लखनऊ : राजधानी में अंग्रेजों के समय में बसाई गईं कॉलोनियों में अब मात्र 2000 स्क्वायर फीट जमीन पर भी ग्रुप हाउसिंग बनाई जा सकेगी. वैसे तो ग्रुप हाउसिंग के लिए 21 हजार स्कवायर जरूरी है, लेकिन इन पुरानी कॉलोनियों के लिए एलडीए ने नियम बदले हैं. इन कॉलोनियों में महानगर, निराला नगर, माल एवेन्यू, डालीबाग शामिल हैं. ये सभी इंप्रूवमेंट ट्रस्ट के दायरे में आती हैं. यह फैसला लखनऊ विकास प्राधिकरण की बुधवार को बोर्ड मीटिंग में लिया गया. बैठक में कई अन्य महत्वपूर्ण प्रस्ताव भी पास किए गए हैं.
मोहान रोड योजना के संशोधित लेआउट को मंजूरी: लखनऊ विकास प्राधिकरण की मोहान रोड योजना यूपी की सबसे बड़ी एजुकेशन हब बनेगी. इसके लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के तहत योजना में 102 एकड़ जमीन पर विशेष शैक्षिक क्षेत्र विकसित किया जाएगा. जहां दुबई व कतर की तर्ज पर एक ही जगह पर प्राथमिक, माध्यमिक, उच्च माध्यमिक व उच्च शिक्षा की सुविधा उपलब्ध होगी. लखनऊ विकास प्राधिकरण की अध्यक्ष/मण्डलायुक्त डाॅ. रोशन जैकब की अध्यक्षता में बुधवार को हुई बोर्ड की 183वीं बैठक में योजना के संशोधित ले-आउट को मंजूरी मिल गई है.
योजना में क्या कुछ खास: LDA उपाध्यक्ष प्रथमेश कुमार ने बताया कि मोहान रोड योजना का विकास लगभग 785 एकड़ क्षेत्रफल में ग्रिड पैटर्न पर किया जाएगा. योजना में कुल 08 सेक्टर होंगे. प्रत्येक में साॅलिड वेस्ट मैनेजमेंट, सेक्टोरल शाॅपिंग सेंटर, बारात घर और वेंडिंग जोन बनाया जाएगा. साथ ही सभी बड़े चौराहों पर रोटरी विकसित होगी. जिसमें बायीं ओर मुड़ने वाले ट्रैफिक को फ्री पास दिया जाएगा.
- मोहान योजना में 112.50 वर्गमीटर से 450 वर्गमीटर क्षेत्रफल के कुल 2532 आवासीय भूखण्ड के साथ ग्रुप हाउसिंग के बड़े भूखण्ड नियोजित किए जाएंगे.
- योजना में शिक्षण संस्थानों के लिए बल्क में भूखण्ड नियोजित करते हुए इसे एजुकेशन सिटी का स्वरूप दिया जाएगा.
- शिक्षण संस्थानों के लिए अलग-अलग भूखण्ड नियोजित करने के बजाए एक ही स्थान पर 102 एकड़ क्षेत्रफल का बड़ा भू-भाग नियोजित किया गया है.
- प्राथमिक, माध्यमिक, उच्च माध्यमिक व उच्च शिक्षा की सम्पूर्ण सुविधाएं एक ही जगह पर उपलब्ध होंगी.
- एजुकेशन फैकेल्टी के रहने के लिए पास में ही ग्रुप हाउसिंग के भूखण्ड विकसित किए जाएंगे.
गोमती नगर स्थित लखनऊ विकास प्राधिकरण भवन के पारिजात सभागार मेें हुयी इस बैठक में विकास एवं जनहित के ऐसे कई प्रस्ताव पास किये गये. इस मौके पर प्राधिकरण के उपाध्यक्ष प्रथमेश कुमार, सचिव विवेक श्रीवास्तव, अपर जिलाधिकारी राकेश सिंह, अपर सचिव ज्ञानेन्द्र वर्मा, वित्त नियंत्रक दीपक सिंह, मुख्य नगर नियोजक के0के0 गौतम, मुख्य अभियंता अवनीन्द्र कुमार सिंह, बोर्ड के सदस्य पुष्कर शुक्ला एवं पी0एन0 सिंह समेत अन्य विभागों के अधिकारी गण उपस्थित रहे.
