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पुरानी प्राइवेट गाड़ी स्क्रैप कराने पर मिलेगा ये बड़ा फायदा, हिमाचल में अब तक इतनी गाड़ियां की हुई स्क्रैपिंग

हिमाचल में पुरानी प्राइवेट गाड़ी स्क्रैप कराने पर सरकार बड़ा लाभ दे रही है. अब तक 400 निजी गाड़ियों की स्क्रैप करवाई गई हैं.

Registered Vehicle Scrapping Facility
पंजीकृत वाहन स्क्रैपिंग सुविधा (File Photo)
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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : 3 hours ago

शिमला: देश में सड़कों पर बढ़ रहे डीजल और पेट्रोल की गाड़ियों की संख्या से पर्यावरण दूषित हो रहा है. ऐसे में पर्यावरण संरक्षण, सड़क सुरक्षा और वाहन उद्योग के पुनर्विकास के लिए सड़कों पर पुराने और अनुपयोगी वाहनों को सड़क पर से हटाने के लिए पंजीकृत वाहन स्क्रैपिंग सुविधा लागू की गई है. इसके तहत छोटे पहाड़ी राज्य हिमाचल में भी 15 साल पुराने डीजल और पेट्रोल की गाड़ियों को स्क्रैप किया जा रहा है. हालांकि ये पॉलिसी केवल सरकारी गाड़ियों पर ही लागू है, लेकिन इसके बाद भी अगर कोई स्वेच्छा से अपनी 15 साल पुरानी निजी गाड़ी को स्क्रैप करना चाहता है तो उसे नई गाड़ी खरीदने पर टैक्स में छूट मिलेगी. यही वजह है कि अभी तक प्रदेश में सरकारी गाड़ियों के मुकाबले में निजी गाड़ियों की स्क्रैपिंग ज्यादा हुई है. निजी गाड़ी मालिकों ने स्वेच्छा से पुरानी गाड़ियों की स्क्रैपिंग कर सरकार की ओर से पुरानी गाड़ियों को स्क्रैप करने पर मिलने वाली सुविधा का लाभ उठाया है.

पुरानी गाड़ी स्क्रैप करने पर मिलते हैं ये लाभ

हिमाचल में अभी तक पुरानी निजी गाड़ियों की स्क्रैपिंग जरूरी नहीं है, लेकिन इसके बाद भी अगर व्यक्ति अपनी 15 साल पुरानी गाड़ियों को स्वेच्छा से स्क्रैप करना चाहता है, तो वो सरकार की और से दी जा रही सुविधाओं का लाभ उठा सकता है. इसके लिए उसे पोर्टल पर उपलब्ध MSTC की साइट पर जाकर आवेदन करना होगा. इस दौरान बाहरी राज्यों में स्थापित नजदीक के स्क्रैप केंद्र वाहन को लेकर जरूरी जानकारी देनी पड़ेगी. वहीं, आवेदन के समय पुरानी गाड़ी की कीमत भरनी होगी. ऐसे में नजदीकी स्क्रैप सेंटर से गाड़ी के निरीक्षण के लिए टीम पहुंचेगी. जो गाड़ी को खुद ही स्क्रैप केंद्र तक ले जाएगी. जिस पर गाड़ी के स्क्रैप होने पर मालिक को स्क्रैप केंद्र की तरफ से सर्टिफिकेट ऑफ डिपॉजिट (COD) जारी होगा. इस तरह नई गाड़ी खरीदते वक्त ऐसे व्यक्ति को प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना होगा. जिस पर हिमाचल प्रदेश सरकार की ओर से 9 फरवरी 2024 को मोटर वाहन कर अधिसूचना के मुताबिक (टोकन टैक्स/रोड टैक्स और स्पेशल रोड टैक्स) में गैर-परिवहन वाहनों पर 25 फीसदी और परिवहन वाहनों पर 15 फीसदी एकमुश्त छूट दी जाएगी.

400 लोगों ने करवाई निजी गाड़ियां स्क्रैप

भारत सरकार के सड़क, परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने जीएसआर 29 (ई) के तहत 16 जनवरी 2023 को पंजीकृत वाहन स्क्रैपिंग सुविधा (आरवीएसएफ) के नियमों को लेकर संशोधन की अधिसूचना जारी हुई थी. इस अधिसूचना के मुताबिक 31 मार्च 2023 तक 15 साल पूरे होने पर सरकारी गाड़ियों का पंजीकरण प्रमाणपत्र रद्द किया गया है. इसी तरह से सरकारी गाड़ियों के रजिस्ट्रेशन के 15 साल पूरे होते ही अब खुद ही पंजीकरण प्रमाणपत्र रद्द समझा जाएगा. ये नियम 1 अप्रैल 2023 से लागू हो चुके हैं. इसके तहत प्रदेश में 15 साल पुरानी कुल 763 गाड़ियां स्क्रैप की जा चुकी हैं. परिवहन विभाग के मुताबिक इसमें 363 सरकारी गाड़ियों सहित 400 निजी गाड़ियों को पड़ोसी राज्य में स्थापित (आरवीएसएफ) केंद्र के जरिए स्क्रैप किया जा चुका है. प्रदेश में 31 मार्च 2023 तक 15 साल पूरा कर चुकी सरकारी गाड़ियों की संख्या 7,436 थी, जो 8 जुलाई 2024 को बढ़कर 7,554 तक पहुंच चुकी थी. वहीं, प्रदेश में 31 जनवरी 2025 तक 15 साल से अधिक पुरानी 1477 सरकारी गाड़ियों को पंजीकृत वाहन स्क्रैपिंग सुविधा के जरिए स्क्रैप करने का लक्ष्य रखा गया है.

