जोधपुर : बोरानाडा थाना क्षेत्र में व्यापार में पार्टनर के छोड़ जाने पर हुए नुकसान का बदला लेने के लिए उसके बच्चों की हत्या करने के मामले में नया खुलासा हुआ है. आरोपी ने 12 साल की बच्ची को मारने से पहले उसके साथ दुष्कर्म किया था. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में इसका खुलासा हुआ है.
थानाधिकारी शकील अहमद ने बताया कि रिपोर्ट आने के बाद आरोपी को जेल से दोबारा गिरफ्तार कर पूछताछ की तो उसने दुष्कर्म करना स्वीकार किया है. इससे पहले भी जब आरोपी अपने पार्टनर के परिवार के साथ रहता था तब बच्ची के साथ दुष्कर्म कर चुका है. उसका कई बार देह शोषण करता रहा है. पुलिस अब इस मामले में चार्ज शीट में पॉक्सो की धाराएं भी जोड़ेगी, जिससे आरोपी को कड़ी से कड़ी सजा मिल सके.
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ये है मामला : आरोपी वर्षों से इसी क्षेत्र में रह रहा था. करीब 15 साल पहले उत्तर प्रदेश से पीड़ित परिवार जोधपुर आया तो उसने ही उसे सहारा दिया और उसे काम पर लगाया. दोनों का एक दूसरे के घर में आना जाना था. उसके दोनों बच्चे आरोपी को दादाजी ही कहते थे. एक साल पहले जब आरोपी ने खुद की चूड़ी की फैक्ट्री लगाई तो दोनों साथ काम करने लगे, लेकिन घटना से करीब 20 दिन पहले दोनों की बहस हुई. इसपर पीड़ित दूसरी फैक्ट्री में चला गया, लेकिन आरोपी को इससे नुकसान हुआ और यह बात उसे अखर गई.
हालांकि, आरोपी ने ये बात जाहिर नहीं होने दी. 24 जनवरी को आरोपी अपने पार्टनर के बच्चों को स्कूल छोड़ने का कहकर अपनी बाइक पर ले गया था. जब बच्चे वापस नहीं लौटे तो परिजन बच्चों को ढूंढने में लग गए. इसके बाद अगले दिन पुलिस के पास पहुंचे. 26 जनवरी को आरोपी के घर पहुंचे तो वहां दोनों बच्चों के शव फंदे से लटके मिले थे.
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राजसमंद से गिरफ्तार कर लाई थी पुलिस : आरोपी हत्या के बाद जोधपुर से भाग गया था. मामला दर्ज होने के बाद पुलिस की स्पेशल टीम उसके पीछे लग गई थी और उसे राजसमंद नाथद्वारा से दस्तयाब कर जोधपुर लेकर आई. उसने बच्चों के पिता के व्यापार में पीछे हट जाने का बदला लेने के लिए हत्या करनी कबूली थी. हत्या करते हुए जब बच्चों ने कहा कि 'दादाजी हमें क्यों मार रहे हो?' इसपर आरोपी ने कहा कि 'अगर तुम्हारे मां बाप को सजा दूंगा तो तुम अनाथ हो जाओगे, लेकिन अब तुम्हारे मां बाप जिंदगी भर याद रखेंगे.'
नकली पहचान से रह रहा था आरोपी : पकड़े जाने के बाद पुलिस भी उस वक्त अचरज में पड़ गई, जब उसने कहा कि वह कोई और है. उसने अपना नाम कुछ और बताया और कहा कि वह फलोदी का ही रहने वाला है. पुलिस ने जब उसकी पड़ताल की तो सामने आया है कि लंबे समय पहले ही उसने समाज से बहिष्कृत होने पर अपनी पहचान बदल ली थी. इसी नए नाम से आधार, पैन कार्ड बना लिए और रहने लगा. इन्हीं दस्तावेजों की सहायता से उसमें फैक्ट्री भी शुरू कर ली थी. उसके पार्टनर को भी उसके असली नाम का पता नहीं था.