इन जगहों पर बनेंगे 20 चार्जिंग स्टेशन: उपाध्यक्ष प्रथमेश कुमार ने बताया कि शहर में इलेक्ट्रिक वाहनों की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है. ऐसे में वाहन चालकों की सहूलियत के लिए अलग-अलग स्थानों पर चार्जिंग स्टेशन बनाने की आवश्यकता है. इसे ध्यान में रखते प्राधिकरण ने निजी सहभागिता से जनेश्वर मिश्र पार्क, लोहिया पार्क व कानपुर रोड योजना स्थित ज्योतिबा फुले पार्क के निकट तीन चार्जिंग स्टेशन विकसित करने का फैसला लिया है. इसी तरह शहीद स्मारक पार्क, रूमी पार्क, पतंग पार्क, गौतम बुद्ध पार्क, सरोजनी नायडू पार्क, बेगम हजरत महल पार्क, लोहिया पार्क गेट नंबर-1 और 2, जनेश्वर मिश्र पार्क, पंचवटी पार्क, जाॅगर्स पार्क, अम्बेडकर पार्क (यूपी दर्शन), स्मृति उपवन, रमाबाई अम्बेडकर मैदान, कालिन्दी वन पार्क, स्वर्ण जयंती स्मृति विहार पार्क, पिकनिक स्पाॅट गेट, राधा निकुंज पार्क, ज्योतिबा फुले जोनल पार्क व प्राधिकरण मुख्यालय में चार्जिंग स्टेशन के लिए जगह उपलब्ध कराई जाएगी. जहां निजी कंपनियों द्वारा रेवेन्यु शेयरिंग मोड पर चार्जिंग स्टेशन का निर्माण व संचालन किया जाएगा.
2500 विस्थापितों को नहीं देना होगा ब्याज: लखनऊ विकास प्राधिकरण ने अकबर नगर, भीखमपुर व बटलर पैलेस कालोनी के विस्थापितों को बड़ी राहत दी है. एलडीए उपाध्यक्ष प्रथमेश कुमार ने बताया कि अब इन विस्थापितों को 10 वर्ष की आसान किश्तों में सिर्फ भवन का निर्धारित मूल्य ही चुकाना होगा. इसमें किसी भी प्रकार का कोई ब्याज नहीं लगेगा. इस निर्णय से लगभग 2500 विस्थापितों को बड़ा लाभ होगा. इसके अलावा, अकबर नगर के 20, भीखमपुर के एक व बटलर पैलेस के 14 ऐसे विस्थापित, जो भवन आवंटन की प्रक्रिया में छूट गए थे, उन्हें भी प्रधानमंत्री आवास आवंटित किया जाएगा. प्राधिकरण बोर्ड ने इसके प्रस्ताव को भी हरी झंडी दे दी है.
2000 वर्गमीटर के भूखण्डों पर ग्रुप हाउसिंग की अनुमति: लखनऊ विकास प्राधिकरण व इम्प्रूवमेंट ट्रस्ट की पुरानी योजनाओं में न्यूनतम 12 मीटर चौड़ी सड़क पर एकल आवासीय के रूप में आवंटित किए गए 2000 वर्गमीटर व उससे अधिक क्षेत्रफल के भूखण्डों पर अब ग्रुप हाउसिंग का निर्माण किया जा सकेगा. एलडीए सचिव विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि इसके लिए आवंटी को भूखण्ड की लीज डीड या फ्री-होल्ड डीड में एकल आवास के स्थान पर समूह आवास की अनुमन्यता के लिए करेक्शन डीड (तितिम्मा) कराना होगा. जिसके बाद प्राधिकरण अन्य निर्धारित नियमों व शर्तों के अनुसार ग्रुप हाउसिंग भवन मानचित्र स्वीकृत करेगा. प्राधिकरण बोर्ड ने इस प्रस्ताव को स्वीकृति प्रदान कर दी है.
