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कोरोना महामारी शुरू होने के बाद से 2.15 करोड़ लोगों को रोजगार का नुकसान हुआ : सरकार

कोरोना महामारी के कारण पर्यटन उद्योग से जुड़े 2.15 करोड़ लोगों को रोजगार का नुकसान उठाना पड़ा है. ये जानकारी केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी ने लोकसभा में दी.

Union Tourism Minister G Kishan Reddy
केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी
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Published : Mar 14, 2022, 3:30 PM IST

नई दिल्ली : केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी (Union Tourism Minister G Kishan Reddy) ने सोमवार को कहा कि वर्ष 2020 के प्रारंभ में कोविड-19 महामारी की शुरुआत के बाद से इसकी तीन लहरों के कारण पर्यटन उद्योग से जुड़े 2.15 करोड़ लोगों को रोजगार का नुकसान उठाना पड़ा है. लोकसभा में प्रश्नकाल के दौरान रेड्डी ने बताया कि कोविड-19 महामारी की शुरुआत के बाद पहली लहर में देश में पर्यटकों के आगमन में 93 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई जबकि दूसरी लहर में 79 प्रतिशत और तीसरी लहर में 64 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई.

पर्यटन मंत्री ने बताया कि सरकार ने पर्यटन पर महामारी के प्रभावों को लेकर एक अध्ययन कराया है और इस अध्ययन के अनुसार, पहली लहर में 1.45 करोड़ लोगों को रोजगार का नुकसान उठाना पड़ा जबकि दूसरी लहर में 52 लाख लोगों को और तीसरी लहर में 18 लाख लोगों को रोजगार का नुकसान उठाना पड़ा. रेड्डी ने बताया कि देश में महामारी आने से पहले 3.8 करोड़ लोग पर्यटन उद्योग से जुड़े हुए थे.

उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी की तीन लहरों के दौरान पर्यटन आधारित अर्थव्यवस्था में काफी गिरावट दर्ज की गई है जिसका असर न केवल भारत में, बल्कि दुनियाभर में पड़ा है. जी किशन रेड्डी ने हालांकि कहा कि देश में कोविड-19 रोधी टीकों की 180 करोड़ खुराक दिए जाने से सरकार को उम्मीद है कि पर्यटन क्षेत्र की स्थिति बेहतर होगी.उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र को मदद देने के लिए सरकार यात्रा एवं पर्यटन क्षेत्र के पक्षकारों को 10 लाख रुपये तक और पर्यटन गाइडों को एक लाख रुपये तक ब्याज मुक्त रिण प्रदान कर रही है.

'पर्यटन स्थलों की रैंकिंग में भारत की स्थिति बेहतर'
उन्होंने कहा, 'मैं सभी राज्य सरकारों से अपील करता हूं कि वे जिस तरह से भी हो सके, पर्यटन क्षेत्र की मदद करें.' मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार की पर्यटन अनुकूल पहल के कारण विश्व के पर्यटन स्थलों की रैंकिंग में भारत की स्थिति 20 स्थान बेहतर हुई है और यह वर्ष 2013 के 52वें स्थान से बेहतर होकर 2019 में 32वें स्थान पर पहुंच गई है. उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों को प्रोत्साहित करने के लिए सरकार ने पहले ही प्रथम पांच लाख आगमन पर वीजा फीस छोड़ देने का निर्णय किया है. मंत्री ने बताया कि कोरोना महामारी के फैलने के बाद से मार्च 2022 तक 51,960 नियमित वीजा और 1.57 लाख ई वीजा भारत द्वारा दिए गए.

पढ़ें- MICE टूरिज्म : जानिए, क्या हैं सरकार की भावी योजनाएं, कैसे आकर्षित होंगे विदेशी पर्यटक
(पीटीआई-भाषा)

नई दिल्ली : केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी (Union Tourism Minister G Kishan Reddy) ने सोमवार को कहा कि वर्ष 2020 के प्रारंभ में कोविड-19 महामारी की शुरुआत के बाद से इसकी तीन लहरों के कारण पर्यटन उद्योग से जुड़े 2.15 करोड़ लोगों को रोजगार का नुकसान उठाना पड़ा है. लोकसभा में प्रश्नकाल के दौरान रेड्डी ने बताया कि कोविड-19 महामारी की शुरुआत के बाद पहली लहर में देश में पर्यटकों के आगमन में 93 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई जबकि दूसरी लहर में 79 प्रतिशत और तीसरी लहर में 64 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई.

पर्यटन मंत्री ने बताया कि सरकार ने पर्यटन पर महामारी के प्रभावों को लेकर एक अध्ययन कराया है और इस अध्ययन के अनुसार, पहली लहर में 1.45 करोड़ लोगों को रोजगार का नुकसान उठाना पड़ा जबकि दूसरी लहर में 52 लाख लोगों को और तीसरी लहर में 18 लाख लोगों को रोजगार का नुकसान उठाना पड़ा. रेड्डी ने बताया कि देश में महामारी आने से पहले 3.8 करोड़ लोग पर्यटन उद्योग से जुड़े हुए थे.

उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी की तीन लहरों के दौरान पर्यटन आधारित अर्थव्यवस्था में काफी गिरावट दर्ज की गई है जिसका असर न केवल भारत में, बल्कि दुनियाभर में पड़ा है. जी किशन रेड्डी ने हालांकि कहा कि देश में कोविड-19 रोधी टीकों की 180 करोड़ खुराक दिए जाने से सरकार को उम्मीद है कि पर्यटन क्षेत्र की स्थिति बेहतर होगी.उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र को मदद देने के लिए सरकार यात्रा एवं पर्यटन क्षेत्र के पक्षकारों को 10 लाख रुपये तक और पर्यटन गाइडों को एक लाख रुपये तक ब्याज मुक्त रिण प्रदान कर रही है.

'पर्यटन स्थलों की रैंकिंग में भारत की स्थिति बेहतर'
उन्होंने कहा, 'मैं सभी राज्य सरकारों से अपील करता हूं कि वे जिस तरह से भी हो सके, पर्यटन क्षेत्र की मदद करें.' मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार की पर्यटन अनुकूल पहल के कारण विश्व के पर्यटन स्थलों की रैंकिंग में भारत की स्थिति 20 स्थान बेहतर हुई है और यह वर्ष 2013 के 52वें स्थान से बेहतर होकर 2019 में 32वें स्थान पर पहुंच गई है. उन्होंने कहा कि अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों को प्रोत्साहित करने के लिए सरकार ने पहले ही प्रथम पांच लाख आगमन पर वीजा फीस छोड़ देने का निर्णय किया है. मंत्री ने बताया कि कोरोना महामारी के फैलने के बाद से मार्च 2022 तक 51,960 नियमित वीजा और 1.57 लाख ई वीजा भारत द्वारा दिए गए.

पढ़ें- MICE टूरिज्म : जानिए, क्या हैं सरकार की भावी योजनाएं, कैसे आकर्षित होंगे विदेशी पर्यटक
(पीटीआई-भाषा)

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