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सरकार पार्ट-2 का पहला बजट कल, जानें क्या है छात्रों और शिक्षकों की उम्मीदें - Nirmala Sitaraman

वित्तीय वर्ष 2019-20 का आम बजट शुक्रवार को पेश किया जाएगा. इस बजट से लोगों को कई उम्मीदें हैं.

बजट पर आम लोगों की राय
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Published : Jul 4, 2019, 6:09 PM IST

Updated : Jul 4, 2019, 9:26 PM IST

भागलपुर: केंद्र सरकार की शुक्रवार को वित्तीय वर्ष 2019-20 का आम बजट वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में पेश करेंगी. हर किसी की निगाह बजट पर टिकी है. आम आदमी से लेकर वरिष्ठ, किसान, छात्र, शिक्षक सभी बजट को लेकर आशान्वित है. भागलपुर के छात्र और शिक्षकों की बजट पर क्या राय है ईटीवी भारत ने जानने की कोशिश की.

'शिक्षा के व्यापारीकरण को रोके सरकार'
एलएलबी छात्र रवि कुशवाहा ने कहा कि आम बजट में शिक्षा, रोजगार और स्वास्थ्य की समस्याओं को सरकार से प्राथमिकता देने की जरुरत है. उन्होंने कहा कि शिक्षा के व्यापारीकरण को रोका जाना चाहिए. B.Ed के फीस में बेतहाशा वृद्धि रोकने पर सरकार को विशेष ध्यान देना चाहिए. उन्होंने कहा कि सरकार किस क्षेत्र में कितना बजट खर्च कर रही इसकी जानकारी सार्वजनिक की जानी चाहिए. साथ ही उन्होंने उम्मीद जताई कि सिल्क सिटी भागलपुर को विशेष सौगात जरूर मिलेगी.

बजट पर आम लोगों की राय

'एमबीबीएस में सीट कम, ध्यान दे सरकार'
वहीं पटना के बीडीएस कॉलेज में एमबीबीएस के छात्र ने कहा कि एमबीबीएस में सीटें कम है उसे बढ़ाना चाहिए. उन्होंने कहा कि 20 साल पहले पावापुरी कॉलेज का बिहार में शुभारंभ हुआ था तब से आज तक किसी कॉलेज का दोबारा ना तो शिलान्यास हुआ ना ही कोई योजना दिख रही है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा पटना एम्स में सीट बढ़ाई गयी फिर भी अबतक निश्चित फैसला नहीं हो पा रहा है.

रेलवे के निजीकरण का विरोध
अर्थशास्त्र के छात्र अजय राम ने रोजगार की कमी पर निराशा जाहिर की और कहा कि सर्वजनिक कंपनी को निजी हाथों में दिया जा रहा है. सरकार एजेंडा बनाकर इसे खत्म करना चाह रही है. रेलवे के निजीकरण का भी उन्होंने विरोध किया. उन्होंने कहा कि इससे रेलवे के रोजगार में कमी आएगी.

'शिक्षा के क्षेत्र में कई सुधार जरुरी'
मारवाड़ी कॉलेज के राजनीतिक शास्त्र विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ रमेश चंद्र राय को आगामी बजट से बहुत उम्मीदे हैं.उन्होंने कहा कि यूनिवर्सिटी एजुकेशन में शिक्षकों की कमी है इसे दूर करना चाहिए. उन्होंने स्कूली शिक्षा पर भी सवाल खड़े करते हुए कहा कि अभी जो स्टूडेंट्स एडमिशन कॉलेज में ले रहे हैं वे कुछ जानते नहीं हैं, क्योंकि स्कूल एजुकेशन चौपट हो गई है. उन्होंने सरकार से शिक्षा के क्षेत्र में कई सुधार की जरूरत बताई.

भागलपुर: केंद्र सरकार की शुक्रवार को वित्तीय वर्ष 2019-20 का आम बजट वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में पेश करेंगी. हर किसी की निगाह बजट पर टिकी है. आम आदमी से लेकर वरिष्ठ, किसान, छात्र, शिक्षक सभी बजट को लेकर आशान्वित है. भागलपुर के छात्र और शिक्षकों की बजट पर क्या राय है ईटीवी भारत ने जानने की कोशिश की.

