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लोहिया संस्थान में नई व्यवस्था; भर्ती मरीजों को बेड पर मिलेंगी दवाएं व सर्जिकल उपकरण, जानिए कब से लागू होगा डोजियर सिस्टम - Lohia Institute Dossier System

लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान एक सितंबर से नई व्यवस्था लागू करने जा (Dossier system) रहा है. इसके बाद मरीजों को काफी सहूलियत मिलेगी. संस्थान में डोजियर सिस्टम लागू करने की तैयारी है.

लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान
लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान (Photo credit: ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Aug 16, 2024, 10:44 AM IST

लखनऊ : लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान में भर्ती मरीजों के तीमारदारों को अब फार्मेसी के सामने घंटों लाइन नहीं लगानी पड़ेगी. संस्थान में डोजियर सिस्टम लागू होने जा रहा है. इसके तहत नई व्यवस्था के तहत दवाएं और सर्जिकल उपकरण सीधे मरीज के बेड पर पहुंचेंगे. डोजियर सिस्टम लागू करने वाला लोहिया प्रदेश का पहला संस्थान होगा. अभी तक यह सुविधा सिर्फ एसजीपीजीआई में ही मिल रही है.

निदेशक प्रो. सीएम सिंह के मुताबिक, डोजियर सिस्टम लागू करने के लिए सभी विभागाध्यक्षों को बता दिया गया है. एक सितंबर से इसे लागू किया जाना है. इससे गंभीर मरीजों को समय से दवाएं मिलने से इलाज प्रभावित नहीं होगा. इसका सबसे अधिक फायदा सर्जरी कराने वाले रोगियों को मिलेगा. कई बार ऐसा होता है कि मरीज के ऑपरेशन थिएटर में जाने के बाद तीमारदार को दवाएं या सर्जिकल उपकरण लाने के लिए पर्चा थमा दिया जाता है, जिसमें घंटों लग जाते हैं. इसके अलावा भर्ती होने वाले रोगियों के परिवारीजन को दवा के लिए दो-तीन घंटे लाइन में लगना पड़ता है.

नई व्यवस्था के तहत मरीज के भर्ती होने के बाद डाॅक्टर की सलाह पर ऑनलाइन दवाएं आर्डर की जाएंगी. नर्सिंग स्टाफ की ओर से दवाओं का आर्डर करने के बाद फोन पर फार्मासिस्ट को जानकारी दी जाएगी. जैसे ही बिल बनेगा मरीज के मोबाइल पर मैसेज आएगा. कुछ देर में ही दवाओं का पैकेट संबंधित विभाग में भर्ती मरीज के बेड पर पहुंच जाएगा. मरीज के अस्पताल से छुट्टी के बाद बची दवाएं नर्सिंग स्टाफ द्वारा वापस होंगी.

लोहिया संस्थान के निदेशक प्रो. सीएम सिंह ने बताया कि संस्थान के मरीजों को उच्चस्तरीय इलाज मुहैया कराने की दिशा में यह बेहद जरूरी था. डोजियर सिस्टम लागू करने से आने वाले समय में बड़ा बदलाव दिखेगा. ओपीडी मरीजों के लिए संचालित एचआरएफ के काउंटरों पर दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित करेंगे, जिससे किसी को निजी मेडिकल स्टोर से दवा न खरीदना पड़े.

यह भी पढ़ें : सर्जरी का सामान लिखने में बंद होगी मनमानी, नहीं लगाने पड़ेंगे चक्कर, अतिरिक्त सामान लिखने पर कारण भी होगा बताना - Lohia Institute of Medical Sciences

यह भी पढ़ें : लोहिया अस्पताल में बिना चीरा-टांका के होंगे ब्रेन ट्यूमर, हेड इंजरी जैसे कठिन ऑपरेशन; 60 करोड़ में लगेगी पहली 'गामा नाइफ' मशीन - Lucknow Lohia Hospital

लखनऊ : लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान में भर्ती मरीजों के तीमारदारों को अब फार्मेसी के सामने घंटों लाइन नहीं लगानी पड़ेगी. संस्थान में डोजियर सिस्टम लागू होने जा रहा है. इसके तहत नई व्यवस्था के तहत दवाएं और सर्जिकल उपकरण सीधे मरीज के बेड पर पहुंचेंगे. डोजियर सिस्टम लागू करने वाला लोहिया प्रदेश का पहला संस्थान होगा. अभी तक यह सुविधा सिर्फ एसजीपीजीआई में ही मिल रही है.

निदेशक प्रो. सीएम सिंह के मुताबिक, डोजियर सिस्टम लागू करने के लिए सभी विभागाध्यक्षों को बता दिया गया है. एक सितंबर से इसे लागू किया जाना है. इससे गंभीर मरीजों को समय से दवाएं मिलने से इलाज प्रभावित नहीं होगा. इसका सबसे अधिक फायदा सर्जरी कराने वाले रोगियों को मिलेगा. कई बार ऐसा होता है कि मरीज के ऑपरेशन थिएटर में जाने के बाद तीमारदार को दवाएं या सर्जिकल उपकरण लाने के लिए पर्चा थमा दिया जाता है, जिसमें घंटों लग जाते हैं. इसके अलावा भर्ती होने वाले रोगियों के परिवारीजन को दवा के लिए दो-तीन घंटे लाइन में लगना पड़ता है.

नई व्यवस्था के तहत मरीज के भर्ती होने के बाद डाॅक्टर की सलाह पर ऑनलाइन दवाएं आर्डर की जाएंगी. नर्सिंग स्टाफ की ओर से दवाओं का आर्डर करने के बाद फोन पर फार्मासिस्ट को जानकारी दी जाएगी. जैसे ही बिल बनेगा मरीज के मोबाइल पर मैसेज आएगा. कुछ देर में ही दवाओं का पैकेट संबंधित विभाग में भर्ती मरीज के बेड पर पहुंच जाएगा. मरीज के अस्पताल से छुट्टी के बाद बची दवाएं नर्सिंग स्टाफ द्वारा वापस होंगी.

लोहिया संस्थान के निदेशक प्रो. सीएम सिंह ने बताया कि संस्थान के मरीजों को उच्चस्तरीय इलाज मुहैया कराने की दिशा में यह बेहद जरूरी था. डोजियर सिस्टम लागू करने से आने वाले समय में बड़ा बदलाव दिखेगा. ओपीडी मरीजों के लिए संचालित एचआरएफ के काउंटरों पर दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित करेंगे, जिससे किसी को निजी मेडिकल स्टोर से दवा न खरीदना पड़े.

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