रायपुर: पिछले 7 सालों से रायपुर के बीचो-बीच एक अधूरे निर्माण के रूप में खड़ा स्काई वॉक अब पूरा होगा. चल रहे विधानसभा सत्र के दौरान स्काई वॉक काम को पूरा करने के लिए मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की अध्यक्षता में बैठक आयोजित हुई, जिसमें यह निर्णय लिया गया कि स्काई वॉक का काम पूरा किया जाएगा. विधानसभा के मानसून सत्र में भोजन, अवकाश के बाद गुरुवार को मुख्यमंत्री के अलावा विधायक राजेश मूणत, विधायक मोतीलाल साहू सहित अन्य विधायक जनप्रतिनिधियों की मौजूदगी में एक बैठक हुई, जिसमें निर्णय लिया गया कि शास्त्री चौक के पास बने स्काईवॉक के काम को पूरा किया जाएगा.
7 साल से अधूरा पड़ा है काम: मुख्यमंत्री के साथ हुई जनप्रतिनिधियों की बैठक के बाद इस बात की जानकारी देते हुए उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा, "रायपुर के शास्त्री चौक के पास बने स्काई वॉक के काम को पूरा किया जाएगा. रायपुर शहर में व्यवस्थित यातायात सुविधा को ध्यान में रखते हुए इसका निर्माण करने का काम भाजपा सरकार में शुरू हुआ था, लेकिन कांग्रेस सरकार आने के बाद इस काम को रोक दिया गया. 7 सालों से इसका काम अधूरा है. अब इस काम को जल्द पूरा किया जाएगा."
रायपुरवासियों को मिलेगी बड़ी सौगात: प्रदेश में कांग्रेस की सरकार जाने के बाद इस बात की चर्चा शुरू हो गई थी कि रमन सिंह के समय में शुरू हुआ रायपुर शहर का स्काईवॉक फिर से बनाया जाएगा. इस पर चर्चा खूब होती रही लेकिन काम को लेकर के अंतिम मुहर नहीं लग पाई थी. भाजपा के कई नेता इस बात को कह चुके थे कि स्काई वॉक का निर्माण छत्तीसगढ़ की जनता के लिए एक सौगात है. रायपुर के लोग इसके माध्यम से यातायात के दबाव से बच सकेंगे. चर्चा होती रही, लेकिन निर्माण कार्य को लेकर कोई अंतिम मुहर नहीं लग पाई थी. अब मुख्यमंत्री की बैठक के बाद ये तय हो गया है कि 7 महीने बाद बीजेपी सरकार एक बार फिर से अपनी पुरानी सरकार द्वारा बनाए गए इस परियोजना को पूरा करने के लिए काम शुरू करवाएगी. ऐसे में रायपुर के लोगों के लिए यह बड़ी सौगात होगी.
रमन सिंह के कार्यकाल में हुआ था काम: मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के साथ हुई बैठक में राजेश मूणत भी मौजूद थे. राजेश मूणत के पीडब्ल्यूडी मंत्री रहते ही साल 2016-17 में इसके शुरुआत की गई थी. तत्कालीन रमन सिंह सरकार ने रायपुर शहर को एक बेहतरीन विकल्प के तौर पर शास्त्री चौक से मेकाहारा के बीच राहगीरों के पैदल आज आने-जाने के लिए इसका निर्माण करने की बात कही थी. इस काम की शुरुआत भी 2016-17 के दरम्यान हुई. बाद में सरकार चले जाने के बाद इसका काम नहीं हो पाया.