पूर्णियाः प्रशांत किशोर अपने जन सुराज कार्यक्रम के तहत शुक्रवार काे बिहार के पूर्णिया पहुंचे (Prashant Kishor on Seemanchal tour). यहां पत्रकारों से बात करते हुए प्रशांत किशोर ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर जमकर प्रहार किया (Prashant Kishor attack on Nitish Kumar). उन्हाेंने नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा 'अगर फेविकोल कंपनी वाले मुझसे मिलेंगे तो मैं उनको सलाह दूंगा कि नीतीश कुमार जी को अपना ब्रांड एंबेसडर बना लें. किसी की भी सरकार हो, लेकिन वो कुर्सी से चिपके हुए रहते हैं'.
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प्रशांत किशाेर काे बीजेपी की बी टीम बताने वाले नीतीश कुमार के बयान पर प्रशांत किशोर ने पलटवार करते हुए कहा कि एक महीने पहले तक 90 डिग्री के कोण पर झुक कर वो प्राणाम कर रहे थे, वो अगर किसी को बीजेपी की बी टीम कह रहे हैं तो ये हास्यास्पद है. प्रशांत किशोर ने ये भी कहा कि उन्हें नहीं लगता है, बिहार की हालिया राजनीतिक घटना का राष्ट्रीय राजनीति पर कोई असर पड़ेगा. पूर्णिया में उन्होंने जन सुराज के कई कार्यक्रमों में हिस्सा लिया और लोगों से जन सुराज की सोच के बारे में संवाद स्थापित किया. उन्होंने कहा कि बिहार को अगर विकसित राज्यों की श्रेणी में खड़ा करना है तो तीन बिंदुओं पर काम करना होगा- 'सही लोग, सही सोच और सामूहिक प्रयास'.
'सही लोग, सही सोच और सामूहिक प्रयास' को विस्तार से समझाते हुए कहा कि दाे अक्तूबर से शुरू हो रहे पदयात्रा के माध्यम से बिहार के हर गांव, प्रखंड में जाना है. हर घर का दरवाजा खटखटाना चाहते हैं, ताकि समाज को मथ कर सही लोगों को चिन्हित किया जा सके. उन्हाेंने कहा कि ऐसे सभी सही लोगों के माध्यम से हम बिहार के वास्तविक मुद्दों को समझने का प्रयास करेंगे. प्रशांत किशोर ने बताया कि सही सोच का अर्थ है बिहार के विकास के लिए प्रयास करने की सोच और इसके लिए जबतक सामूहिक प्रयास नहीं होगा, कोई व्यक्ति या कोई दल अकेले बिहार को आगे नहीं बढ़ा सकता है. इसलिए सामूहिक प्रयास की आवश्यकता है.
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"मेरा मकसद सीएम या पीएम बनना नहीं है. मैं अपने जीवनकाल में बिहार को देश के अग्रणी राज्यों में देखना चाहता हूं. मैंने देश के कई राज्यों में काम किया है और बिहार उनके मुकाबले बहुत पीछे है. बिहार से कंप्यूटर, स्टील या कोई भी उत्पाद बाहर नहीं जाता है. बिहार से बाहर अगर कुछ जाता है तो वो है अनस्किल्ड लेबर. बिहार के युवा देश के अलग- अलग राज्यों में सबसे मुश्किल काम करते हैं. मैं इस स्थिति को बदलना चाहता हूं. मेरा मकसद बिहार के अच्छे लोगों को राजनीति में लाने का है. मैं सत्ता नहीं व्यवस्था परिवर्तन के लिए संघर्ष करने का प्रयास कर रहा हूं." -प्रशांत किशोर, चुनावी रणनीतिकार
प्रशांत किशोर ने कहा कि पदयात्रा (Prashant Kishors Jan Suraj)के एक महीने के भीतर सामूहिक रूप से यह तय होगा कि आगे राजनीतिक दल बनाना है या नहीं बनाना है. उन्होंने कहा कि सभी लोग मिलकर ही आगे का रास्ता तय करेंगे. प्रशांत किशोर ने जोर देकर कहा अगर कोई दल बनता है तो वो प्रशांत किशोर उसके नेता या अध्यक्ष नहीं होंगे, वो दल उन सारे व्यक्तियों का होगा जो इस सोच से जुड़कर इसके निर्माण में संस्थापक बनेंगे.आगे की रणनीति पर विजन पर बात करते हुए प्रशांत किशोर ने कहा हम चाहते हैं कि 2034 तक बिहार विकास के सभी मापदंडों पर देश के अग्रणी राज्यों में शामिल हो.
चाहे शिक्षा का मुद्दा हो या स्वास्थ का, चाहे रोजगार की बात हो या पलायन का, हम सभी क्षेत्रों में बिहार की स्थिति को सबसे बेहतर करना चाहते हैं और इसी के लिए ये सारा प्रयास कर रहे हैं. इस पदयात्रा के बाद बिहार के समग्र विकास के लिए 10 सबसे महत्वपूर्ण विषय जैसे शिक्षा, स्वास्थ, सड़क, रोजगार आदि पर एक विस्तृत ब्लूप्रिंट जारी करेंगे और उसमे सिर्फ समस्या नहीं गिनाएंगे बल्कि उसका ठोस समाधान भी बताएंगे. ये पूरा ब्लूप्रिंट जमीन पर लोगों से बात कर बनाई जाएगी, इसके बाद भी अगर कोई व्यक्ति इसमें कुछ सुझाव देना चाहते हैं तो वो भी दे सकते हैं.