने ये पुष्टि की थी कि 2022 में होने वाले राष्ट्रमंडल खेलों में शूटिंग को शामिल नहीं किया जाएगा. इसकी जगह महिला टी 20 क्रिकेट सहित तीन अन्य खेलों को शामिल किया गया था.

CWF Cheif Louis Martin
शूटिंग

इस मसले पर सीजीएफ ने कहा, राष्ट्रमंडल खेलों में शूटिंग मुख्य खेलों में से नहीं है, इसलिए मेजबान देश इसे खेलों के रोस्टर से बाहर कर सकता है. शूटिंग को एक मुख्य खेल के रूप में जोड़ने से सीजीएफ के संविधान में एक संशोधन की आवश्यकता होगी जिसमें समय लग सकता है

आपको बता दें कि राष्ट्रमंडल खेलों में भारत ने सबसे ज्यादा मेडल शूटिंग में ही जीते है. गोल्ड कोस्ट में आयोजित पिछले संस्करण में भारत ने सात स्वर्ण सहित 16 पदक मिले. शूटिंग को 1974 के बाद पहली बार गेम रोस्टर से बाहर रखा गया है.

नई दिल्ली: राष्ट्रमंडल खेल महासंघ (सीजीएफ) के एक अधिकारी ने गुरूवार को कहा कि भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) की बहिष्कार करने की धमकी के बावजूद 2022 बर्मिंघम खेलों के कार्यक्रम में निशानेबाजी को शामिल नहीं किया जाएगा. ये बात उन्होंने दोनों खेल संस्थाओं के बीच होने वाली अहम बैठक से पहले कही.

सीजीएफ प्रमुख लुईस मार्टिन और सीईओ डेविड गेवमबर्ग शुक्रवार को आईओए प्रमुख नरेंद्र बत्रा और महासचिव राजीव मेहता से मुलाकात करेंगे.

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2022 बर्मिंघम खेल

सीजीएफ मीडिया एंड कम्युनिकेशंस के निदेशक टॉम डिगुन ने मीडिया से बातचीत में कहा कि जनरल असेंबली के बाद इस चरण में 2022 कॉमनवेल्थ गेम्स में शूटिंग को जोड़ने का कोई वास्तविक मौका नहीं है, लेकिन इस पर चर्चा होगी. आईओए खेल में भारत की उत्कृष्ट पदक गणना का हवाला देते हुए सीजीएफ को निशानेबाजी के अपने फैसले पर पुनर्विचार करने का प्रयास करेगा.

इस साल की शुरुआत में रवांडा में आयोजित एक सभा में सीजीएफ ने ये पुष्टि की थी कि 2022 में होने वाले राष्ट्रमंडल खेलों में शूटिंग को शामिल नहीं किया जाएगा. इसकी जगह महिला टी 20 क्रिकेट सहित तीन अन्य खेलों को शामिल किया गया था.

CWF Cheif Louis Martin
शूटिंग

इस मसले पर सीजीएफ ने कहा, राष्ट्रमंडल खेलों में शूटिंग मुख्य खेलों में से नहीं है, इसलिए मेजबान देश इसे खेलों के रोस्टर से बाहर कर सकता है. शूटिंग को एक मुख्य खेल के रूप में जोड़ने से सीजीएफ के संविधान में एक संशोधन की आवश्यकता होगी जिसमें समय लग सकता है

आपको बता दें कि राष्ट्रमंडल खेलों में भारत ने सबसे ज्यादा मेडल शूटिंग में ही जीते है. गोल्ड कोस्ट में आयोजित पिछले संस्करण में भारत ने सात स्वर्ण सहित 16 पदक मिले. शूटिंग को 1974 के बाद पहली बार गेम रोस्टर से बाहर रखा गया है.

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कॉमनवेल्थ गेम्स में शूटिंग को जोड़ने का कोई मतलब नहीं: सीजीएफ प्रमुख



नई दिल्ली: राष्ट्रमंडल खेल महासंघ (सीजीएफ) के एक अधिकारी ने गुरूवार को कहा कि भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) की बहिष्कार करने की धमकी के बावजूद 2022 बर्मिंघम खेलों के कार्यक्रम में निशानेबाजी को शामिल नहीं किया जाएगा. ये बात उन्होंने दोनों खेल संस्थाओं के बीच होने वाली अहम बैठक से पहले कही.



सीजीएफ प्रमुख लुईस मार्टिन और सीईओ डेविड गेवमबर्ग शुक्रवार को आईओए प्रमुख नरेंद्र बत्रा और महासचिव राजीव मेहता से मुलाकात करेंगे.



सीजीएफ मीडिया एंड कम्युनिकेशंस के निदेशक टॉम डिगुन ने मीडिया से बातचीत में कहा कि जनरल असेंबली के बाद इस चरण में 2022 कॉमनवेल्थ गेम्स में शूटिंग को जोड़ने का कोई वास्तविक मौका नहीं है, लेकिन इस पर चर्चा होगी. आईओए खेल में भारत की उत्कृष्ट पदक गणना का हवाला देते हुए सीजीएफ को निशानेबाजी के अपने फैसले पर पुनर्विचार करने का प्रयास करेगा.



इस साल की शुरुआत में रवांडा में आयोजित एक सभा में सीजीएफ ने ये पुष्टि की थी कि 2022 में होने वाले राष्ट्रमंडल खेलों में शूटिंग को शामिल नहीं किया जाएगा. इसकी जगह महिला टी 20 क्रिकेट सहित तीन अन्य खेलों को शामिल किया गया था.



 इस मसले पर सीजीएफ ने कहा, राष्ट्रमंडल खेलों  में शूटिंग मुख्य खेलों में से नहीं है, इसलिए मेजबान देश इसे खेलों के रोस्टर से बाहर कर सकता है. शूटिंग को एक मुख्य खेल के रूप में जोड़ने से सीजीएफ के संविधान में एक संशोधन की आवश्यकता होगी जिसमें समय लग सकता है



आपको बता दें कि राष्ट्रमंडल खेलों  में भारत ने सबसे ज्यादा मेडल शूटिंग में ही जीते है. गोल्ड कोस्ट में आयोजित पिछले संस्करण में भारत ने सात स्वर्ण सहित 16 पदक मिले. शूटिंग को 1974 के बाद पहली बार गेम रोस्टर से बाहर रखा गया है.




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