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कौन हैं फौजी रामनाथ सिकरवार, जिन पर राहुल और प्रियंका गांधी को राज बब्बर से ज्यादा भरोसा - lok sabha elections

कांग्रेस ने आगरा की फतेहपुर सीकरी लोकसभा सीट से राजनीतिक कयासों के विपरीत फौजी रामनाथ सिंह सिकरवार पर दांव खेला है. आइए जानते हैं कि सिकरवार पर भरोसा जताने की क्या वजह है?

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Mar 24, 2024, 6:39 PM IST

आगराः कांग्रेस ने एक बार फिर फौजी रामनाथ सिंह सिकरवार को हाथ का सारथी बनाया है. राहुल गांधी ने रामनाथ सिकरवार को फतेहपुर सीकरी लोकसभा सीट से प्रत्याशी बनाकर चौंका दिया है. 2022 के विधानसभा चुनाव में खैरागढ़ विधानसभा से पूर्व सैनिक रामनाथ सिकरवार ने भाजपा को कड़ी टक्कर दी थी. रामनाथ के लिए खुद प्रिंयका गांधी ने खैरागढ़ कस्बा में रोड शो किया था और भीड़ उमड़ी थी. जिसकी वजह से कांग्रेस ने पूर्व प्रदेश अध्यक्ष राज बब्बर की दावेदारी को दरकिनार कर दिया है.

आखिर भाजपा में क्यों बेचैनी बढ़ी: रामनाथ सिकरवार के मैदान में आने से भाजपा में बैचेनी है. क्योंकि, रामनाथ की ठाकुर बिरादरी में गहरी पैंठ है. इनके चुनाव मैदान में उतरने से फतेहपुर सीकरी सीट पर त्रिकोणीय मुकाबला होना तय है. क्योंकि, बसपा ने ब्राह्मण प्रत्याशी को मैदान में उतारा है तो भाजपा से वर्तमान सांसद राजकुमार चाहर को ही प्रत्याशी बनाया है.


बता दें कि कांग्रेस और सपा के गठबंधन में आगरा सुरक्षित सीट सपा के खाते में है. जबकि, फतेहपुर सीकरी लोकसभा सीट कांग्रेस के हिस्से में गई है. तभी से कांग्रेस में फतेहपुर सीकरी के लिए उम्मीदवारों की लंबी कतार लग गई थी. सबसे ज्यादा टिकट की टक्कर कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सिने स्टार राज बब्बर और पूर्व सैनिक रामनाथ सिंह सिरकवार के बीच थी. राज बब्बर ने फतेहपर सीकरी की जनता का मन भी टटोला था. क्योंकि, लगातार वह बसपा और भाजपा को तीनों चुनाव में कड़ी टक्कर दे चुके थे.


विधानसभा चुनाव में बनाया था माहौल
बता दें कि कांग्रेस ने 2022 के विधानसभा चुनाव में रामनाथ सिकरवार को खैरागढ़ विधानसभा से प्रत्याशी था. रामनाथ ने पर्चा दाखिल करने के बाद से ही विधानसभा में कांग्रेस के लिए माहौल बना दिया था. रामनाथ के लिए प्रियंका गांधी खुद रोड शो करने पहुंची थीं. प्रिंयका गांधी भी भीड़ देखकर गदगद हो गई थीं. हालांकि, रामनाथ सिकरवार चुनाव हार गए थे. लेकिन भाजपा प्रत्याशी भगवान सिंह कुशवाह को कड़ी चुनौती दी थी.

2004 में सेना से रिटायर हुए और 2005 में बने जिपं सदस्य

खेरागढ़ के गांव कठुमरी निवासी रामनाथ सिकरवार 2004 में सेना से रिटायर हुए थे. इसके बाद क्षेत्र में शिक्षा, स्वास्थ्य,छात्र,युवा, किसानों के मुद्दों को लेकर सक्रिय हो गए. अधिकारियों से मिले और आंदोलन भी किया. इसके लिए उन्होंने एक संगठन लक्ष्मण सेना के रूप में बनाया. इतना ही नहीं, रामनाथ सिंह सिकरवार ने लक्ष्मण सेना से जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ा. सन 2015 में उत्तर प्रदेश में सबसे ज्यादा वोटों से जिला पंचायत सदस्य भी बने.


