राजगढ़। मध्यप्रदेश के राजगढ़ जिले में कुछ कुप्रथाएं आज भी प्रचलित हैं. वहीं, बाल विवाह होना भी यहां आम सा हो गया है. जिला प्रशासन की तमाम कोशिशों के बावजूद भी यहां बाल विवाह सम्पन्न करवाए जाते हैं. ऐसा ही एक मामला जीरापुर थाना क्षेत्र के धतुरिया गांव से निकलकर सामने आया है. जहां एक शिकायतकर्ता की शिकायत के पश्चात भी नाबालिगों का विवाह संपन्न कराया गया और अब विवाह कराने वाले लोग शिकायतकर्ता को ही धमकियां दे रहे हैं.
शिकायत के बावजूद हुआ बाल विवाह
शिकायतकर्ता रामप्रसाद वर्मा का आरोप है कि, उसके द्वारा 8 मई को एक लिखित शिकायत महिला बाल विकास विभाग को दी गई थी, जिसमें धतुरिया गांव में 10 मई को संपन्न होने वाले नाबालिग जोड़े का जिक्र था. लेकिन उक्त शिकायत के पश्चात भी वह बाल विवाह संपन्न हुआ और संबंधित के विरुद्ध कोई कार्रवाई नहीं की गई. बल्कि मुझ शिकायतकर्ता को दूल्हे का पिता और अन्य लोग धमकियां दे रहे हैं. वहीं 181 पर की गई शिकायत वापस लेने के लिए जीरापुर पुलिस के एक आरक्षक द्वारा भी मुझ पर दबाव बनाया जा रहा है.
बाल विकास विभाग बोला-नहीं हुआ बाल विवाह
वहीं, उक्त मामले में महिला बाल विकास विभाग के सहायक संचालक श्याम बाबू खरे का कहना है कि, ''हमारी टीम से इस मामले में मैंने बात की है. जिससे पता चला है कि शादी वाले दिन टीम 12 बजे तक मौके पर मौजूद थी और उनके साथ पुलिस भी थी. उस दौरान वहां विवाह नहीं हुआ था, और हुआ भी था तो दो भाई बहन की शादी थी. जिसमें लड़के की शादी हुई है जो 21 वर्ष का है, लड़की की शादी नहीं हुई है. यदि शिकायतकर्ता को लगता है कि बाल विवाह हुआ है तो उसके साथ हमारी टीम प्रतिवेदन के साथ थाने चली जायेगी और एफआईआर दर्ज करा देंगे.''