शिमला: हिमाचल प्रदेश में शिक्षा विभाग के तहत 6297 पद भरे जाने का रास्ता साफ हो गया है. ये पद प्री-नर्सरी टीचर्स के भरे जाने हैं. हालांकि ये भर्ती आउटसोर्स आधार पर हो रही है, लेकिन प्री-नर्सरी टीचर की ट्रेनिंग ले चुके युवाओं के लिए एक सुख की खबर जरूर है. अक्टूबर महीने के पहले ही हफ्ते में आउटसोर्स एजेंसी को ये मामला भर्ती के लिए भेज दिया जाएगा. दो साल का प्री-नर्सरी टीचर्स ट्रेनिंग करने वाले इसके लिए पात्र होंगे. इस संदर्भ में गाइडलाइन जारी कर दी गई है. अलबत्ता इन प्री नर्सरी टीचर्स को मासिक मेहनताना दस हजार रुपए के करीब ही मिलेगा. साथ ही ये पारिश्रमिक दस महीने के अवधि के लिए ही होगा. गाइडलाइन के अनुसार इन टीचर्स को अर्ली चाइल्डहुड केयर एंड एजुकेशन ट्यूटर कहा जाएगा. ये सभी 6297 पद एचपीएसईडीसी यानी हिमाचल प्रदेश स्टेट इलेक्ट्रॉनिक्स डवलपमेंट कॉरपोरेशन के जरिए भरे जाने हैं.
कौन होंगे आवेदन के पात्र?
अर्ली चाइल्डहुड केयर एंड एजुकेशन ट्यूटर के इन पदों के लिए पात्रता की शर्तों को तय कर लिया गया है. इस बारे में राज्य सरकार के शिक्षा सचिव कार्यालय की तरफ से हिमाचल प्रदेश प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय को सारी गाइडलाइंस भेज दी गई हैं. आने वाले एक हफ्ते के भीतर-भीतर इस बारे में भर्ती एजेंसी को काम शुरू करने के लिए कह दिया गया है. राज्य सरकार ने इन पदों को लिए जो शर्तें तय की हैं, उनमें आवेदन करने वाले के पास दो साल का एनटीटी डिप्लोमा होना आवश्यक है. एक साल के डिप्लोमा वाले पात्र नहीं होंगे.
इसके अलावा बारहवीं कक्षा यानी प्लस टू में पचास प्रतिशत अंक होने चाहिए. साथ ही नर्सरी टीचर एजूकेशन डिप्लोमा या प्री स्कूल एजुकेशन या अर्ली चाइल्डहुड एजुकेशन प्रोग्राम में दो साल का डिप्लोमा जरूरी है. ये डिप्लोमा नेशनल काउंसिल फॉर टीचर एजुकेशन से मान्यता प्राप्त संस्थान से हासिल किया हुआ होना चाहिए. जहां तक कोटे का सवाल है तो प्रार्थी यदि एससी, एसटी, ओबीसी के साथ दिव्यांग वर्ग से है तो उसे पांच फीसदी अंकों की छूट मिलेगी. यदि कोई आवेदक बोनाफाइड हिमाचली नहीं है तो उसके लिए हिमाचल के ही शिक्षण संस्थान से 10वीं और प्लस टू कक्षा पास होने की शर्त लागू होगी. इन ट्यूटर्स को वही अवकाश मिलेगा, जो आउटसोर्स कर्मियों के लिए तय है. आवेदक के डिप्लोमा आदि कागजात की जांच स्टेट इलेक्ट्रॉनिक्स डेवलपमेंट कारपोरेशन करेगा.
दस हजार रुपए से करना होगा संतोष
भर्ती किए जाने वाले 6297 ट्यूटर्स को मासिक दस हजार रुपए के पारिश्रमिक से ही संतोष करना होगा. इसमें से भी टैक्स व अन्य किसी प्रकार की फीस माइनस होगी. यानी कुल मिलने वाला पारिश्रमिक दस हजार रुपए से कम हो सकता है. इसी प्रकार एक अन्य शर्त ये होगी कि इन ट्यूटर्स को केवल दस माह का ही वेतन दिया जाएगा. जब स्कूल में दो माह का अवकाश होगा तो उन्हें मानदेय नहीं मिलेगा. जो भी ट्यूटर्स नियुक्त होंगे, प्रारंभिक शिक्षा विभाग पर उनका कोई दायित्व नहीं होगा. इनकी आयु सीमा 21 साल से 45 साल तय की गई है. ये सभी ट्यूटर्स जिला विशेष यानी जिस जिला में उनकी पोस्टिंग होगी, वहां के प्रारंभिक शिक्षा विभाग के उपनिदेशक के तहत काम करेंगे. जिस भी स्कूल में इनको तैनाती मिलेगी, वे उस स्कूल के मुखिया यानी हैडमास्टर को रिपोर्ट करेंगे. किसी भी शिक्षक की सेवाओं को बिना सरकार की मंजूरी के खत्म नहीं किया जा सकेगा.