बस्तर: बस्तर की महिला किसानों की आय बढ़ाने और उनकी जिंदगी को बेहतर बनाने के नाम पर भूमगादी महिला कृषि प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड कंपनी बनाई गई. महिला किसानों को फायदा दिलाने और उनकी कमाई का जरिया बढ़ाने के नाम पर भूमगादी महिला कृषि प्रोड्यूसर कंपनी ने लाखों का गबन कर लिया. गबन के खुलासे की खबर मिलते ही पुलिस ने शिकायत के आधार पर जुर्म दर्ज कर लिया है.
कैसे खेला गया ठगी का खेल: दरअसल राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत इस संस्था को करोड़ों रुपए की आर्थिक सहायता दी जा रही थी. लेकिन कंपनी के लेखापाल महेश्वर राव ने अन्य लोगों के साथ मिलकर 35 लाख का गबन कर लिया. आरोप है कि महेश्वर राव ने अपने परिजनों के खाते में गबन किए गए पैसे को ट्रांसफर कर दिया. मामले का खुलासा होने के बाद राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के प्रबंधक ने कोतवाली थाने में एफआईआर दर्ज कराई है. पुलिस में दर्ज शिकायत के आधार पर साल 2019 में इस कंपनी की शुरुआत हुई. पहले कंपनी की ओर से ये बताया गया कि कंपनी बनाने का मुख्य मकसद है स्थानीय आदिवासी महिलाओं को लाभ दिलाना है. आरोप है कि लाभ दिलाने के नाम पर उसने ये गोलमाल किया.
''ठगी की शिकायत राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के प्रबंधक ने कोतवाली थाने में की है. शिकायत मिलने के बाद हमने एफआईआर दर्ज कर लिया है. जांच की जिम्मेदारी भी सौंप दी है. जांच पूरी होने के बाद ही हम कार्रवाई के बारे में कुछ कह पाएंगे''. - योगेश कुमार देवांगन, एडिशन एसपी
कंपनी ने लगाया चूना: ये कोई पहला मामला नहीं है जब बस्तर की गरीब महिला किसानों के नाम पर ठगी का मामला सामने आया है. जिम्मेदार अफसरों के द्वारा अगर कंपनी के कामों की सही तरीके से मॉनिटरिंग की गई होती तो इस तरह की ठगी को समय रहते रोका जा सकता था.