जोधपुर : पूर्व विधायक दिव्या मदेरणा ने राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के संयोजक नेता हनुमान बेनीवाल के खिलाफ उपचुनाव में मोर्चा खोल दिया है. दिव्या मदरेणा ने कहा कि मुझे चुनाव हराने वालों की आज क्या स्थिति है ? हालत टाइट हो रखी है. रात को चार चार बजे लोगों के घर जाकर पांव पकड़ने पड़ रहे हैं. खींवसर के किसान पट्टी ने वोट देने से इनकार कर दिया है. सब कह रहे हैं कि हमारी बेटी को गालियां दी हैं. दिव्या मदेरणा शनिवार को लोहावट क्षेत्र के दौरे पर थी, जहां उन्होंने एक सभा में सांसद हनुमान बेनीवाल पर निशाना साधा.
दिव्या ने नाम लिए बगैर कहा कि खींवसर से आते थे सभा करने के लिए, दिव्या को चुनाव में हरा दूंगा. खुद की क्या हालात हुई ? 1800-2000 वोटों से जीते थे. अब क्या स्थिति है ? दिव्या मदेरणा ने कहा कि "मेरे दादाजी और पिताजी ने कभी किसी को हराने की बात नहीं कही. मुझे हराने से नुकसान जनता का ही हुआ है. मुझे चारों तरफ घेरने का काम किया. मैं भी समाज की बेटी हूं. राजनीति में स्वाभिमान से कभी समझौता नहीं कर सकती."
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खींवसर में इस बार तीनों जाट प्रत्याशी : खींवसर विधानसभा के उपचुनाव में इस बार भाजपा, कांग्रेस और राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी तीनों से ही दिग्गज जाट मैदान में हैं. इससे पहले हमेशा यहां से एक राजपूत उम्मीदवार होता है. कोई पार्टी टिकट नहीं देती तो निर्दलीय राजपूत चुनाव लड़ता रहा है, जिसका सीधा फायदा हनुमान बेनीवाल की पार्टी को मिला है, लेकिन इस बार हालात बदल गए. चुनाव लड़ने वाले सवाई सिंह ने भाजपा ज्वाइन कर ली. इससे बेनीवाल की परेशानी बढ़ गई है. बेनीवाल ने इस बार अपनी पत्नी कनिका बेनीवाल को उतारा है. भाजपा से रेवंतराम डांगा को दोबारा मैदान में तो कांग्रेस ने भी इस बार महिला प्रत्याशी के रूप में रतन चौधरी को उतारा है. इससे उपचुनाव का मुकाबला रोचक हो गया है.