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डाक टिकटों पर रामराज: राम मंदिर से लेकर रामायण के प्रसंगों पर जारी हुए डाक टिकट

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Feb 3, 2024, 9:52 AM IST

भारत के साथ-साथ विश्व के 20 से ज्यादा देशों ने रामायण से जुड़े चरित्रों और कथानकों पर समय-समय पर डाक टिकट जारी किये गए हैं. देश में डाक टिकटों पर भी राम राज छाया हुआ है.

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वाराणसीः अयोध्या में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा के बाद हर कोई राममय है. आस्था का ऐसा सैलाब पहले कभी देखने को नहीं मिला है. इसी क्रम में भारतीय डाक पर भी भगवान राम का प्रभाव देखने को मिल रह है. भगवान श्री राम की महिमा डाक टिकटों के माध्यम से देश-दुनिया में प्रसारित हो रही है. भारत के साथ-साथ विश्व के 20 से ज्यादा देशों ने रामायण से जुड़े चरित्रों और कथानकों पर समय-समय पर डाक टिकट जारी किये गए हैं. देश में डाक टिकटों पर भी राम राज छाया हुआ है.

वाराणसी परिक्षेत्र के पोस्टमास्टर जनरल कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 18 जनवरी 2024 को 'श्रीराम जन्मभूमि मंदिर' को समर्पित 6 विशेष स्मारक डाक टिकट जारी किए थे. इनमें श्री राम जन्मभूमि मंदिर के साथ भगवान गणेश, भगवन हनुमान, जटायु, केवटराज और माता शबरी पर जारी डाक टिकट शामिल हैं. सोने के वर्क से सुसज्जित और चंदन की खुशबू से सुवासित इन डाक टिकटों में सूर्यवंशी राम के प्रतीक सूर्य की छवि के साथ पुण्य नदी सरयू का चित्र भी है और 'मंगल भवन अमंगल हारी, द्रवउ सो दसरथ अजिर बिहारी’ चौपाई के माध्यम से राष्ट्र के मंगल की कामना है.

पंच महाभूतों के दर्शन से भी जोड़ा गया
कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि इन डाक टिकटों के मुद्रण में अयोध्या की पवित्र मिट्टी और सरयू के पवित्र जल का इस्तेमाल करते हुए इसे पंच महाभूतों के दर्शन से भी जोड़ा गया है. ये डाक टिकट अब वाराणसी प्रधान डाकघर स्थित फिलेटली ब्यूरो में भी बिक्री के लिए उपलब्ध हैं. कृष्ण कुमार यादव ने बताया, इससे पूर्व भी डाक विभाग ने रामायण के सभी महत्वपूर्ण प्रसंगों को दर्शाते 11 स्मारक डाक टिकटों का सेट 22 सितंबर 2017 को जारी किया गया था. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसे तुलसी मानस मंदिर, वाराणसी में जारी किया था.

टिकट पर प्रदर्शित हैं आकर्षक दृश्य
कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि इन डाक टिकटों में सीता स्वयंवर, राम वनवास, भरत मिलाप, केवट प्रसंग, जटायु संवाद, शबरी संवाद, अशोक वाटिका में हनुमान-सीता संवाद, राम सेतु निर्माण, संजीवनी ले जाते हनुमान, रावण वध व भगवान राम के राजगद्दी पर बैठने के आकर्षक दृश्य समाहित हैं. इन डाक टिकटों पर देखकर ऐसा एहसास होता है कि जैसे पूरा रामराज ही डाक टिकटों पर उतर आया हो. श्रीराम जन्मभूमि मंदिर, अयोध्या के भूमि पूजन एवं शिलान्यास कार्यक्रम को अविस्मरणीय बनाने के लिए पीएम मोदी ने 5 अगस्त 2020 को भी अयोध्या में ‘श्री राम जन्मभूमि मंदिर के प्रतिरूप’ पर आधारित कस्टमाइज्ड डाक टिकट जारी किया था.

युवा पीढ़ी अपनी संस्कृति को पहचानेगी
पोस्टमास्टर जनरल कृष्ण कुमार यादव ने कहा कि डाक विभाग लोगों को अपनी विरासत और संस्कृति से जोड़ने के लिए तमाम डाक टिकटें जारी करता है. इसी क्रम में 'श्रीराम जन्मभूमि मंदिर' से लेकर रामायण के विभिन्न प्रसंगों से जुड़े तमाम डाक टिकटों को भी समाहित किया गया है, जिससे युवा पीढ़ी डाक टिकटों के माध्यम से अपनी संस्कृति से अवगत हो सके. ये डाक टिकट पत्रों पर लगकर विदेशों में भी जाएंगे, जहां रामायण की गाथा को लोगों तक फैलाएंगे.

