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संभल हिंसा; सपा प्रमुख अखिलेश यादव बोले, पुलिस ने निजी हथियारों से चलाई गोली, घटना के लिए भाजपा-प्रशासन जिम्मेदार

Sambhal Violence Latest Updates: कहा कि यह दंगा सरकार की नाकामियों को छिपाने और जनता का ध्यान भटकाने के लिए जानबूझकर कराया गया है.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Nov 25, 2024, 8:02 PM IST

Updated : Nov 25, 2024, 9:29 PM IST

लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने संभल में हुए दंगे के लिए भाजपा सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए तीखा हमला बोला. कहा कि यह दंगा सरकार की नाकामियों को छिपाने और जनता का ध्यान भटकाने के लिए जानबूझकर कराया गया है. यादव ने दावा किया कि पुलिस ने सरकारी और निजी हथियारों से गोलियां चलाईं, जिसमें 4 युवाओं की जान चली गई. उन्होंने इस घटना को "बेहद दुखद और निंदनीय" करार दिया.

संसद में मुद्दा उठाने से रोका गया: अखिलेश यादव ने कहा कि उनकी पार्टी ने इस मामले को लोकसभा में उठाने की कोशिश की, लेकिन उन्हें मौका नहीं दिया गया. जैसे ही अवसर मिलेगा, यह मुद्दा सदन में उठाया जाएगा. सपा का एक प्रतिनिधिमंडल जल्द ही संभल जाएगा और वहां के पीड़ितों से मुलाकात करेगा.

भाजपा पर पहले भी लगे हैं दंगे कराने के आरोप: अखिलेश यादव ने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार ने कानपुर और बहराइच में भी इसी तरह दंगे कराए गए थे।.बहराइच में तो भाजपा विधायक ने ही अपनी पार्टी के नेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी. भाजपा अन्याय करती है और जब कोई इसका विरोध करता है, तो उसी के खिलाफ मुकदमे दर्ज करा दिए जाते हैं.

सांसद पर झूठे आरोप: समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क के खिलाफ दर्ज मामले को अखिलेश यादव ने झूठा करार दिया. अखिलेश यादव ने स्पष्ट किया कि घटना के समय बर्क बेंगलुरु में थे. कहा कि "भाजपा सरकार ने विधानसभा उपचुनाव में धांधली की, पुलिस से ईवीएम के बटन दबवाए और वोटरों को डराया. इन चुनावी धांधलियों से ध्यान हटाने के लिए ही दंगे कराए गए."

संभल दंगे की पृष्ठभूमि: अखिलेश यादव का कहना है कि 19 नवंबर 2024 को शाही जामा मस्जिद के संबंध में कोर्ट ने एक याचिका पर सर्वे का आदेश दिया था. सर्वे के दौरान मस्जिद कमेटी ने पूरा सहयोग किया और सर्वे संपन्न होने के बाद रिपोर्ट कोर्ट में जमा करने की बात कही गई. इसके बावजूद 24 नवंबर को प्रशासन ने दोबारा सर्वे का फैसला किया, जिससे स्थानीय लोगों में रोष फैल गया.

पुलिस पर बर्बरता के आरोप: अखिलेश यादव ने पुलिस पर बर्बरता का आरोप लगाते हुए कहा कि शांतिपूर्ण ढंग से विरोध कर रहे लोगों पर लाठीचार्ज किया गया और गोलियां चलाई गईं. उन्होंने कहा कि दर्जनों लोग घायल हुए और 4 युवाओं की मौत हो गई.

जिम्मेदारों पर कार्रवाई की मांग: अखिलेश यादव ने कहा कि संभल की घटना के लिए याचिकाकर्ता, प्रशासन और सरकार जिम्मेदार हैं. उन्होंने घटना में शामिल अधिकारियों को निलंबित कर हत्या का मुकदमा चलाने की मांग की है.

संभल की घटना लोकतंत्र और संविधान पर हमला: अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार मुसलमानों को वोट डालने से रोकती है और लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं को बाधित कर संविधान और लोकतंत्र का अपमान कर रही है. समाजवादी पार्टी इस मामले को सदन में उठाने और न्याय के लिए संघर्ष करने की बात कह रही है.

संभल हिंसा को लेकर सपा कार्यकर्ताओं ने प्रयागराज में लगाए पोस्टर.
संभल हिंसा को लेकर सपा कार्यकर्ताओं ने प्रयागराज में लगाए पोस्टर. (Photo Credit; ETV Bharat)

संभल हिंसा पर सपा ने जारी किया पोस्टर; लिखा- गनतंत्र Vs गणतंत्र: यूपी के संभल में हुई हिंसा को समाजवादी पार्टी बड़ा मुद्दा बनाने की तैयारी में है. प्रयागराज में समाजवादी की तरफ से संभल हिंसा को लेकर शहर में पोस्टर लगाए गए हैं. इन पोस्टर में संभल हिंसा की तस्वीरों के साथ लिखा गया है, गन तंत्र बनाम गणतंत्र.

शहर में क्रांति के प्रतीक सुभाष चौराहे पर समाजवादी पार्टी द्वारा लगाए गए ये पोस्टर एक बार फिर विवाद की वजह बन गए हैं. पोस्टर लगाने वाले सपा कार्यकर्ताओं का कहना है कि संभल में हुई हिंसा से साफ हो गया है कि एक वर्ग विशेष के साथ भेदभाव किया जा रहा है. यह स्वस्थ लोकतंत्र के लिए कदापि उचित नहीं है. ऐसा लगता है जैसे देश में गणतंत्र पर गन तंत्र हावी हो गया है.