100 वर्गमीटर से अधिक क्षेत्रफल के भवनों में सोलर पैनल अनिवार्य: सचिव विवेक श्रीवास्तव ने बताया कि पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना के तहत निजी आवासों पर सोलर रूफटाॅप संयंत्र स्थापित करने के लिए केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा 45,000 रुपये से 108000 रुपये तक अनुदान दिया जा रहा है. इसे ध्यान में रखते हुए 100 वर्गमीटर से अधिक क्षेत्रफल के भवनों पर सोलर रूफटाॅप संयंत्र लगाना अनिवार्य होगा. जिसके लिए इस क्षेत्रफल के भूखण्डों पर भवन निर्माण के लिए प्राप्त होने वाले मानचित्रों में सोलर रूफटाॅप संयंत्र स्थापित करने की अनिवार्यता सुनिश्चित कराई जाएगी. यह व्यवस्था पुराने भवनों पर लागू नहीं होगी. नये प्राप्त होने वाले मानचित्रों में ही यह नियम लागू किया जाएगा.
आईटी सिटी व वेलनेस सिटी का दायरा बढ़ेगा: अपर सचिव ज्ञानेन्द्र वर्मा ने बताया कि सुलतानपुर रोड व किसान पथ पर प्रस्तावित प्राधिकरण की आईटी सिटी व वेलनेस सिटी आवासीय योजना का दायरा बढ़ेगा. आईटी सिटी के लिए ग्राम-मोहारी खुर्द, मोहारी कला, सिद्धपुरा की लगभग 539 एकड़ भूमि व वेलनेस सिटी के लिए ग्राम-मस्तेमऊ की लगभग 127 एकड़ अतिरिक्त भूमि ली जाएगी. बताया कि भूमि का जुटाव पूर्व निर्धारित योजना के तहत अर्जन तथा सहमति के आधार पर क्रय एवं लैंड पूलिंग के माध्यम से किया जाएगा. इसके अलावा मोहान रोड योजना के लिए अर्जित भूमि पर अवस्थित परिसम्पत्तियों का मूल्यांकन पूर्व के वर्षों में न करते हुए वर्ष 2019 की पीडब्ल्यूडी दर पर किया जाएगा. इससे किसानों को फायदा होगा और भूमि अर्जित करने में आसानी होगी.
मानक से अधिक क्षेत्रफल का एक साल में कर सकेंगे भुगतान: अपर सचिव ज्ञानेन्द्र वर्मा ने बताया कि प्राधिकरण द्वारा आवंटित प्लाट में मानक क्षेत्रफल से अधिक क्षेत्रफल होने पर आवंटी को बढ़े हुये क्षेत्रफल के मूल्य का भुगतान करने के लिए एक वर्ष तक का समय मिलेगा. बताया कि मानक क्षेत्रफल से 10 प्रतिशत तक अधिक बढ़ने पर आवंटन दर से भुगतान करना होगा. वहीं, 10 प्रतिशत से अधिक बढ़ा क्षेत्रफल होने की दशा में वर्तमान दर से भुगतान देय होगा.
22 अवर अभियंताओं की भर्ती: एलडीए द्वारा शहर में कराये जा रहे निर्माण/विकास कार्योें के के लिए 22 अवर अभियंताओं (सिविल) को आउटसोर्सिंग के माध्यम से भर्ती करेगा. जिसके लिए क्षेत्रीय नगर एवं पर्यावरण अध्ययन केन्द्र के माध्यम से अभियंता भर्ती किए जाएंगे. बोर्ड ने इसके प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है.