इसे भी पढ़ें-पीएम मोदी ने श्रीराम जन्मभूमि मंदिर पर डाक टिकट जारी किया


वाराणसीः अयोध्या में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा के बाद हर कोई राममय है. आस्था का ऐसा सैलाब पहले कभी देखने को नहीं मिला है. इसी क्रम में भारतीय डाक पर भी भगवान राम का प्रभाव देखने को मिल रह है. भगवान श्री राम की महिमा डाक टिकटों के माध्यम से देश-दुनिया में प्रसारित हो रही है. भारत के साथ-साथ विश्व के 20 से ज्यादा देशों ने रामायण से जुड़े चरित्रों और कथानकों पर समय-समय पर डाक टिकट जारी किये गए हैं. देश में डाक टिकटों पर भी राम राज छाया हुआ है.

वाराणसी परिक्षेत्र के पोस्टमास्टर जनरल कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 18 जनवरी 2024 को 'श्रीराम जन्मभूमि मंदिर' को समर्पित 6 विशेष स्मारक डाक टिकट जारी किए थे. इनमें श्री राम जन्मभूमि मंदिर के साथ भगवान गणेश, भगवन हनुमान, जटायु, केवटराज और माता शबरी पर जारी डाक टिकट शामिल हैं. सोने के वर्क से सुसज्जित और चंदन की खुशबू से सुवासित इन डाक टिकटों में सूर्यवंशी राम के प्रतीक सूर्य की छवि के साथ पुण्य नदी सरयू का चित्र भी है और 'मंगल भवन अमंगल हारी, द्रवउ सो दसरथ अजिर बिहारी’ चौपाई के माध्यम से राष्ट्र के मंगल की कामना है.

पंच महाभूतों के दर्शन से भी जोड़ा गया
कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि इन डाक टिकटों के मुद्रण में अयोध्या की पवित्र मिट्टी और सरयू के पवित्र जल का इस्तेमाल करते हुए इसे पंच महाभूतों के दर्शन से भी जोड़ा गया है. ये डाक टिकट अब वाराणसी प्रधान डाकघर स्थित फिलेटली ब्यूरो में भी बिक्री के लिए उपलब्ध हैं. कृष्ण कुमार यादव ने बताया, इससे पूर्व भी डाक विभाग ने रामायण के सभी महत्वपूर्ण प्रसंगों को दर्शाते 11 स्मारक डाक टिकटों का सेट 22 सितंबर 2017 को जारी किया गया था. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसे तुलसी मानस मंदिर, वाराणसी में जारी किया था.

टिकट पर प्रदर्शित हैं आकर्षक दृश्य
कृष्ण कुमार यादव ने बताया कि इन डाक टिकटों में सीता स्वयंवर, राम वनवास, भरत मिलाप, केवट प्रसंग, जटायु संवाद, शबरी संवाद, अशोक वाटिका में हनुमान-सीता संवाद, राम सेतु निर्माण, संजीवनी ले जाते हनुमान, रावण वध व भगवान राम के राजगद्दी पर बैठने के आकर्षक दृश्य समाहित हैं. इन डाक टिकटों पर देखकर ऐसा एहसास होता है कि जैसे पूरा रामराज ही डाक टिकटों पर उतर आया हो. श्रीराम जन्मभूमि मंदिर, अयोध्या के भूमि पूजन एवं शिलान्यास कार्यक्रम को अविस्मरणीय बनाने के लिए पीएम मोदी ने 5 अगस्त 2020 को भी अयोध्या में ‘श्री राम जन्मभूमि मंदिर के प्रतिरूप’ पर आधारित कस्टमाइज्ड डाक टिकट जारी किया था.

युवा पीढ़ी अपनी संस्कृति को पहचानेगी
पोस्टमास्टर जनरल कृष्ण कुमार यादव ने कहा कि डाक विभाग लोगों को अपनी विरासत और संस्कृति से जोड़ने के लिए तमाम डाक टिकटें जारी करता है. इसी क्रम में 'श्रीराम जन्मभूमि मंदिर' से लेकर रामायण के विभिन्न प्रसंगों से जुड़े तमाम डाक टिकटों को भी समाहित किया गया है, जिससे युवा पीढ़ी डाक टिकटों के माध्यम से अपनी संस्कृति से अवगत हो सके. ये डाक टिकट पत्रों पर लगकर विदेशों में भी जाएंगे, जहां रामायण की गाथा को लोगों तक फैलाएंगे.

इसे भी पढ़ें-पीएम मोदी ने श्रीराम जन्मभूमि मंदिर पर डाक टिकट जारी किया


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