लखनऊ: लखनऊ के चारबाग स्टेशन की यात्रा करने वाले लोगों को अब स्टेशन पहुंचने से पहले आउटर पर लंबा इंतजार नहीं करना पड़ेगा. इसके लिए रेलवे ने लखनऊ से अयोध्या तक सिग्नलिंग प्रणाली को दुरुस्त कर दिया है. नए सिग्नल लगाए जा रहे हैं. अभी प्लेटफार्म खाली न होने के चलते ट्रेनों को आउटर पर काफी देर तक खड़ा होना पड़ता है. जिससे यात्रियों को अपनी मंजिल तक पहुंचने में देर हो जाती है. इतना ही नहीं सिग्नलिंग प्रणाली की दिक्कत होने से भी काफी समस्याएं आती थी. अब इन सभी समस्याओं को रेलवे तेजी से दूर कर रहा है. चारबाग स्टेशन पर प्लेटफार्म की संख्या के साथ दायरा बढ़ रहा है. उत्तर रेलवे के चार प्लेटफार्म फुल लेंथ किए जा रहे हैं जिससे भविष्य में आउटर पर गाड़ियां खड़ी होने की नौबत नहीं आएगी. सिग्नल दुरुस्त होने से अब तेजी से ट्रैक पर ट्रेनें फर्राटा भरती मिलेंगी.
उत्तर रेलवे के डीआरएम सचिंद्र मोहन शर्मा ने ईटीवी भारत से बातचीत में बताया कि, लखनऊ में काफी समस्याएं थीं. यहां पर सारे प्लेटफॉर्म फुल लेंथ के नहीं थे. अभी दो नंबर, तीन नंबर, पांच और सात नंबर के प्लेटफार्म को फुल लेंथ किया है. अब प्लेटफार्म की वर्किंग चेंज करेंगे. अभी ऐसा होता था कि कोई गाड़ी अगर आलमनगर से आ रही है तो सारी लाइनों को काटकर सात नंबर प्लेटफार्म पर जा रही है. जिससे बांकी ट्रेनों का मूवमेंट रुक जाता है. लेकिन अब प्लेटफार्म फिक्स करेंगे और चेंज भी करेंगे.
मंडल रेल प्रबंधक एसएम शर्मा ने बताया कि, इसके अलावा अयोध्या और अयोध्या धाम के बीच एक आईबीएस इंटरमीडिएट ब्लॉक सिगनलिंग वाली सिग्नल प्रणाली चालू की है. जिससे जिन गाड़ियों को पहले क्रॉस करने में 18-18 मिनट लग रहे थे. वह गाड़ियां अब नौ-नौ मिनट में सेक्शन क्लियर कर जा रही हैं. इससे हमें काफी फायदा मिला है. ट्रेनें समय पर चल रही हैं. वाराणसी में भी तेजी से काम हुआ है.
चारबाग रेलवे स्टेशन देश के व्यस्ततम स्टेशनों में से एक है. यहां से हर रोज करीब 300 ट्रेनें गुजरती हैं. दर्जन भर से ज्यादा प्लेटफार्म के साथ चारबाग रेलवे स्टेशन से हर रोज साढ़े तीन लाख से ज्यादा यात्रियों की आवाजाही होती है. चारबाग से देश के किसी भी कोने के लिए ट्रेन मिल जाती है. इसीलिए यात्री भी यहीं से ट्रेवल शुरू करना पसंद करते हैं.
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