ये भी पढ़ेंः संभल हिंसा पर उलमा चिंतित; बोले- आखिर क्यों और कैसे हो रहीं ऐसी घटनाएं, रोकने के लिए उठाए जाएं कदम

लखनऊ: समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने संभल में हुए दंगे के लिए भाजपा सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए तीखा हमला बोला. कहा कि यह दंगा सरकार की नाकामियों को छिपाने और जनता का ध्यान भटकाने के लिए जानबूझकर कराया गया है. यादव ने दावा किया कि पुलिस ने सरकारी और निजी हथियारों से गोलियां चलाईं, जिसमें 4 युवाओं की जान चली गई. उन्होंने इस घटना को "बेहद दुखद और निंदनीय" करार दिया.

संसद में मुद्दा उठाने से रोका गया: अखिलेश यादव ने कहा कि उनकी पार्टी ने इस मामले को लोकसभा में उठाने की कोशिश की, लेकिन उन्हें मौका नहीं दिया गया. जैसे ही अवसर मिलेगा, यह मुद्दा सदन में उठाया जाएगा. सपा का एक प्रतिनिधिमंडल जल्द ही संभल जाएगा और वहां के पीड़ितों से मुलाकात करेगा.

भाजपा पर पहले भी लगे हैं दंगे कराने के आरोप: अखिलेश यादव ने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार ने कानपुर और बहराइच में भी इसी तरह दंगे कराए गए थे।.बहराइच में तो भाजपा विधायक ने ही अपनी पार्टी के नेताओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई थी. भाजपा अन्याय करती है और जब कोई इसका विरोध करता है, तो उसी के खिलाफ मुकदमे दर्ज करा दिए जाते हैं.

सांसद पर झूठे आरोप: समाजवादी पार्टी के सांसद जियाउर्रहमान बर्क के खिलाफ दर्ज मामले को अखिलेश यादव ने झूठा करार दिया. अखिलेश यादव ने स्पष्ट किया कि घटना के समय बर्क बेंगलुरु में थे. कहा कि "भाजपा सरकार ने विधानसभा उपचुनाव में धांधली की, पुलिस से ईवीएम के बटन दबवाए और वोटरों को डराया. इन चुनावी धांधलियों से ध्यान हटाने के लिए ही दंगे कराए गए."

संभल दंगे की पृष्ठभूमि: अखिलेश यादव का कहना है कि 19 नवंबर 2024 को शाही जामा मस्जिद के संबंध में कोर्ट ने एक याचिका पर सर्वे का आदेश दिया था. सर्वे के दौरान मस्जिद कमेटी ने पूरा सहयोग किया और सर्वे संपन्न होने के बाद रिपोर्ट कोर्ट में जमा करने की बात कही गई. इसके बावजूद 24 नवंबर को प्रशासन ने दोबारा सर्वे का फैसला किया, जिससे स्थानीय लोगों में रोष फैल गया.

पुलिस पर बर्बरता के आरोप: अखिलेश यादव ने पुलिस पर बर्बरता का आरोप लगाते हुए कहा कि शांतिपूर्ण ढंग से विरोध कर रहे लोगों पर लाठीचार्ज किया गया और गोलियां चलाई गईं. उन्होंने कहा कि दर्जनों लोग घायल हुए और 4 युवाओं की मौत हो गई.

जिम्मेदारों पर कार्रवाई की मांग: अखिलेश यादव ने कहा कि संभल की घटना के लिए याचिकाकर्ता, प्रशासन और सरकार जिम्मेदार हैं. उन्होंने घटना में शामिल अधिकारियों को निलंबित कर हत्या का मुकदमा चलाने की मांग की है.

संभल की घटना लोकतंत्र और संविधान पर हमला: अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार मुसलमानों को वोट डालने से रोकती है और लोकतांत्रिक प्रक्रियाओं को बाधित कर संविधान और लोकतंत्र का अपमान कर रही है. समाजवादी पार्टी इस मामले को सदन में उठाने और न्याय के लिए संघर्ष करने की बात कह रही है.

संभल हिंसा को लेकर सपा कार्यकर्ताओं ने प्रयागराज में लगाए पोस्टर.
संभल हिंसा को लेकर सपा कार्यकर्ताओं ने प्रयागराज में लगाए पोस्टर. (Photo Credit; ETV Bharat)

संभल हिंसा पर सपा ने जारी किया पोस्टर; लिखा- गनतंत्र Vs गणतंत्र: यूपी के संभल में हुई हिंसा को समाजवादी पार्टी बड़ा मुद्दा बनाने की तैयारी में है. प्रयागराज में समाजवादी की तरफ से संभल हिंसा को लेकर शहर में पोस्टर लगाए गए हैं. इन पोस्टर में संभल हिंसा की तस्वीरों के साथ लिखा गया है, गन तंत्र बनाम गणतंत्र.

शहर में क्रांति के प्रतीक सुभाष चौराहे पर समाजवादी पार्टी द्वारा लगाए गए ये पोस्टर एक बार फिर विवाद की वजह बन गए हैं. पोस्टर लगाने वाले सपा कार्यकर्ताओं का कहना है कि संभल में हुई हिंसा से साफ हो गया है कि एक वर्ग विशेष के साथ भेदभाव किया जा रहा है. यह स्वस्थ लोकतंत्र के लिए कदापि उचित नहीं है. ऐसा लगता है जैसे देश में गणतंत्र पर गन तंत्र हावी हो गया है.

ये भी पढ़ेंः संभल हिंसा पर उलमा चिंतित; बोले- आखिर क्यों और कैसे हो रहीं ऐसी घटनाएं, रोकने के लिए उठाए जाएं कदम

Last Updated : Nov 25, 2024, 9:29 PM IST
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