भोपाल। लोकसभा के चुनावों से पहले कांग्रेस को एक के बाद एक बड़े झटके लग रहे हैं. महाकौशल से दूसरे दिन कांग्रेस के लिए बुरी खबर सामने आई है. एमपी के पूर्व महाधिवक्ता और वरिष्ठ कांग्रेस नेता शशांक शेखर ने कांग्रेस का हाथ छोड़कर बीजेपी का दामन पकड़ लिया है. आपकी बता दें कि इससे एक दिन पहले ही जबलपुर नगर निगम महापौर जगत बहादुर सिंह अन्नू, डिंडौरी जिला पंचायत अध्यक्ष रूद्रेश परस्ते सहित अन्य कांग्रेस नेता शामिल हुए थे. वरिष्ठ अधिवक्ता शशांक शेखर लंबे समय से वकालत में हैं. वे एमपी कांग्रेस लीगल सेल के भी प्रमुख रहे हैं.
विवेक तंखा के करीबी है शशांक शेखर
राज्यसभा सांसद विवेक तंखा के सबसे नजदीकियों में अन्नू के साथ उनका भी नाम शुमार है. ये पहले हाईकोर्ट बार एसोसिएशन जबलपुर के सचिव भी निर्वाचित हो चुके हैं. कमलनाथ के मुख्यमंत्री बनने पर विवेक तंखा की अनुशंसा पर उन्हें महाधिवक्ता नियुक्त किया गया था. वहीं बीजेपी ज्वाइन कनरे के बाद शशांक शेखर ने कहा कि अयोध्या में श्रीराम की प्राण प्रतिष्ठा के कार्यक्रम का निमंत्रण ठुकराकर कांग्रेस ने बहुत गलत किया है. सनातन को मनाने वाले प्रतिदिन अपने आराध्य श्रीराम की पूजा अर्चना करते है. ऐसे में 500 साल के बाद जो सपना पूरा हुआ है, लेकिन कांग्रेस ने जिस तरह से निमंत्रण को अस्वीकार किया है, वो गलत है. इसलिए मैं कांग्रेस को छोड़कर बीजेपी में शामिल हो रहा हूं.
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राम को मानने वाले कांग्रेस में नहीं रहेंगे
उन्होंने कहा कि बीजेपी में हम सब पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत के विकास के लिए काम करेंगे. पार्टी जो मुझे दायित्व देगी मैं उसे पूरा करूंगा. उन्होंने प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा, उप मुख्यमंत्री राजेन्द्र शुक्ला और जॉइनिंग टोली के प्रमुख नरोत्तम मिश्रा व पूर्व मंत्री संजय पाठक की मौजदूगी में बीजेपी का दामन थाम लिया है. इस मौके पर संजय पाठक ने कहा कि कांग्रेस भ्रमित है. अयोध्या कार्यक्रम का आमंत्रण ठुकरा कर कांग्रेस ने श्रीराम को मनाने वाले हर व्यक्ति का अपमान किया है. जो भी श्रीराम को मानता है, अब वो कांग्रेस में नहीं रहेगा.