देहरादून: रवि बडोला हत्याकांड को लेकर जनता का आक्रोश बढ़ता ही जा रहा है. उत्तराखंड के कई सामाजिक संगठन भी रवि बडोला के परिवार के साथ खड़े हुए नजर आ रहे हैं. इसी क्रम में मूल निवास भू कानून संघर्ष समिति ने गुरुवार यानी आज 20 जून को देहरादून बंद का ऐलान किया है. साथ ही इस मामले को फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाने की मांग की है.
मूल निवास भू कानून संघर्ष समिति के संयोजनक मोहित डिमरी का कहना है कि प्रदेश में लगातार अपराध का ग्राफ बढ़ता जा रहा है. अब यहां लोग सुरक्षित महसूस नहीं कर रहे हैं. प्रदेश के मूल निवासियों का उत्पीड़न करके उनकी हत्या की जा रही है. प्रदेश की कानून व्यवस्था पूरी तरह से चौपट हो चुकी है. अपराधियों को राजनीतिक संरक्षण मिल रहा है, जिस वजह से वो खुलेआम घूम रहे हैं.
मोहित डिमरी ने कहा कि उत्तराखंड के कई हिस्सों में अपराधियों की संख्या बढ़ती जा रही है. पश्चिमी उत्तर प्रदेश से कई अपराधी यहां आकर मूल निवासियों को अपना निशाना बना रहे हैं, जिस कारण उनके हौसले बुलंद होते जा रहे हैं. ऐसे में समिति ने आज गुरुवार को देहरादून बंद का ऐलान किया है.
इसके अलावा मोहित डिमरी ने रवि बडोला हत्याकांड को फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाये जाने की भी मांग उठाई है. इसके साथ ही रवि बडोला की पत्नी को सरकारी नौकरी दिए जाने के साथ घायलों को 20-20 लाख रुपए मुआवजा दिए जाने और मुफ्त इलाज देने की भी मांग उठाई है. वहीं मृतक रवि बडोला की पत्नी पूर्वी बडोला ने भी सरकार से केस को फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाये जाने की मांग उठाई है.
क्या है पूरा मामला: बता दें कि देहरादून के नेहरू ग्राम इलाके में रहने वाले रवि बडोला में अपनी कार उसी क्षेत्र में रहने वाले अपने परिचित सागर यादव को दी थी. सागर ने रवि बडोला को बिना बताए उस कार को सवा चार लाख में सोनू भारद्वाज के यहां गिरवी रख दिया. रवि बडोला को उसकी कार गिरवी रखने की जानकारी मिली तो उसने सागर यादव से अपनी कार वापस मांगी, लेकिन सागर यादव ने कार वापस देने से मना कर दिया और रवि बडोला के साथ गाली-गलौज भी की.
आरोप है कि इसके बाद रवि ने अपनी कार के लिए सोनू भारद्वाज से बात की, लेकिन उसने भी कार वापस देने से मना कर दिया. विवाद बढ़ा तो रवि ने अपने दोस्त सुभाष क्षेत्री और मनोज नेगी को भी बुला दिया. 16 जून की रात तीनों सोनू भारद्वाज के घर गए, जहां सोनू भारद्वाज, उसके भाई मोनू भारद्वाज, रामवीर, मनीष, अंकुश और योगेश से उनकी बहस हो गई. इन पांचों आरोपियों ने रवि और उसके दोस्त पर फायरिंग कर दी.
इस फायरिंग ने तीनों रवि, सुभाष क्षेत्री और मनोज नेगी को गोली लगी. फायरिंग की वजह से पूरे इलाके में हो हल्ला मच गया था. मामले की जानकारी मिलते ही पुलिस भी मौके पर पहुंची. सुभाष क्षेत्री को तो उसके परिजनों और मनोज नेगी को पुलिस ने तत्काल हॉस्पिटल में भर्ती कराया, लेकिन देर रात भी रवि का कुछ पता नहीं लगा. पूरी रात परिजन और पुलिस रवि को ढूंढती रही. रवि की लाश सुबह डोभाल चौक के पास नाले में पड़ी हुई मिली.
पुलिस ने इस मामले में सभी सातों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. रवि बडोला हत्याकांड के मुख्य आरोपी रामवीर को पुलिस ने राजस्थान से गिरफ्तार किया था. रामवीर, मनीष, अंकुश और योगेश का सोनू भारद्वाज के यहां आना जाना है. रामवीर, मनीष, अंकुश और योगेश बीते कुछ दिनों से सोनू भारद्वाज के यहां ही रह रहे थे.
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