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Rajasthan: नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त को बीस साल की सजा - JAIPUR POCSO COURT

जयपुर पॉक्सो कोर्ट ने नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त को 20 साल की सजा सुनाई है.

POCSO COURT SENTENCED,  ACCUSED WHO RAPED A MINOR
नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त को बीस साल की सजा. (ETV Bharat Jaipur)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Oct 18, 2024, 8:14 PM IST

जयपुरः जिले की पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत ने नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त लीलाराम को बीस साल की सजा सुनाई है. इसके साथ ही अदालत ने अभियुक्त पर एक लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया है. पीठासीन अधिकारी केसी अटवासिया ने अपने आदेश में कहा कि पीड़िता के मन में इस अपराध का प्रभाव जीवन भर रहेगा, ऐसे में अभियुक्त के प्रति नरमी का रुख नहीं अपनाया जा सकता.

अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक विजया पारीक ने अदालत को बताया कि घटना को लेकर पीड़िता ने 30 जुलाई, 2019 को सरुंड थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी. रिपोर्ट में कहा कि वह लीलाराम की प्राइवेट बस से कॉलेज जाती है. इसके चलते उसकी लीलाराम से बात होती थी. पांच जुलाई, 2018 को कॉलेज खत्म होने पर वह बस में चढ़ी तो लीलाराम ने गेट बंद कर लिया और उसके साथ दुष्कर्म करके वीडियो बना लिया. इस वीडियो को वायरल करने की धमकी देकर अभियुक्त ने उसके साथ कई बार दुष्कर्म किया.

पढ़ेंः कोर्ट ने नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले अभियुक्तों को सुनाई बीस साल की सजा

वहीं, दस मार्च, 2019 को अभियुक्त उसे कॉलेज के बाहर से गाड़ी में बैठाकर ले गया. इस दौरान अभियुक्त की बहन और जीजा भी बस में मौजूद थे. अभियुक्त की बहन की ओर से पिलाए पानी से वह अर्द्ध बेहोशी में चली गई. इसके कुछ देर बाद वह उसे बस से उतार कर चले गए. रिपोर्ट में कहा गया कि 17 जून, 2019 को उसके पिता के पास थाने से फोन गया कि अभियुक्त ने थाने में शिकायती पत्र दिया है और उसमें शादी का प्रमाण पत्र भी है. इस पर उसने अपने पिता को घटना की जानकारी दी. रिपोर्ट पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने अभियुक्त को गिरफ्तार कर अदालत में आरोप पत्र पेश किया.

जयपुरः जिले की पॉक्सो मामलों की विशेष अदालत ने नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने वाले अभियुक्त लीलाराम को बीस साल की सजा सुनाई है. इसके साथ ही अदालत ने अभियुक्त पर एक लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया है. पीठासीन अधिकारी केसी अटवासिया ने अपने आदेश में कहा कि पीड़िता के मन में इस अपराध का प्रभाव जीवन भर रहेगा, ऐसे में अभियुक्त के प्रति नरमी का रुख नहीं अपनाया जा सकता.

अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक विजया पारीक ने अदालत को बताया कि घटना को लेकर पीड़िता ने 30 जुलाई, 2019 को सरुंड थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी. रिपोर्ट में कहा कि वह लीलाराम की प्राइवेट बस से कॉलेज जाती है. इसके चलते उसकी लीलाराम से बात होती थी. पांच जुलाई, 2018 को कॉलेज खत्म होने पर वह बस में चढ़ी तो लीलाराम ने गेट बंद कर लिया और उसके साथ दुष्कर्म करके वीडियो बना लिया. इस वीडियो को वायरल करने की धमकी देकर अभियुक्त ने उसके साथ कई बार दुष्कर्म किया.

पढ़ेंः कोर्ट ने नाबालिग से दुष्कर्म करने वाले अभियुक्तों को सुनाई बीस साल की सजा

वहीं, दस मार्च, 2019 को अभियुक्त उसे कॉलेज के बाहर से गाड़ी में बैठाकर ले गया. इस दौरान अभियुक्त की बहन और जीजा भी बस में मौजूद थे. अभियुक्त की बहन की ओर से पिलाए पानी से वह अर्द्ध बेहोशी में चली गई. इसके कुछ देर बाद वह उसे बस से उतार कर चले गए. रिपोर्ट में कहा गया कि 17 जून, 2019 को उसके पिता के पास थाने से फोन गया कि अभियुक्त ने थाने में शिकायती पत्र दिया है और उसमें शादी का प्रमाण पत्र भी है. इस पर उसने अपने पिता को घटना की जानकारी दी. रिपोर्ट पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने अभियुक्त को गिरफ्तार कर अदालत में आरोप पत्र पेश किया.

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