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करहल उपचुनाव; परिवार के साथ तेज प्रताप ने किया नामांकन, अखिलेश बोले-बहराइच में भाजपा ने कराया दंगा

मैनपुरी की करहल विधानसभा सीट से उपचुनाव को लेकर समाजवादी पार्टी प्रत्याशी तेज प्रताप यादव ने किया नामांकन, अखिलेश, डिंपल और शिवपाल यादव रहे मौजूद

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नामांकन दाखिल करते तेज प्रताप यादव. (Etv Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Oct 21, 2024, 3:35 PM IST

मैनपुरीः उत्तर प्रदेश में उपचुनाव का रण शुरू हो चुका है. नौ विधानसभा सीटों पर होने वाले चुनाव को लेकर आज से नामंकन प्रक्रिया आज से शुरू हो गई है. इसी कड़ी में समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव के सांसद बनने से खाली हुई मैनपुरी की करहल विधानसभा सीट से तेज प्रताप सिंह ने नामांकन दाखिल किया.

तेज प्रताप यादव सपा मुखिया अखिलेश यादव, राज्यसभा सांसद प्रोफेसर रामगोपाल यादव, आजमगढ़ सांसद धर्मेंद्र यादव, चाचा शिवपाल सिंह यादव, मैनपुरी सांसद डिंपल यादव के अलावा अपने समर्थकों के साथ नामांकन करने पहुंचे. जिला निर्वाचन कार्यालय पहुंचकर प्रस्तावकों के साथ नामांकन पत्र दाखिल किया.

अखिलेश यादव की मौजूदगी में तेज प्रताप ने दाखिल किया नामांकन. (Video Credit; ETV Bharat)

नगमांकन के बाद अखिलेश यादव ने मीडिया से बातचीत करते हुए विपक्ष पर जमकर निशाना साधा और जेत प्रताप की जीत का दावा किया. उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के लोग बाबा साहब भीमराव अंबेडकर के संविधान और हर संस्था से ऊपर समझते हैं. उन्होंने कहा कि इतना भ्रष्टाचार और बेईमानी कभी नहीं हुई, जितनी इस सरकार में हो रही है.

बहराइच हिंसा को लेकर भारतीय जनता पार्टी ने जानबूझकर के दंगा कराया. किसी भी सवाल का जवाब जनता में नहीं दे सकते हैं, इसीलिए राजनीतिक लाभ लेने के लिए दंगा कराया है. अखिलेश यादव ने कहा कि करहल से सपा प्रत्याशी चुनाव जीत रहे हैं, जबकि बीजेपी के पास प्रत्याशी नहीं है, वह अभी ढूंढ रहे हैं. गठबंधन को लेकर कहा कि यह दो दलों की बात है, हम लोग रास्ता निकाल लेंगे. जनता भाजपा को इस चुनाव में हरा करके विदाई का रास्ता खोल देगी. उन्होंने कहा कि किसानों को फसल की सही कीमत देंगे और दुगनी आय कर देंगे.

एक सवाल के जवाब में अखिलेश यादव ने कहा कि सबसे ज्यादा घटनाएं जो टेक्नोलॉजी के माध्यम से होती हैं, वह उत्तर प्रदेश में हो रही हैं. एआई आने के बाद बहुत सी चीजें बदल रही है. जब जर्मनी जैसा देश ईवीएम को अनकंस्टीट्यूशनल कह रहा है तो स्वाभाविक है उस पर सवाल खड़े होंगे.

अखिलेश ने कहा कि महंगाई वैसे ही बढ़ती चली जा रही है, बेरोजगारी वैसे ही बढ़ती चली जा रही है. जिस रफ्तार से समाजवादियों ने विकास करना शुरू किया था उस विकास को इन्होंने रोकने का काम किया है. अयोध्या में सरकार ने बीएलओ, अधिकारियों को हटा दिया. जब इंटरनल सर्वे कराया तो बीजेपी हार रही थी, फिर मुख्यमंत्री जी ने बार-बार कार्यक्रम लगाया, फिर सर्वे कराया उसमें भी बीजेपी हार रही थी.

जानिए कौन हैं तेज प्रताप : गौरतलब है कि तेज प्रताप यादव सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव के बड़े भाई रतन सिंह यादव के नाती और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के दामाद हैं. तेज प्रताप यादव 2014 में मैनपुरी लोकसभा से उपचुनाव में पहली बार सांसद चुने गए थे. तेज प्रताप की शादी लालू प्रसाद यादव की बेटी राज लक्ष्मी यादव से वर्ष 2015 में हुई थी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी इस शादी में शामिल हुए थे. तेज प्रताप का का जन्म 21 नवंबर 1987 को हुआ था. दिल्ली के दिल्ली पब्लिक स्कूल से शिक्षा ग्रहण की है. वर्ष 2005 में इंटरमीडिएट की परीक्षा पास की थी. 2008 में एमिटी यूनिवर्सिटी नोएडा से बीकॉम किया था. उसके बाद वर्ष 2009 में लंदन की लीड्स यूनिवर्सिटी से एमबीए की डिग्री हासिल की थी. तेज प्रताप ने अपना राजनीतिक करियर वर्ष 2004 में शुरू किया था. सबसे पहले वे क्षेत्र पंचायत सदस्य सैफई से निर्विरोध चुने गए थे. 2012 में सैफई के ब्लाक प्रमुख निर्विरोध चुने गए थे.

