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बारिश के लिए अनूठा यज्ञ, बर्फ के पानी में बैठकर इंद्र देव को मनाया - Yajna For Rain

Parjanya Yagya For Rain, राजस्थान सहित पूरे प्रदेश में अच्छी बारिश के लिए जयपुर के पंडितों ने पर्जन्य यज्ञ किया. पंडितों ने इंद्र देव को प्रसन्न करने के लिए बर्फ के पानी में बैठकर यज्ञ किया.

जयपुर के पंडितों ने किया अनूठा यज्ञ
जयपुर के पंडितों ने किया अनूठा यज्ञ (ETV Bharat Jaipur)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : May 29, 2024, 5:46 PM IST

Updated : May 29, 2024, 5:59 PM IST

जयपुर. नौतपा के प्रचंड गर्मी ने जीव-जंतु, पशु-पक्षी सभी का जीना बेहाल कर रखा है. इससे निजात पाने के लिए जयपुर के पंडितों ने अनूठा यज्ञ कर सूर्यदेव से तीखे तेवर नरम करने की प्रार्थना की है. पंडितों ने बर्फ के ठंडे पानी में बैठकर पर्जन्य यज्ञ करते हुए उदात्त धाराओं से इंद्र भगवान से बरसात की कामना की. इस दौरान विद्वानों ने वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ यज्ञ में आहुतियां भी दीं.

सनातन काल से चली आ रही परंपरा : जयपुर के स्वेज फार्म नीलकंठ महादेव मंदिर पर जयपुर सहित पूरे राजस्थान में अच्छी बारिश के लिए इंद्रदेव को प्रसन्न करने के लिए पर्जन्य यज्ञ हुआ. इस महायज्ञ में 11 पंडितों ने मंत्रों के जरिए इंद्रदेव का आह्वान किया. इस संबंध में पंडित करण शर्मा ने बताया कि धर्म ग्रंथों के अनुसार सनातन काल से ही यज्ञ-हवन की परंपरा चली आ रही है. जनकल्याण के उद्देश्य से सच्चे मन से विधि विधान से यदि अनुष्ठान किया जाए, तो उद्देश्य की पूर्ति भी होती है, इसलिए प्रदेश और देश में अच्छी बारिश के लिए इंद्रदेव को प्रसन्न करने के लिए पानी में बैठकर यज्ञ किया गया, ताकि सर्वोच्च गर्मी के प्रकोप से राहत मिले और अच्छी बारिश हो.

पढ़ें. जोधपुर में बूंदाबांदी के बाद गिरा पारा, लूणी में तेज हवाओं के साथ बारिश - Rain in Jodhpur

इस दौरान ज्योतिष परिषद और शोध संस्थान निदेशक ज्योतिषाचार्य पंडित पुरुषोत्तम गौड़ ने बताया कि नौतपा के चलते सूर्य नारायण की प्रचण्ड गर्मी के कारण चारों तरफ त्राहि-त्राहि मची हुई है, इसलिए पर्जन्य यज्ञ की उदात्त धाराओं से इंद्र देव को प्रसन्न करने के लिए ग्यारह विद्वान वैदिक ब्राह्मणों ने अनूठा अनुष्ठान किया. उन्होंने बताया कि गीता में यज्ञ से पर्जन्य बरसने, पर्जन्य से अन्न उत्पन्न होने, अन्न से बाहुल्य से सुख सम्पदा उपलब्ध होने का उल्लेख है. ऐसे में पर्जन्य का अर्थ आमतौर से बादल से लिया जाता है. उन्होंने उम्मीद जताई कि अगले दो-तीन दिनों में लोगों को गर्मी से जरूर राहत मिलेगी.

जयपुर. नौतपा के प्रचंड गर्मी ने जीव-जंतु, पशु-पक्षी सभी का जीना बेहाल कर रखा है. इससे निजात पाने के लिए जयपुर के पंडितों ने अनूठा यज्ञ कर सूर्यदेव से तीखे तेवर नरम करने की प्रार्थना की है. पंडितों ने बर्फ के ठंडे पानी में बैठकर पर्जन्य यज्ञ करते हुए उदात्त धाराओं से इंद्र भगवान से बरसात की कामना की. इस दौरान विद्वानों ने वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ यज्ञ में आहुतियां भी दीं.

सनातन काल से चली आ रही परंपरा : जयपुर के स्वेज फार्म नीलकंठ महादेव मंदिर पर जयपुर सहित पूरे राजस्थान में अच्छी बारिश के लिए इंद्रदेव को प्रसन्न करने के लिए पर्जन्य यज्ञ हुआ. इस महायज्ञ में 11 पंडितों ने मंत्रों के जरिए इंद्रदेव का आह्वान किया. इस संबंध में पंडित करण शर्मा ने बताया कि धर्म ग्रंथों के अनुसार सनातन काल से ही यज्ञ-हवन की परंपरा चली आ रही है. जनकल्याण के उद्देश्य से सच्चे मन से विधि विधान से यदि अनुष्ठान किया जाए, तो उद्देश्य की पूर्ति भी होती है, इसलिए प्रदेश और देश में अच्छी बारिश के लिए इंद्रदेव को प्रसन्न करने के लिए पानी में बैठकर यज्ञ किया गया, ताकि सर्वोच्च गर्मी के प्रकोप से राहत मिले और अच्छी बारिश हो.

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इस दौरान ज्योतिष परिषद और शोध संस्थान निदेशक ज्योतिषाचार्य पंडित पुरुषोत्तम गौड़ ने बताया कि नौतपा के चलते सूर्य नारायण की प्रचण्ड गर्मी के कारण चारों तरफ त्राहि-त्राहि मची हुई है, इसलिए पर्जन्य यज्ञ की उदात्त धाराओं से इंद्र देव को प्रसन्न करने के लिए ग्यारह विद्वान वैदिक ब्राह्मणों ने अनूठा अनुष्ठान किया. उन्होंने बताया कि गीता में यज्ञ से पर्जन्य बरसने, पर्जन्य से अन्न उत्पन्न होने, अन्न से बाहुल्य से सुख सम्पदा उपलब्ध होने का उल्लेख है. ऐसे में पर्जन्य का अर्थ आमतौर से बादल से लिया जाता है. उन्होंने उम्मीद जताई कि अगले दो-तीन दिनों में लोगों को गर्मी से जरूर राहत मिलेगी.

Last Updated : May 29, 2024, 5:59 PM IST
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