बीकानेर: जिले के ग्रामीण क्षेत्रों का कोई भी सरकारी स्कूल अब चारदीवारी विहीन नहीं रहेगा. जिला कलक्टर नम्रता वृष्णि की पहल पर ऐसे सभी स्कूलों का सर्वे करवाया गया है. पहले चरण में चारदीवारी विहीन अथवा क्षतिग्रस्त बाउंड्रीवाॅल वाली 222 स्कूलों के लिए मनरेगा के तहत लगभग 20 करोड़ रुपए स्वीकृत किए गए हैं.
डीईओ से मांगी थी सूची: जिला कलक्टर एवं मनरेगा की जिला कार्यक्रम समन्वयक नम्रता वृष्णि ने बताया कि सबसे पहले मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी से ऐसे विद्यालयों की सूची मंगवाई गई, जहां चारदीवारी नहीं बनी हुई थी. इसके पश्चात सभी पंचायतों में ग्राम विकास अधिकारी और कनिष्ठ तकनीकी सहायकों के माध्यम से सर्वे करते हुए इन विद्यालयों के प्रस्ताव प्राप्त किए गए.
222 स्कूलों में काम: जिला कलक्टर ने बताया कि पहले चरण में 222 विद्यालयों की स्वीकृतियां जारी कर दी गई है. शेष स्वीकृतियां भी प्रस्ताव प्राप्त होने के साथ ही जारी कर दी जाएंगी. जिला कलक्टर ने बताया कि चारदीवारी निर्माण से विद्यालय परिसर को अतिक्रमण से बचाया जा सकता है. वहीं पौधारोपण को बढ़ावा मिलेगा और यह सुरक्षा की दृष्टि से भी महत्वपूर्ण होगा. उन्होंने बताया कि स्वीकृत की गई चारदीवारियों का कार्य निर्धारित समय में पूर्ण करने के लिए जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी द्वारा नियमित माॅनिटरिंग की जाएगी.
स्वीकृतियां हुई जारी: जिला कलक्टर ने बताया कि पहले चरण में बज्जू खालसा की 83, बीकानेर की 7, श्रीडूंगरगढ़ की 8, खाजूवाला की 26, कोलायत की 21, लूणकरणसर की 29, नोखा की 15, पांचू की 5 और पूगल की 28 स्कूलों की चारदीवारी निर्माण की स्वीकृति दी गई है. इनके लिए श्रम मद में 444 लाख तथा सामग्री मद में 1554 लाख सहित कुल 1998 लाख रुपए स्वीकृत किए गए हैं.
छात्र-छात्राओं के लिए अलग-अलग शौचालय: जिला कलक्टर ने बताया कि स्वच्छ भारत अभियान की मूल भावना के मद्देनजर मनरेगा के तहत ही जिले के स्कूलों में छात्रों और छात्राओं के लिए अलग-अलग शौचालय बनाए जाएंगे. इसके लिए जिले की सभी 9 पंचायत समितियों से 30 प्रति पंचायत समिति के हिसाब से कुल 270 शौचालय बनाए जाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसके तहत 44 की स्वीकृतियां भी जारी कर दी गई हैं. शेष स्वीकृतियां प्रक्रियाधीन हैं.
प्रार्थना स्थल पर सामुदायिक शेड: जिला कलक्टर ने बताया कि स्कूली विद्यार्थियों के लिए प्रार्थना स्थल पर वर्षा और सर्दी से बचाव के लिए शेड निर्माण कार्य भी स्वीकृत किए जा रहे हैं. जिले के 90 विद्यालयों में ऐसे शेड बनाए जाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इनकी स्वीकृति प्रक्रियाधीन है.