'शिक्षा के व्यापारीकरण को रोके सरकार'
एलएलबी छात्र रवि कुशवाहा ने कहा कि आम बजट में शिक्षा, रोजगार और स्वास्थ्य की समस्याओं को सरकार से प्राथमिकता देने की जरुरत है. उन्होंने कहा कि शिक्षा के व्यापारीकरण को रोका जाना चाहिए. B.Ed के फीस में बेतहाशा वृद्धि रोकने पर सरकार को विशेष ध्यान देना चाहिए. उन्होंने कहा कि सरकार किस क्षेत्र में कितना बजट खर्च कर रही इसकी जानकारी सार्वजनिक की जानी चाहिए. साथ ही उन्होंने उम्मीद जताई कि सिल्क सिटी भागलपुर को विशेष सौगात जरूर मिलेगी.

बजट पर आम लोगों की राय

'एमबीबीएस में सीट कम, ध्यान दे सरकार'
वहीं पटना के बीडीएस कॉलेज में एमबीबीएस के छात्र ने कहा कि एमबीबीएस में सीटें कम है उसे बढ़ाना चाहिए. उन्होंने कहा कि 20 साल पहले पावापुरी कॉलेज का बिहार में शुभारंभ हुआ था तब से आज तक किसी कॉलेज का दोबारा ना तो शिलान्यास हुआ ना ही कोई योजना दिख रही है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा पटना एम्स में सीट बढ़ाई गयी फिर भी अबतक निश्चित फैसला नहीं हो पा रहा है.

रेलवे के निजीकरण का विरोध
अर्थशास्त्र के छात्र अजय राम ने रोजगार की कमी पर निराशा जाहिर की और कहा कि सर्वजनिक कंपनी को निजी हाथों में दिया जा रहा है. सरकार एजेंडा बनाकर इसे खत्म करना चाह रही है. रेलवे के निजीकरण का भी उन्होंने विरोध किया. उन्होंने कहा कि इससे रेलवे के रोजगार में कमी आएगी.

'शिक्षा के क्षेत्र में कई सुधार जरुरी'
मारवाड़ी कॉलेज के राजनीतिक शास्त्र विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ रमेश चंद्र राय को आगामी बजट से बहुत उम्मीदे हैं.उन्होंने कहा कि यूनिवर्सिटी एजुकेशन में शिक्षकों की कमी है इसे दूर करना चाहिए. उन्होंने स्कूली शिक्षा पर भी सवाल खड़े करते हुए कहा कि अभी जो स्टूडेंट्स एडमिशन कॉलेज में ले रहे हैं वे कुछ जानते नहीं हैं, क्योंकि स्कूल एजुकेशन चौपट हो गई है. उन्होंने सरकार से शिक्षा के क्षेत्र में कई सुधार की जरूरत बताई.

Intro:केंद्र की सरकार की ओर से कल वित्तीय वर्ष 2019- 20 का आम बजट वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में पेश करेगी। इसको लेकर जोर-शोर से तैयारियां चल रही है । हर किसी की निगाह बजट पर टिकी हुई है । आम आदमी से लेकर वरिष्ठ , किसान , छात्र ,शिक्षक सभी की उम्मीदें लगी हुई है । बजट पर भागलपुर के छात्र और शिक्षक क्या सोचते हैं इस पर हमने कुछ छात्र और शिक्षकों से बात की । एक छात्र ने एमबीबीएस सीट बढ़ाने की मांग की तो दूसरे ने शिक्षा के व्यापारी करण रोकने की बात कही तो वहीं विश्वविद्यालय के शिक्षक ने टीचर कम होने की बात कही ।


भागलपुर के रहने वाले और एलएलबी के छात्र रवि कुशवाहा ने कहा कि आम बजट में शिक्षा , रोजगार और स्वास्थ्य की समस्याओं को सरकार से प्राथमिकता देने की बात कही । उन्होंने कहा कि शिक्षा का व्यापारी करण हो रहा है जिसे रोका जाए । उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका रूस में 6 प्रतिशत शिक्षा व्यय है जबकि भारत में कम है । भारत में भी शिक्षा व्यय 6प्रतिशत हो ।

