कुचामनसिटी : जिले के नावां विधानसभा क्षेत्र के एक जर्जर स्कूल में बच्चे जान को जोखिम में डालकर पढ़ने के लिए मजबूर हैं. बारिश के मौसम में बच्चे पढ़ाई नहीं कर पा रहे हैं. बारिश होते ही स्कूल की छत से पानी की धार बहने लगती है. शिक्षक मोहर सिंह ने बताया कि दोपहर का भोजन भी बच्चे खड़े-खड़े खाने के लिए मजबूर हैं. उन्होंने कहा कि ऐसे हालात में बच्चों की पढ़ाई कैसे होगी ?. बारिश होते ही क्लासरूम में पानी भर जाता है. वहीं, इस मामले पर जिला शिक्षा अधिकारी सुरेंद्र सिंह शेखावत का कहना है कि स्कूल के बारे में जानकारी मिली है. जल्द ही समाधान किया जाएगा और जब तक समाधान नहीं होता है, बच्चों को दूसरी जगह शिफ्ट कर दिया जाएगा.
ये हालात हैं जिले के श्यामगढ़ गांव में बने राजकीय बालिका विद्यालय के. यहां पिछले काफी समय से बच्चे स्कूल के जर्जर भवन में पढ़ने के लिए मजबूर हैं. ग्रामवासी और शिक्षक इसके बारे में शिक्षा विभाग, प्रशासन व जनप्रतिनिधि को कई बार बता चुके हैं, लेकिन किसी ने भी अभी तक इस स्कूल की सुध नहीं ली है. वहीं, स्कूल के प्राचार्य ने बताया कि उन्होंने स्कूल विकासखंड समिति के अध्यक्ष, ग्राम पंचायत के सरपंच और सभी को स्कूल के जर्जर भवन की स्थिति के बारे में बताया है.
राजकीय बालिका विद्यालय में कक्षा 1 से कक्षा 8 तक के कुल 86 बच्चे पढ़ते हैं. स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों राकेश कुमार, बाबूलाल, अनीता और सुमन ने बताया कि बारिश में उनका बैग, किताबें, कपड़ा सब भीग जाता है. स्कूल आने तक का रास्ता भी ठीक नहीं है. बारिश में ये और जर्जर हो गया है. स्कूल आने-जाने में उन्हें काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है.