रायपुर: छत्तीसगढ़ में धान खरीदी में अब तक के सारे रिकॉर्ड टूट गए हैं. इस साल खरीफ वर्ष 2024-25 के तहत 149.25 लाख मीट्रिक टन धान की खरीदी हुई है. राज्य में कुल 25.49 लाख से अधिक किसानों ने धान बेचा है. किसानों को 31 हजार करोड़ से भी ज्यादा का भुगतान हुआ है. इस आंकड़े ने साबित कर दिया है कि साय सरकार ने बीते वर्षों के सभी आंकड़ों को धान खरीदी में पीछे छोड़ दिया है.
बीते 24 साल का सबसे बड़ा रिकॉर्ड: धान खरीदी में बीते 24 साल का अब तक का सबसे बड़ा रिकॉर्ड है. वर्तमान खरीफ सीजन में कुल 149.25 लाख टन धान की बिक्री हुई, या यूं कहे कि सरकार ने समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी की है. धान के इस आंकड़े में मोटा धान, पतला धान, और सरना धान शामिल है. कुल 81.98 लाख मीट्रिक टन मोटा धान खरीदा गया. उसके बाद 10.75 लाख मीट्रिक टन पतला धान खरीदा गया. सरना धान की मात्रा की बात करे तो यह 56.52 लाख मीट्रिक टन है.
किस जिले ने मारी बाजी?: धान खरीदी में महासमुंद जिले ने बाजी मारी है. महासुमुंद में कुल 11.04 लाख मीट्रिक टन धान खरीद हुई है. यह राज्य का सबसे सर्वाधिक धान खरीदी वाला जिला है. इसके बाद बेमेतरा जिले में कुल 9.38 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी हुई है. तीसरे नंबर पर बलौदाबाजार और भाटापारा जिला है. यहां कुल 8.56 लाख मीट्रिक टन की खरीदी हुई है.
किसानों को कितना हुआ भुगतान?: धान खरीदी के जरिए किसानों को कुल 31 हजार 89 करोड़ रुपये का भुगतान हुआ है. प्रदेश के कुल 25 लाख 49 हजार 592 रजिस्टर्ड किसानों ने धान का विक्रय किया है. किसानों को बैंकों के माध्यम से धान के रकम का भुगतान हुआ है. राज्य में अब तक 123 लाख मीट्रिक टन से अधिक धान के उठाव का डीओ और टीओ जारी कर दिया गया है. कुल103 लाख मीट्रिक टन से अधिक धान का उठाव धान खरीदी केंद्रों से किया जा चुका है. कुल 4102 राइस मिलरों के जरिए धान का उठाव किया जा रहा है.
साल 2024 में कितनी हुई थी धान खरीदी?: साल 2023-24 के धान खरीदी के आंकड़ों की बात करें तो इस साल 144.92 लाख मीट्रिक टन धान की खरीदी हुई थी. साल 2024-25 में यह आंकड़ा बढ़कर 149.25 लाख मीट्रिक टन हो गया है. धान खरीदी की शुरुआत 14 नवंबर 2024 से हुई थी. उसके बाद यह 31 जनवरी 2025 तक लगातार जारी रही. इस अवधि के दौरान 149 लाख मीट्रिक टन से ज्यादा की धान खरीदी हुई है.
धान खरीदी के जिलेवार आंकड़े
- बस्तर जिले में 27 लाख 60 हजार 712 क्विंटल
- बीजापुर में 11 लाख 97 हजार 888 क्विंटल
- दंतेवाड़ा जिले में 03 लाख 34 हजार 315 क्विंटल
- कांकेर जिले में 53 लाख 14 हजार 290 क्विंटल
- कोण्डागांव जिले में 31 लाख 24 हजार 810 क्विंटल
- नारायणपुर जिले में 03 लाख 80 हजार 758 क्विंटल
- सुकमा जिले में 9 लाख 29 हजार 389 क्विंटल
- बिलासपुर जिले में 69 लाख 19 हजार 834 क्विंटल
- गौरेला-पेण्ड्रा-मरवाही 14 लाख 05 हजार 797 क्विंटल
- जांजगीर-चांपा जिले में 63 लाख 27 हजार 930 क्विंटल
- कोरबा जिले में 29 लाख 15 हजार 548 क्विंटल
- मुंगेली जिले में 55 लाख 60 हजार 324 क्विंटल
- रायगढ़ जिले में 50 लाख 87 हजार 976 क्विंटल
- सक्ती जिले में 51 लाख 37 हजार 411 क्विंटल
- सारंगढ़-बिलाईगढ़ जिले में 46 लाख 56 हजार 713 क्विंटल
- बालोद जिले में 75 लाख 65 हजार 598 क्विंटल
- दुर्ग जिले में 57 लाख 61 हजार 71 क्विंटल
- कवर्धा जिले में 64 लाख 93 हजार 622 क्विंटल
- राजनांदगांव जिले में 70 लाख 14 हजार 883 क्विंटल
- खैरागढ़-छुईखदान-गण्डई जिले में 40 लाख 37 हजार 641 क्विंटल
- मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी जिले में 2 लाख 22 हजार 426 क्विंटल
- धमतरी जिले में 61 लाख 98 हजार 136 क्विंटल
- गरियाबंद जिले में 53 लाख 53 हजार 499 क्विंटल
- रायपुर जिले में 69 लाख 97 हजार 417 क्विंटल
- बलरामपुर-रामानुजगंज जिले में 29 लाख 70 हजार 361 क्विंटल
- जशपुर जिले में 37 लाख 39 हजार 371 क्विंटल
- कोरिया जिले में 12 लाख 84 हजार 751 क्विंटल
- सरगुजा जिले में 36 लाख 46 हजार 903 क्विंटल
- सूरजपुर जिले में 39 लाख 72 हजार 44 क्विंटल
- मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले में 9 लाख 69 हजार 895 क्विंटल
पूरे प्रदेश मे महासमुंद ने धान खरीदी में टॉप किया है. उसके बाद बेमेतरा और बलौदाबाजार जिला है. इन आंकड़ों से छत्तीसगढ़ सरकार उत्साहित है. अब किसानों को अंतर की राशि यानि की धान के बोनस का इंतजार है.