पटना: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) कार्यालय के बाहर सोमवार को वार्ड सचिवों ने अपनी मांगों के समर्थन में प्रदर्शन (Panchayat Ward Secretary Protest) किया. इस दौरान उन्होंने जमकर बवाल काटा और कई वाहनों के शीशे तोड़ दिए. बाद में इन्हें तितर बितर करने के लिए पुलिस को वाटर कैनन का इस्तेमाल करना पड़ा तथा हल्के बल का भी प्रयोग करना पड़ा. फिलहाल स्थिति सामान्य है.
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पुलिस के मुताबिक, सोमवार को अपनी मांगों को लेकर बड़ी संख्या में वार्ड सचिव भाजपा प्रदेश कार्यालय के बाहर पहुंच गए और हंगामा करने लगे. इसकी सूचना मिलने के बाद पुलिस जब वहां पहुंची तब प्रदर्शनकारी आक्रामक हो गए और पुलिस पर पथराव प्रारंभ कर दिए. प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने पहले वाटरकैनन के जरिए पानी की बौछार प्रारंभ कर दी. इसके बाद भी जब वे नहीं मानें तो पुलिस को बल प्रयोग (Lathi charge on panchayat ward secretaries) करना पड़ा.
इस दौरान वार्ड सचिवों ने भी जमकर पत्थर बरसाए. स्थिति नियंत्रण से बाहर निकलते देख पुलिस को आंसू गैस के गोले भी छोड़ने पड़े. प्रदर्शनकारियों ने पुलिस वाहन तथा आने-जाने वाले वाहनों को भी निशाना बनाया. इस बीच, वीरचंद पटेल मार्ग पर अफरा-तफरी की स्थिति बनी रही.
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पुलिस के एक अधिकारी का दावा है कि प्रदर्शनकारियों के पथराव में करीब 50 पुलिसकर्मियों को चोट आई है. कई प्रदर्शनकारियों के घायल होने की सूचना है. उन्होंने कहा कि प्रदर्शनकारियों से सड़क को खाली करा दिया गया है, धीरे-धीरे स्थिति को सामान्य किया गया. इधर, प्रदर्शनकारी का कहना है कि वे लोग अपनी मांगों को लेकर 13 दिनों से गर्दनीबाग धरनास्थल पर बैठे हैं, लेकिन उनकी सुध सरकार नहीं ले रही है.
प्रदर्शनकारी बकाया मानदेय का भुगतान और स्थायीकरण की मांग को लेकर पिछले 13 दिन से गर्दनीबाग धरना स्थल पर बैठे हुए हैं. सोमवार को ये सभी भाजपा कार्यालय पहुंच गए.
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बता दें कि राज्य में एक लाख से अधिक वार्ड सचिवों की नियुक्ति की गई थी. वार्ड सचिवों का आरोप है कि लगातार पांच साल काम करने के बाद एक रुपये इन्हें नहीं मिला है. उनका कहना है कि अब सरकार उन्हें हटाकर नए वार्ड सचिवों की नियुक्ति करने जा रही है. वार्ड सचिवों की मांग है कि उनकी नियुक्ति को स्थायी किया जाए और वार्ड सचिवों को हटाने संबंधी पत्र वापस लिया जाएं.
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