आगराः कांग्रेस ने एक बार फिर फौजी रामनाथ सिंह सिकरवार को हाथ का सारथी बनाया है. राहुल गांधी ने रामनाथ सिकरवार को फतेहपुर सीकरी लोकसभा सीट से प्रत्याशी बनाकर चौंका दिया है. 2022 के विधानसभा चुनाव में खैरागढ़ विधानसभा से पूर्व सैनिक रामनाथ सिकरवार ने भाजपा को कड़ी टक्कर दी थी. रामनाथ के लिए खुद प्रिंयका गांधी ने खैरागढ़ कस्बा में रोड शो किया था और भीड़ उमड़ी थी. जिसकी वजह से कांग्रेस ने पूर्व प्रदेश अध्यक्ष राज बब्बर की दावेदारी को दरकिनार कर दिया है.

आखिर भाजपा में क्यों बेचैनी बढ़ी: रामनाथ सिकरवार के मैदान में आने से भाजपा में बैचेनी है. क्योंकि, रामनाथ की ठाकुर बिरादरी में गहरी पैंठ है. इनके चुनाव मैदान में उतरने से फतेहपुर सीकरी सीट पर त्रिकोणीय मुकाबला होना तय है. क्योंकि, बसपा ने ब्राह्मण प्रत्याशी को मैदान में उतारा है तो भाजपा से वर्तमान सांसद राजकुमार चाहर को ही प्रत्याशी बनाया है.


बता दें कि कांग्रेस और सपा के गठबंधन में आगरा सुरक्षित सीट सपा के खाते में है. जबकि, फतेहपुर सीकरी लोकसभा सीट कांग्रेस के हिस्से में गई है. तभी से कांग्रेस में फतेहपुर सीकरी के लिए उम्मीदवारों की लंबी कतार लग गई थी. सबसे ज्यादा टिकट की टक्कर कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सिने स्टार राज बब्बर और पूर्व सैनिक रामनाथ सिंह सिरकवार के बीच थी. राज बब्बर ने फतेहपर सीकरी की जनता का मन भी टटोला था. क्योंकि, लगातार वह बसपा और भाजपा को तीनों चुनाव में कड़ी टक्कर दे चुके थे.


विधानसभा चुनाव में बनाया था माहौल
बता दें कि कांग्रेस ने 2022 के विधानसभा चुनाव में रामनाथ सिकरवार को खैरागढ़ विधानसभा से प्रत्याशी था. रामनाथ ने पर्चा दाखिल करने के बाद से ही विधानसभा में कांग्रेस के लिए माहौल बना दिया था. रामनाथ के लिए प्रियंका गांधी खुद रोड शो करने पहुंची थीं. प्रिंयका गांधी भी भीड़ देखकर गदगद हो गई थीं. हालांकि, रामनाथ सिकरवार चुनाव हार गए थे. लेकिन भाजपा प्रत्याशी भगवान सिंह कुशवाह को कड़ी चुनौती दी थी.

2004 में सेना से रिटायर हुए और 2005 में बने जिपं सदस्य

खेरागढ़ के गांव कठुमरी निवासी रामनाथ सिकरवार 2004 में सेना से रिटायर हुए थे. इसके बाद क्षेत्र में शिक्षा, स्वास्थ्य,छात्र,युवा, किसानों के मुद्दों को लेकर सक्रिय हो गए. अधिकारियों से मिले और आंदोलन भी किया. इसके लिए उन्होंने एक संगठन लक्ष्मण सेना के रूप में बनाया. इतना ही नहीं, रामनाथ सिंह सिकरवार ने लक्ष्मण सेना से जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ा. सन 2015 में उत्तर प्रदेश में सबसे ज्यादा वोटों से जिला पंचायत सदस्य भी बने.


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