चाकसू (जयपुर). चाकसू कस्बे के पवित्र सरोवर मनोहरा तालाब में मछली पालन के लिए टेंडर देने के विरोध में लोग उतर आए हैं. मछली पालन के लिए तालाब में मछली डालने आए ठेकेदार के लोगों को कस्बे वासियों ने रोक दिया और जमकर विरोध-प्रदर्शन किया. सूचना पर पुलिस और पालिका प्रशासन मौके पर पहुंचा और समझाइश की.
दोबारा मछली पालन का टेंडर दिया गया : विरोध कर रहे स्थानीय लोगों ने बताया कि कस्बे में मनोहरा तालाब स्थित है, जहां इसके चारों ओर कई मंदिर भी हैं. इन मंदिरों में आने वाले श्रद्धालु तालाब में कई धार्मिक परंपराओं का निर्वहन भी करते हैं. तालाब में मछली पालन के लिए डाली जाने वाली मछलियों से यहां दुर्गन्ध मय वातावरण बना रहता है, जिससे श्रद्धालुओं और स्थानीय लोगों को काफी परेशानी होती है. पूर्व में भी मत्स्य पालन जयपुर की ओर से मछली पालन का टेंडर जारी किए गए थे. उस दौरान तालाब में सैकड़ों मछलियों की मौत हो गई थी. अब दोबारा विभाग की ओर से मछली पालन का टेंडर दिया गया है.
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विधायक रामावतार बैरवा को मामले से अवगत कराया : जब तालाब में मछली डालने के लिए ठेकेदार के लोग पहुंचे तो पार्षद दिनेश शर्मा, गो सेवा समिति अध्यक्ष रामवतार सैनी, पूर्व मंडल अध्यक्ष केदार प्रसाद शर्मा सहित स्थानीय लोग व आसपास के मंदिर पुजारी मौके पर एकत्रित हो गए. उन्होंने लोगों को मछली डालने से रोक दिया. ग्रामीणों ने विधायक रामावतार बैरवा को भी फोन पर मामले से अवगत कराया है. मामले को लेकर जनप्रतिनिधियों एवं संगठनों ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है.
पूर्व मंडल अध्यक्ष केदार शर्मा, पार्षद दिनेश शर्मा ने बताया कि मनोहरा तालाब के चारों तरफ पाल पर हनुमानजी मंदिर, तेजाजी महाराज मंदिर, लड्डू गोपाल जी मंदिर, ध्यानेश्वर महादेव, चम्पेश्वर महादेव मंदिर, गणेशपुरी धाम मंदिर, गोपीनाथ जी मंदिर, महात्मा ज्योतिबा फुले सेवा संस्थान, महर्षि गौतम मंदिर, बाहेती मंदिर, हनुमान व्यायामशाला सहित कई धार्मिक एवं सामाजिक संस्थान स्थित हैं. इनके आस-पास मांस-मछली के अवशेष फेंके जाते हैं, जिससे आमजन की धार्मिक भावनाएं आहत हो रही हैं. बार-बार तालाब में मछलियां डालने का प्रयास किया जाता है, जिससे आमजन में गहरा रोष व्याप्त है.