भीलवाड़ा. जिले के मांडल थाना क्षेत्र में दो दिन पहले हुए चर्चित नारायण गुर्जर हत्याकांड में अब नया विवाद खड़ा हो गया है. मांडल थाना पुलिस ने बीती रात हत्या के आरोप के मामले में थाना क्षेत्र के सिरडियास गांव से युवक को हिरासत में लिया, जिसकी गुरुवार को मौत हो गई. परिजनों का आरोप है कि पुलिस ने उसके साथ मारपीट की थी. मांडल थाना प्रभारी ने मारपीट से इनकार किया है.
हिरासत में युवक की मौत की सूचना जैसे ही परिजनों को लगी काफी संख्या में मृतक युवक के परिवार वाले व रिश्तेदार मांडल चिकित्सालय पंहुचे गए और विरोध प्रदर्शन किया. वहीं क्षेत्रीय भाजपा विधायक उदयलाल भड़ाना भी हॉस्पिटल पहुंचे और मृतक युवक के परिजनों से समझाइश की. भड़ाना ने कहा कि परिजनों ने मेडिकल बोर्ड से पोस्टमार्टम सहित न्यायिक अधिकारी की निगरानी में जांच की मांग की है. हमने भी प्रशासन को अवगत करवा दिया है.
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मांडल थाना प्रभारी संजय गुर्जर ने मारपीट से इनकार करते हुए कहा कि युवक को पूछताछ के लिए लाते समय रास्ते में ही इसकी हालत बिगड़ गई थी. उसे मांडल अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टर्स ने उसे बचाने के प्रयास किए, लेकिन वह बच नहीं पाया. शव का मेडिकल बोर्ड से पोस्टमार्टम करवाया जाएगा. इसके बाद स्थिति साफ हो पाएगी कि आखिर युवक की मौत की वजह क्या रही.
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बीते दो दिन पूर्व मांडल थाना क्षेत्र के रहने वाले नारायण गुर्जर की उन्हीं के दोस्तों ने रंजिश के चलते पीट-पीट कर हत्या कर दी थी. इस मामले में मांडल पुलिस ने हत्या का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की. नारायण गुर्जर की हत्या के वक्त प्रयुक्त कार चालक मुकेश कुमावत को बीती रात क्षेत्र के सिदडियास गांव से हिरासत में लेकर पूछताछ की. मुकेश को गांव से थाने लाते समय अचानक तबीयत खराब हो गई. उपचार के दौरान गुरुवार को उसकी मौत हो गई. मृतक युवक के परिजन पुलिस पर मारपीट का आरोप लगा रहे हैं.
मृतक मुकेश कुमावत के पिता गिरधारी लाल कुमावत का आरोप है कि बीती रात को पुलिस वाले उसके घर आए और बेटे के बारे में पूछताछ की. पिता ने बताया कि उसका बेटा नोहरे में है, तो वे लोग सरपंच के साथ उसके बेटे के पास गए. उसे अपनी गाड़ी में बिठाकर थाने ले गए. इस दौरान बेटे की तबीयत खराब हो गई और उसकी मौत हो गई. इसकी सूचना भी किसी दूसरे व्यक्ति ने दी, पिता को पुलिस वालों ने सूचित नहीं किया. पिता की मांग है कि थाना पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई हो.