धमतरी: बीते एक दशक में भारत दुनिया की पांचवी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है. कई अंतर्राष्ट्रीय संस्थाओं का आंकलन है कि आने वाले दो-तीन सालों में भारत इस लिस्ट के टॉप 3 में शामिल हो जाएगा. इस तूफानी आर्थिक प्रगति के पीछे कई बड़ी वजह है. इन्हीं वजहों में से एक है भारत में एक के बाद एक सामने आ रहे नए स्टार्टअप. आज ईटीवी भारत की टीम आपको ऐसी ही एक जुनूनी महिला से मिलाने जा रहे हैं. इनका नाम है शिमाब अली, जो धमतरी की निवासी है.
नौकरी छोड़ बनाया इलेक्ट्रिक व्हीकल: धमतरी की शिमाब अली अपने अनोखे इलेक्ट्रिक व्हीकल पर काम कर रही है. इससे पहले शिमाब एसबीआई बैंक में मैनेजर के पद पर थी. बचपन से ही शिमाब को मशीन, इलेक्ट्रिक और इलेक्ट्रॉनिक्स में दिलचस्पी रही है. वो भले ही बैंक में प्रबंधन संभाल रही थी, लेकिन उनके दिमाग में हमेशा नए नए आईडिया आते रहते थे. ऐसे ही एक दिन उन्हें लोगों के आने जाने के लिए एक आइडिया सूझा और अपने भीतर के जुनून के लिए शिमाब ने नौकरी से इस्तीफा दे दिया. जिसके बाद 6 माह की कड़ी मेहनत के बाद तैयार किया यह अनोखा इलेक्ट्रिक व्हीकल.
अनोखे इलेक्ट्रिक व्हीकल की खासियतें: इस इलेक्ट्रिक व्हीकल को बनाने में शिमाब अली को करीब 35 हज़ार का खर्च आया. इस खर्च में एक्सपेरिमेंट, कोलेटरल एक्सपेंसेस भी शामिल है. अगर आज हम इसे बनायें, तो अब करीब 18 हजार तक ही खर्च आएगा. कुछ ही घण्टो में फूल चार्ज होने वाली बैटरी इसमें लगाई गई है. एक बार की चार्जिंग में यह इलेक्ट्रिक व्हीकल 20 किलोमीटर तक चल सकती है. इसकी सबसे खास बात यह है कि इसे बच्चे भी चला सकते हैं और बड़े भी. इसे छोटे मोटे काम निपटाने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है.
इसे तैयार करने में करीब 6 महीने का समय लगा है. यह दिखने में भी अच्छी है और एक बार की चार्जिंग में यह 20 किलोमीटर तक चल सकती है. यह आपको करीब 18 हजार रुपये में मिल सकती है. यह मेरा स्टार्टअप है. इसके जरिए मैंने अपने शौंक को बिजनेस में कन्वर्ट करने का सोचा है. - शिमाब अली, व्हीकल प्रोड्यूसर
इलेक्ट्रिक व्हीकल बाजार में उतारने की है तैयारी: शिमाब अली इस इलेक्ट्रिक व्हीकल पर लगातार काम कर रही है, ताकि इसे और अपग्रेड किया जा सके. इलेक्ट्रिक व्हीकल के अगले वर्जन में टायर और सस्पेंशन को बेहतर करने की योजना है. शिमाब चाहती है कि वो इस इलेक्ट्रिक व्हीकल की टेक्नोलॉजी और बिजनेस आइडिया के लिए किसी बड़ी कंपनी से डील करें. साथ ही इलेक्ट्रिक व्हीकल के बाजार में अपना भी नाम और काम बुलंदी पर ले कर जाएं.