चंडीगढ़: आज लोहड़ी है. ये पर्व खासकर पंजाब, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश और दिल्ली में मनाई जाती है. मकर संक्रांति के एक दिन पहले यानी कि पौष माह के आखिरी रात को लौहड़ी पर्व मनाया जाता है. पंजाब में इस पर्व को काफी खास तरीके से मनाया जाता है. पंजाब में इसे तिलोड़ी भी कहा जाता है. इस दिन रात में आग में अन्न अर्पित कर लोग जश्न मनाते हैं. हरियाणा में भी ये पर्व बड़े धूमधाम से मनाया जाता है. यहां 10 दिन पहले से ही लोहड़ी का बाजार सज जाता है. लोग अपने बजट और जरूरत के अनुसार खरीदारी करते हैं.
अग्नि में अन्न अर्पित करने की परम्परा: लोहड़ी पर्व पर अग्नि में अन्न को अर्पित करने की परम्परा है. लोगों का मानना है कि ऐसा करने से साल भर घर में सुख शांति बनी रहती है. यही कारण है कि लोग अपने घरों के बाहर लकड़ियों को जलाकर उसमें मूगंफली, रेवड़ियां, चिवड़े सहित अन्य सामानों को अर्पित कर परिवार की सुख शांति के लिए आराधना करते हैं. इसके बाद दूसरे दिन मकर संक्रांति का पर्व मनाया जाता है.
चंडीगढ़ में सजा लोहड़ी का बाजार: चंडीगढ़ में लोहड़ी पर्व को लेकर बाजार में मूंगफली, रेवड़ी और गजक का दुकान सज चुका है. दुकानों के अलावा सड़क किनारे रेहड़ियों पर भी मूंगफली और रेवड़ी बिक रहे हैं. इसके अलावा बड़ी-बड़ी दुकानों में गिफ्ट के तौर पर मूंगफली, गजक और रेवड़ी के सुंदर और आकर्षक गिफ्ट पैक बनाए जा रहे हैं. लोगों को ये गिफ्ट पैक अपनी ओर आकर्षित कर रहा है.
अच्छी ग्राहकी से खिले दुकानदारों के चेहरे: चंडीगढ़ के दुकानदारों का कहना है, "पिछले एक सप्ताह में गजक, मूंगफली की बिक्री में दोगुना इजाफा हुआ है. इससे दाम में भी उछाल आया है. ठंड ने लोगों को घर, दुकान और ऑफिस में कैद करके रख दिया है. वहीं, दूसरी ओर सर्दी के मौसम में मूंगफली और गजक की खरीदारी काफी अधिक हो रही है. बाजार में सर्दी के अलावा लोहड़ी पर्व के कारण इन चीजों की डिमांड बढ़ी है.चंडीगढ़ के बाजारों में सैकड़ों की संख्या में जगह-जगह मूंगफली, रेवड़ी की दुकान सज कर तैयार हो गई है." वहीं, एनआईटी पांच नंबर में मूंगफली की दुकान लगाने वाले एक दुकानदार ने बताया कि "बाजारों में सर्दी के इस मौसम के साथ लोहड़ी पर्व को देखते हुए रौनक बढ़ गई है. यहां ग्राहक जमकर खरीदारी कर रहे हैं."
चंडीगढ़ में मनाई गई "धियां दी लोहड़ी": वहीं, चंडीगढ़ में लोहड़ी से पहले "धियां दी लोहड़ी" मनाई गई. इस दौरान लड़कियों में काफी उत्साह नजर आया. उनका कहना था कि एक समय था जब लड़कों के पैदा होने पर लोहड़ी मनाई जाती थी, लेकिन समय बदल गया है.अब लड़कियों की लोहड़ी धूमधाम से मनाई जाती है. इस खास लोहड़ी पर्व को उन बच्चों के लिए मनाया जाता है, जिनकी इस बार पहली लोहड़ी है.
11 धियों को दिए शिक्षा के पैकेज: दरअसल, धियां का अर्थ होता है "बेटी". चंडीगढ़ में आयोजित "धियां दी लोहड़ी" कार्यक्रम में 11 बेटियों को शिक्षा संबंधित पैकेज दिया गया. इस बारे में नवनीत शर्मा ने बताया, "सी बिट्स-"धियां दी लोहड़ी" कार्यक्रम का उदेश्य है कि हमारा जन्म और पहचान मां की देन है. धियां जन्म लेंगी, तभी आगे वंश बढ़ेगा. एक बेटी पढ़ेगी तो उसकी कई पीढ़ियां शिक्षित हो जाएगी.इसके लिए इस शिक्षा के पैकेज प्राप्त कर बेटियां आगे पढ़ाई करेगी."
बता दें कि आज सोमवार को लोहड़ी मनाई जाएगी, जबकि मंगलवार को मकर संक्रांन्ति का पर्व है. इस कारण बाजारों में तिल के लड्डू, गजक और मुंगफली की चक्की की डिमांड काफी बढ़ गई है. लोग जमकर खरीदारी कर रहे हैं. अच्छी ग्राहकी होने से दुकानदारों के चेहरे पर खुशी साफ झलक रही है.
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