उन्होंने उम्मीद जताई है कि भागलपुर को इस बार विशेष सौगात मिलेगी भागलपुर सिल्क सिटी है सिम किस सिटी के नाम से विश्व में विख्यात है जबकि भागलपुर का सीन कॉलेज बंद है यह दुर्भाग्य की बात है कि इस बात को कोई भी स्थानीय नेता सदन में नहीं उठाते हैं और उनके बारे में नहीं सोचते हैं उन्होंने कहा कि शिक्षा के व्यापारी होने के कारण B.Ed के फीस में बेतहाशा वृद्धि हो गई है । इस पर सरकार को विशेष ध्यान देना चाहिए । सरकारी B.Ed कॉलेज खोलें और प्राइवेट B.Ed कॉलेज पर लगाम लगाए । देश में आईआईटी और केंद्रीय विश्वविद्यालय खोले जाएं साथ ही उन्होंने कहा कि सरकार किस क्षेत्र में कितना बजट खर्च कर रहा है और वह कितने रोजगार पैदा करेगी उसे बताना चाहिए ।


वही पटना के बीडीएस कॉलेज के एमबीबीएस के छात्र ने कहा कि एमबीबीएस में सीट बिहार में कम है उसे बढ़ाना चाहिए । उन्होंने कहा कि 20 साल पहले पावापुरी कॉलेज का बिहार में शुभारंभ हुआ था तब से आज तक किसी कॉलेज का फिर दोबारा ना तो शिलान्यास हुआ ना ही कोई योजना दिख रही है ।

उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा पटना एम्स में सीट बढ़ा दिया गया फिर गिल्डर के द्वारा कभी नालंदा दरभंगा मधेपुरा लेकर जा रहे हैं अभी तक फैसला नहीं हो पा रहा है ।.


उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों की अपेक्षा बिहार में सीट बहुत कम है महाराष्ट्र बंगाल में 250 सीटें जबकि बिहार में केवल एक 1120 जबकि यहां एमबीबीएस पढ़ने वाले विद्यार्थी बहुत ज्यादा है ।


Body:अर्थशास्त्र के छात्र अजय राम ने रोजगार में कटौती पर बोलते हुए कहा कि सर्वजनिक कंपनी को निजी हाथों में दिया जा रहा है । सरकार एजेंडा बनाकर इसे खत्म करना चाह रही है । जिस तरह से रेलवे को निजी हाथों में दिया जा रहा है इससे अभी जो लोगों को रोजगार मिल रहा है उसमें कमी आएगी । वर्तमान में बहुत सारी कंपनियां बंद हो चुकी है कई कंपनियां बंद होने के कगार पर है । उन्होंने कहा कि एयर इंडिया और बीएसएनल का हालत खराब है । इस कंपनी को सरकार विशेष सुविधा देकर ऊपर उठाना चाहिए और इसे बचाना चाहिए । इस कंपनी से देश की बहुत ही बड़ी आबादी रोजगार पा रहे हैं ।


मारवाड़ी कॉलेज के राजनीतिक शास्त्र विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ रमेश चंद्र राय को आगामी बजट से बहुत उम्मीद है । उन्होंने कहा कि यूनिवर्सिटी एजुकेशन में शिक्षकों की कमी है । जिसे बाहालकरना चाहिए । उन्होंने कहा कि नंबर ऑफ टीचर्स विभाग में इतना कम है कि विभाग बड़ी मुश्किल से चला पा रहे हैं ।नए सिस्टम आ गए हैं पेपर्स की संख्या बढ़ गई है और शिक्षक रिटायर हो रहे हैं नई बहाली हो नहीं रही है । इस सरकार से उम्मीद है कि नई बाहाली कर शिक्षकों की कमी को दूर करें । उन्होंने कहा कि अभी पढ़ाई कि सिर्फ खानापूर्ति हो रही है साथ ही उन्होंने सिस्टम सुधार की जरूरत बताई । उन्होंने स्कूली शिक्षा पर भी सवाल खड़े करते हुए कहा कि अभी जो स्टूडेंट्स एडमिशन कॉलेज में ले रहे हैं वे कुछ जानते नहीं हैं ,क्योंकि स्कूल एजुकेशन चौपट हो गई है । उन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में सरकार को बहुत कुछ करने की जरूरत बताई है ।


Conclusion:BYTE - रवि कुशवाहा ( एलएलबी छात्र )
BYTE - आलोक रंजन ( एमबीबीएस छात्र )
BYTE - अजय राम ( अर्थशास्त्र छात्र )
BYTE - डॉ रमेश चंद्र राय ( मारवाड़ी कॉलेज राजनीतिक शास्त्र विभागाध्यक्ष )
Last Updated : Jul 4, 2019, 9:26 PM IST
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