जयपुर: प्रदेश की भजनलाल सरकार वर्ष 2025-26 बजट को लेकर सुझाव ले रही है. सुझाव की इसी कड़ी में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने मंगलवार को महिला प्रतिनिधयों के साथ बजट पूर्व संवाद किया. इस बैठक में अलग-अलग वर्ग से जुड़ी महिला प्रतिनिधियों ने अपने सुझाव दिए. खासतौर पर महिला उद्यमियों को विशेष राहत पैकेज के साथ स्टार्टअप को बढ़ावा देने की स्किम की डिमांड हुई. इसके साथ सामाजिक क्षेत्र से जुड़ी महिलाओं ने प्रत्येक जिले में महिला संकट केंद्र खोले जाने के सुझाब दिए, ताकि एक ही छत के नीचे हर समस्या का समाधान और मार्गदर्शन मिल सके.
महिला प्रतिनिधियों दिए ये सुझाव: फोर्टी महिला विंग की प्रदेश अध्यक्ष डॉ अल्का गौड़ ने कहा कि राजस्थान में महिला सशक्तिकरण और उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए आगामी पूर्व-बजट चर्चा काफी महत्वपूर्ण है. महिला उद्यमियों की ओर से हमारा पहला सुझाव महिलाओं को RIICO में रियायती दरों पर सीधे भूमि आवंटन करने, कॉस्मेटिक निर्माण को आकर्षित करने के लिए रसायन उद्योग स्थापित करने की अनुमति देने, महिला नेतृत्व वाले स्टार्टअप्स के लिए विशेष छूट और अनुदान के माध्यम से वित्तीय सहायता देने के साथ प्रारंभिक चुनौतियों का सामना कर रहे MUDRA ऋण लाभार्थियों के लिए वैकल्पिक प्रावधान करने का आग्रह किया है.
सामाजिक कार्यकर्ता हेम लता चौहान ने सुझाव दिया कि महिलाओं के लिए पंचायत स्तर पर वीमैन स्किल डवलेपमेंट सेंटर खोले जाएं. इसके साथ महिला संकट प्रबंधन केंद्र हर जिला स्तर पर हो, जहां महिलाओं को कानूनी सहायता, व्यवसाय, सरकारी योजना सहित तमाम जानकारी और सुविधा एक मंच पर मुफ्त मिल सके. इसके अलावा स्पेशल हेल्थकेयर सेंटर पंचायत और तहसील स्तर पर खोले जाएं. साथ ही जागरूकता शिविर का आयोजन समय-समय पर किया जाए जिससे धरातल पर योजना का लाभ मिल पाए.
ब्रेस्ट कैंसर की जागरूकता जरुरी: बीजेपी महिला मोर्चा की प्रदेश अध्यक्ष रक्षा भंडारी ने कहा कि महिला होने के नाते मेरे सुझाव मुख्य रूप से महिलाओं के सशक्तिकरण एवं उनकी सुरक्षा को लेकर हैं. जिसमें कामकाजी महिलाओं की सुरक्षा और उनके जीवन में आर्थिक सहायता को सुनिश्चित की जाए. इसके अलावा आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों हायर एजुकेशन के लिए मुफ्त में कोचिंग सेंटर अवेलेबल कराए जाएं. उन्होंने कहा कि महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर काफी फैल रहा है. इसकी जानकारी महिलाओं को दी जाए. साथ ही टीकाकरण को लेकर अभियान चलाया जाए.
उधर बीजेपी महिला मोर्चा की प्रदेश मंत्री स्नेहा काम्बोज ने सुझाव दिए कि महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लक्ष्य के साथ विभाग या राजीविका की मदद से सेनेटरी नैपकिन बनाने की ट्रेनिंग दी जा सकती है. जिससे ग्रामीण स्तर पर ही महिलाओं को रोजगार के साथ सुविधा भी मिल पाएगी. इसमें महिलाएं ईको-फ्रेंडली पैड्स भी बना पाएंगी. इसके साथ दूसरा सुझाव है कि महिला सशक्तिकरण की दिशा में 'घर घर अभियान' के माध्यम से महिलाओं को सामान्य कानून एवं साइबर फ्रॉड की जानकारी उपलब्ध करवाएं. तीसरा सुझाव पंचायती राज में महिलाओ की भागीदारी को बढ़ाने की दिशा में आवश्यक कदम होने चाहिए.
महिलाओं का उत्थान हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता: मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार युवा, महिला, किसान, मजदूर के उत्थान के लिए प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है. महिलाओं की शिक्षा, स्वास्थ्य, सुरक्षा एवं उद्यमिता के लिए गत एक वर्ष के कार्यकाल में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं. उन्होंने कहा कि सरकार महिला प्रतिनिधियों के सभी सुझावों पर विचार कर उन्हें बजट में यथासंभव शामिल करेगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार महिलाओं के सर्वांगीण विकास के लिए विभिन्न योजनाएं संचालित कर रही है.
लाडो प्रोत्साहन योजना शुरू कर बालिका के जन्म से लेकर उच्च शिक्षा हासिल करने तक उन्हें 7 किश्तों में 1 लाख रुपए की राशि प्रदान की जा रही है. करीब 33 करोड़ रुपए की पहली किश्त लाभार्थियों को मिल चुकी है. इस साल मार्च तक 3 लाख बालिकाओं को योजना का लाभ पहुंचाया जाएगा. मुख्यमंत्री नारी शक्ति उद्यम प्रोत्साहन योजना के तहत बैंकों के माध्यम से महिलाओं को आसान शर्तों पर ऋण उपलब्ध करवाए जा रहे हैं. कालीबाई भील महिला संबल शिक्षा सेतु योजना से 58 हजार से अधिक बालिकाओं को निशुल्क माध्यमिक एवं उच्च माध्यमिक शिक्षा हासिल करने का अवसर मिला है.
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नारी शक्ति प्रशिक्षण एवं कौशल संवर्धन योजना के माध्यम से 85 हजार महिलाओं एवं बालिकाओं को रोजगारमूलक, डिजिटल कौशल एवं व्यक्तित्व विकास का प्रशिक्षण दिया गया है. कालीबाई भील उड़ान योजना के जरिये 1 करोड़ 22 लाख से अधिक महिलाओं और बालिकाओं को निःशुल्क सेनेटरी नैपकिन उपलब्ध करवाए जा रहे हैं. सीएम ने कहा कि राज्य सरकार ने प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के तहत प्रथम संतान के जन्म के समय दी जाने वाली राशि 5 हजार से बढ़ाकर 6500 रुपए कर दी है. इस योजना में दिव्यांग गर्भवती महिला को 10 हजार रुपए दिए जा रहे हैं. इस योजना में केन्द्र सरकार दूसरी संतान बालिका होने पर 6 हजार रुपए देती है, जबकि राज्य में दूसरी संतान बालक हो या बालिका, दोनों के लिए 6 हजार रुपए की राशि दी जा रही है.