लखनऊ: राजधानी के चारबाग समेत प्रदेश के 23 बस अड्डे पीपीपी मॉडल पर बनने का रास्ता साफ हो गया है. अब इन बस अड्डों को अस्थाई तौर पर शिफ्ट किया जाएगा. इसके लिए उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम प्रशासन ने जिलाधिकारी और उपजिलाधिकारी को पत्र भेजकर अगले दो साल के लिए अस्थाई तौर पर खाली जगह की डिमांड की है. कहा है कि खाली जगह पर बस स्टेशन को अस्थाई तौर पर शिफ्ट कर यात्रियों को रोडवेज की सुविधा उपलब्ध कराई जानी है.
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उत्तर प्रदेश राज्य सड़क निगम मुख्यालय में इस संबंध में आज बैठक बुलाई गई है. इसमें लखनऊ के चारबाग बस स्टेशन को आलमबाग या अस्थाई तौर पर चारबाग के आसपास शिफ्ट करने पर फैसला लिया जाएगा. यूपीएसआरटीसी के एमडी मासूम अली सरवर ने इस संबंध में बताया कि प्रमुख सचिव परिवहन विभाग वेंकटेश्वर लू की अध्यक्षता में नौ अगस्त को दोपहर तीन बजे वीडियो कांफ्रेसिंग होंगी. 23 बस स्टेशनों में 11 बस स्टेशनों को दो वर्षो के लिए अस्थाई तौर पर शिफ्ट करने की दिशा में अंतिम फैसला लिया जाएगा. ये बस अड्डे पीपीपी माॅडल के आधार पर डेवलप किए जाएंगे. यात्रियों के लिए सुविधाएं बढ़ेंगी.
रद किया जाएगा बस स्टेशन की दुकानों का अनुबंध
लखनऊ परिक्षेत्र के क्षेत्रीय प्रबंधक आरके त्रिपाठी ने बताया कि वर्तमान में बस स्टेशन पर संचालित दुकानों का अनुबंध निरस्त किया जाएगा. दरअसल, बीते दो वर्षों के दौरान टेंडर की शर्तों में पीपीपी मॉडल पर बस स्टेशन विकसित करने के दौरान अनुबंध निरस्त करने का हवाला दिया गया था. ऐसी स्थिति में टेंडर रद्द होने पर ठेकेदार कोई अपत्ति दर्ज नहीं करा सकेंगे.
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