जोधपुर: पेपर लीक मामले में आरपीएससी सदस्यों की गिरफ्तारी के बाद से पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट लगातार सरकार पर दबाव बना रहे हैं कि सरकार आरपीएससी भंग क्यों नहीं कर रही है? इसके लिए सरकार में इच्छा शक्ति नहीं है. हाल ही में पायलट ने कहा कि सरकार युवाओं को लेकर अपनी जिम्मेदारी नहीं निभा रही है. हमें दें, तो बखूबी निभा सकते हैं. इस पर पलटवार करते हुए विधि मंत्री जोगाराम पटेल ने कहा कि जिम्मेदारी जनता देती है. अगर वो इतने जिम्मेदार होते, सामर्थ्य वाले होते, तो पूर्व सीएम को उनको 'नकारा', 'निकम्मा' नहीं कहना पड़ता.
आरपीएससी भंग के मामले पर जोगाराम पटेल ने कहा कि उन्होंने इस विषय को लेकर पदयात्रा की थी. अपनी सरकार में भी नहीं करवा पाए. पटेल ने कहा कि मुझे कोई प्रक्रिया बता दें, जिसमे संवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति को कैसे हटाया जाता है. केवल मात्र बात करने से काम नहीं होता है.
कैबिनेट मंत्री जोगाराम पटेल ने वन नेशन वन इलेक्शन पर विपक्ष पर हमला पर बोलते ही कहा कि भारत में सभी स्वायत शासन संस्थान का चुनाव एक साथ होता था. धीरे—धीरे कालांतर में अलग-अलग इलेक्शन होने लगे. अलग-अलग चुनाव में धन और समय की बर्बादी होती है. हमारा यह संकल्प है कि जितनी भी संवैधानिक संस्थान हैं, उनका चुनाव एक साथ हो ताकि 5 वर्ष तक बेरोकटोक कार्य किया जा सके.
इस बात को विपक्ष पचा नहीं पा रहा. बिना किसी आधार पर यह कह रहे हैं कि यह संभव नहीं. लेकिन विपक्ष हमारा साथ दे. हम यह संभव कर के दिखाएंगे. आने वाले 5 सालों में सभी चुनाव एक साथ होंगे. यह हमारा संकल्प है. कैबिनेट मंत्री जोगाराम पटेल ने प्रशासनिक अधिकारी प्रियंका बिश्नोई के मामले को लेकर कहा कि उच्च स्तरीय कमेटी का गठन कर दिया गया है. कमेटी अब इस पूरे मामले की जांच करेगी और अगर जांच में छोटी सी भी लापरवाही पाई जाएगी, तो सख्त से सख्त कार्रवाई होगी.