इसे भी पढ़ें-अखिलेश यादव वाली करहल सीट पर सपा प्रत्याशी तय, तेज प्रताप यादव होंगे उम्मीदवार

मैनपुरीः उत्तर प्रदेश में उपचुनाव का रण शुरू हो चुका है. नौ विधानसभा सीटों पर होने वाले चुनाव को लेकर आज से नामंकन प्रक्रिया आज से शुरू हो गई है. इसी कड़ी में समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव के सांसद बनने से खाली हुई मैनपुरी की करहल विधानसभा सीट से तेज प्रताप सिंह ने नामांकन दाखिल किया.

तेज प्रताप यादव सपा मुखिया अखिलेश यादव, राज्यसभा सांसद प्रोफेसर रामगोपाल यादव, आजमगढ़ सांसद धर्मेंद्र यादव, चाचा शिवपाल सिंह यादव, मैनपुरी सांसद डिंपल यादव के अलावा अपने समर्थकों के साथ नामांकन करने पहुंचे. जिला निर्वाचन कार्यालय पहुंचकर प्रस्तावकों के साथ नामांकन पत्र दाखिल किया.

अखिलेश यादव की मौजूदगी में तेज प्रताप ने दाखिल किया नामांकन. (Video Credit; ETV Bharat)

नगमांकन के बाद अखिलेश यादव ने मीडिया से बातचीत करते हुए विपक्ष पर जमकर निशाना साधा और जेत प्रताप की जीत का दावा किया. उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के लोग बाबा साहब भीमराव अंबेडकर के संविधान और हर संस्था से ऊपर समझते हैं. उन्होंने कहा कि इतना भ्रष्टाचार और बेईमानी कभी नहीं हुई, जितनी इस सरकार में हो रही है.

बहराइच हिंसा को लेकर भारतीय जनता पार्टी ने जानबूझकर के दंगा कराया. किसी भी सवाल का जवाब जनता में नहीं दे सकते हैं, इसीलिए राजनीतिक लाभ लेने के लिए दंगा कराया है. अखिलेश यादव ने कहा कि करहल से सपा प्रत्याशी चुनाव जीत रहे हैं, जबकि बीजेपी के पास प्रत्याशी नहीं है, वह अभी ढूंढ रहे हैं. गठबंधन को लेकर कहा कि यह दो दलों की बात है, हम लोग रास्ता निकाल लेंगे. जनता भाजपा को इस चुनाव में हरा करके विदाई का रास्ता खोल देगी. उन्होंने कहा कि किसानों को फसल की सही कीमत देंगे और दुगनी आय कर देंगे.

एक सवाल के जवाब में अखिलेश यादव ने कहा कि सबसे ज्यादा घटनाएं जो टेक्नोलॉजी के माध्यम से होती हैं, वह उत्तर प्रदेश में हो रही हैं. एआई आने के बाद बहुत सी चीजें बदल रही है. जब जर्मनी जैसा देश ईवीएम को अनकंस्टीट्यूशनल कह रहा है तो स्वाभाविक है उस पर सवाल खड़े होंगे.

अखिलेश ने कहा कि महंगाई वैसे ही बढ़ती चली जा रही है, बेरोजगारी वैसे ही बढ़ती चली जा रही है. जिस रफ्तार से समाजवादियों ने विकास करना शुरू किया था उस विकास को इन्होंने रोकने का काम किया है. अयोध्या में सरकार ने बीएलओ, अधिकारियों को हटा दिया. जब इंटरनल सर्वे कराया तो बीजेपी हार रही थी, फिर मुख्यमंत्री जी ने बार-बार कार्यक्रम लगाया, फिर सर्वे कराया उसमें भी बीजेपी हार रही थी.

जानिए कौन हैं तेज प्रताप : गौरतलब है कि तेज प्रताप यादव सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव के बड़े भाई रतन सिंह यादव के नाती और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के दामाद हैं. तेज प्रताप यादव 2014 में मैनपुरी लोकसभा से उपचुनाव में पहली बार सांसद चुने गए थे. तेज प्रताप की शादी लालू प्रसाद यादव की बेटी राज लक्ष्मी यादव से वर्ष 2015 में हुई थी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी इस शादी में शामिल हुए थे. तेज प्रताप का का जन्म 21 नवंबर 1987 को हुआ था. दिल्ली के दिल्ली पब्लिक स्कूल से शिक्षा ग्रहण की है. वर्ष 2005 में इंटरमीडिएट की परीक्षा पास की थी. 2008 में एमिटी यूनिवर्सिटी नोएडा से बीकॉम किया था. उसके बाद वर्ष 2009 में लंदन की लीड्स यूनिवर्सिटी से एमबीए की डिग्री हासिल की थी. तेज प्रताप ने अपना राजनीतिक करियर वर्ष 2004 में शुरू किया था. सबसे पहले वे क्षेत्र पंचायत सदस्य सैफई से निर्विरोध चुने गए थे. 2012 में सैफई के ब्लाक प्रमुख निर्विरोध चुने गए थे.

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