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50 हजार क्विंटल में बिकने वाली लहसुन के भाव 10 गुना कम, मंडियों में किसने बोला धावा - MADHYA PRADESH GARLIC PRICE DOWN

मध्य प्रदेश की कृषि उपज मंडियों में लहसुन के दाम गिर गए हैं. किसानों का कहना है कि चाइनीज लहसुन से ऐसी स्थिति हुई है.

MADHYA PRADESH GARLIC PRICE DOWN
मध्य प्रदेश में लहसुन का दाम गिरा (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Jan 28, 2025, 6:18 PM IST

नीमच: पिछले वर्ष किसानों की चांदी करने वाली लहसुन ने इस बार किसानों को निराश कर दिया है. जहां पिछले साल मंडियों में लहसुन का भाव 62 हजार रुपए क्विंटल तक गया था. वहीं, इस बार मंडी में लहसुन भाव 10 गुना तक कम हो गया है. इस गिरावट ने किसानों को गहरी चिंता में डाल दिया है. जो किसान लहसुन की फसल से अच्छे मुनाफे की उम्मीद कर रहे थे, उनके लिए यह झटका किसी संकट से कम नहीं है.

पिछले साल के मुकाबले 10 गुना गिरा दाम

देशभर की बड़ी मंडियों में शुमार नीमच कृषि उपज मंडी में इन दोनों लहसुन की बंपर आवक हो रही है. जिसमें राजस्थान के चित्तौड़, कोटा, उदयपुर सहित मध्य प्रदेश के रतलाम, धार, बड़नगर सहित आसपास से किसान अच्छे भाव की उम्मीद में लहसुन लेकर पहुंच रहे हैं. मगर इस बार किसानों की उम्मीदों पर पानी फिरता दिख रहा है. इस साल पिछले साल के मुकाबले लहसुन के भाव 10 गुना कम हो गये हैं. पिछले वर्ष जहां लहसुन 35 से 60 हजार रुपये क्विंटल तक पहुंच गया था. वहीं, इस बार लहसुन का भाव मात्र 8 से 15 हजार रुपए क्विंटल है.

MADHYA PRADESH MARKETS GARLIC RATE
मध्य प्रदेश की प्रमुख मंडियों में लहसुन का रेट (ETV Bharat)

किसानों को लागत निकालना हुआ मुश्किल

किसान मुन्ना लाल मनासा ने बताया कि "मैं नीमच मंडी में लहसुन लेकर पहुंचा हूं. मैंने 2 बीघा खेत में लहसुन की बोवनी की है. जिसमें 3 लाख रुपए की लागत लगी. इस बार अधिक बारिश के कारण लहसुन में कई रोग भी लगे, जिसके कारण लागत और बढ़ गई थी. नीमच मंडी में आकर पता चला है कि यहां लहसुन का भाव 10,800 रुपए प्रति क्विंटल के करीब चल रहा है. ऐसे में लागत भी निकालना मुश्किल हो रहा है. पिछले साल भी 2 बीघा में खेती की थी तब हमें 9.30 लाख रुपए का फायदा हुआ था. सरकार को चाहिए कि वे चीन से लहसुन की आयात बंद कर दे."

Neemuch Market garlic rate
नीमच मंडी किसानों के लहसुनों का लगा ढेर (ETV Bharat)

'चाइनीज लहसुन की आयात की वजह से गिर रहा भाव'

रतलाम जिले के बदनावर गांव से आये नंदकिशोर ने बताया कि "नीमच मंडी में इस उम्मीद के साथ लहसुन लेकर पहुंचे थे कि यहां सबसे अच्छा भाव मिलेगा, लेकिन यहां तो भाव जमीन पर आ गया है." किसानों का कहना है कि चीन से लहसुन की आयात की वजह से लहसुन का भाव लगातार गिर रहा है. सरकार ने भी अब तक कोई बड़ा कदम नहीं उठाया है. जिसके चलते किसानों को अपनी लागत निकालना मुश्किल हो गया है.

नीमच: पिछले वर्ष किसानों की चांदी करने वाली लहसुन ने इस बार किसानों को निराश कर दिया है. जहां पिछले साल मंडियों में लहसुन का भाव 62 हजार रुपए क्विंटल तक गया था. वहीं, इस बार मंडी में लहसुन भाव 10 गुना तक कम हो गया है. इस गिरावट ने किसानों को गहरी चिंता में डाल दिया है. जो किसान लहसुन की फसल से अच्छे मुनाफे की उम्मीद कर रहे थे, उनके लिए यह झटका किसी संकट से कम नहीं है.

पिछले साल के मुकाबले 10 गुना गिरा दाम

देशभर की बड़ी मंडियों में शुमार नीमच कृषि उपज मंडी में इन दोनों लहसुन की बंपर आवक हो रही है. जिसमें राजस्थान के चित्तौड़, कोटा, उदयपुर सहित मध्य प्रदेश के रतलाम, धार, बड़नगर सहित आसपास से किसान अच्छे भाव की उम्मीद में लहसुन लेकर पहुंच रहे हैं. मगर इस बार किसानों की उम्मीदों पर पानी फिरता दिख रहा है. इस साल पिछले साल के मुकाबले लहसुन के भाव 10 गुना कम हो गये हैं. पिछले वर्ष जहां लहसुन 35 से 60 हजार रुपये क्विंटल तक पहुंच गया था. वहीं, इस बार लहसुन का भाव मात्र 8 से 15 हजार रुपए क्विंटल है.

MADHYA PRADESH MARKETS GARLIC RATE
मध्य प्रदेश की प्रमुख मंडियों में लहसुन का रेट (ETV Bharat)

किसानों को लागत निकालना हुआ मुश्किल

किसान मुन्ना लाल मनासा ने बताया कि "मैं नीमच मंडी में लहसुन लेकर पहुंचा हूं. मैंने 2 बीघा खेत में लहसुन की बोवनी की है. जिसमें 3 लाख रुपए की लागत लगी. इस बार अधिक बारिश के कारण लहसुन में कई रोग भी लगे, जिसके कारण लागत और बढ़ गई थी. नीमच मंडी में आकर पता चला है कि यहां लहसुन का भाव 10,800 रुपए प्रति क्विंटल के करीब चल रहा है. ऐसे में लागत भी निकालना मुश्किल हो रहा है. पिछले साल भी 2 बीघा में खेती की थी तब हमें 9.30 लाख रुपए का फायदा हुआ था. सरकार को चाहिए कि वे चीन से लहसुन की आयात बंद कर दे."

Neemuch Market garlic rate
नीमच मंडी किसानों के लहसुनों का लगा ढेर (ETV Bharat)

'चाइनीज लहसुन की आयात की वजह से गिर रहा भाव'

रतलाम जिले के बदनावर गांव से आये नंदकिशोर ने बताया कि "नीमच मंडी में इस उम्मीद के साथ लहसुन लेकर पहुंचे थे कि यहां सबसे अच्छा भाव मिलेगा, लेकिन यहां तो भाव जमीन पर आ गया है." किसानों का कहना है कि चीन से लहसुन की आयात की वजह से लहसुन का भाव लगातार गिर रहा है. सरकार ने भी अब तक कोई बड़ा कदम नहीं उठाया है. जिसके चलते किसानों को अपनी लागत निकालना मुश्किल हो गया है.

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