परिवहन विभाग के निदेशक डीसी नेगी का कहना है, "अगर कोई प्राइवेट गाड़ी मालिक स्वेच्छा से अपने पुराने वाहनों को स्क्रैप करना चाहता हैं तो सरकार की तरफ से उसे टेक्स में छूट दी जाती है. जिसमें गैर-परिवहन वाहनों पर 25 फीसदी और परिवहन वाहनों पर 15 फीसदी एकमुश्त छूट मिलती है."

ये भी पढ़ें: हिमाचल में मिलेगी 15 साल पुराने वाहनों को स्क्रैप करने की सुविधा, परिवहन विभाग ने दो कंपनियों को दी अप्रूवल

ये भी पढ़ें: हिमाचल का लाल, सेवाएं बेमिसाल, एचपीपीएससी प्रमुख कैप्टन रामेश्वर ठाकुर की सेवाओं को सेनाध्यक्ष जनरल उपेंद्र का सलाम

शिमला: देश में सड़कों पर बढ़ रहे डीजल और पेट्रोल की गाड़ियों की संख्या से पर्यावरण दूषित हो रहा है. ऐसे में पर्यावरण संरक्षण, सड़क सुरक्षा और वाहन उद्योग के पुनर्विकास के लिए सड़कों पर पुराने और अनुपयोगी वाहनों को सड़क पर से हटाने के लिए पंजीकृत वाहन स्क्रैपिंग सुविधा लागू की गई है. इसके तहत छोटे पहाड़ी राज्य हिमाचल में भी 15 साल पुराने डीजल और पेट्रोल की गाड़ियों को स्क्रैप किया जा रहा है. हालांकि ये पॉलिसी केवल सरकारी गाड़ियों पर ही लागू है, लेकिन इसके बाद भी अगर कोई स्वेच्छा से अपनी 15 साल पुरानी निजी गाड़ी को स्क्रैप करना चाहता है तो उसे नई गाड़ी खरीदने पर टैक्स में छूट मिलेगी. यही वजह है कि अभी तक प्रदेश में सरकारी गाड़ियों के मुकाबले में निजी गाड़ियों की स्क्रैपिंग ज्यादा हुई है. निजी गाड़ी मालिकों ने स्वेच्छा से पुरानी गाड़ियों की स्क्रैपिंग कर सरकार की ओर से पुरानी गाड़ियों को स्क्रैप करने पर मिलने वाली सुविधा का लाभ उठाया है.

पुरानी गाड़ी स्क्रैप करने पर मिलते हैं ये लाभ

हिमाचल में अभी तक पुरानी निजी गाड़ियों की स्क्रैपिंग जरूरी नहीं है, लेकिन इसके बाद भी अगर व्यक्ति अपनी 15 साल पुरानी गाड़ियों को स्वेच्छा से स्क्रैप करना चाहता है, तो वो सरकार की और से दी जा रही सुविधाओं का लाभ उठा सकता है. इसके लिए उसे पोर्टल पर उपलब्ध MSTC की साइट पर जाकर आवेदन करना होगा. इस दौरान बाहरी राज्यों में स्थापित नजदीक के स्क्रैप केंद्र वाहन को लेकर जरूरी जानकारी देनी पड़ेगी. वहीं, आवेदन के समय पुरानी गाड़ी की कीमत भरनी होगी. ऐसे में नजदीकी स्क्रैप सेंटर से गाड़ी के निरीक्षण के लिए टीम पहुंचेगी. जो गाड़ी को खुद ही स्क्रैप केंद्र तक ले जाएगी. जिस पर गाड़ी के स्क्रैप होने पर मालिक को स्क्रैप केंद्र की तरफ से सर्टिफिकेट ऑफ डिपॉजिट (COD) जारी होगा. इस तरह नई गाड़ी खरीदते वक्त ऐसे व्यक्ति को प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना होगा. जिस पर हिमाचल प्रदेश सरकार की ओर से 9 फरवरी 2024 को मोटर वाहन कर अधिसूचना के मुताबिक (टोकन टैक्स/रोड टैक्स और स्पेशल रोड टैक्स) में गैर-परिवहन वाहनों पर 25 फीसदी और परिवहन वाहनों पर 15 फीसदी एकमुश्त छूट दी जाएगी.

400 लोगों ने करवाई निजी गाड़ियां स्क्रैप

भारत सरकार के सड़क, परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने जीएसआर 29 (ई) के तहत 16 जनवरी 2023 को पंजीकृत वाहन स्क्रैपिंग सुविधा (आरवीएसएफ) के नियमों को लेकर संशोधन की अधिसूचना जारी हुई थी. इस अधिसूचना के मुताबिक 31 मार्च 2023 तक 15 साल पूरे होने पर सरकारी गाड़ियों का पंजीकरण प्रमाणपत्र रद्द किया गया है. इसी तरह से सरकारी गाड़ियों के रजिस्ट्रेशन के 15 साल पूरे होते ही अब खुद ही पंजीकरण प्रमाणपत्र रद्द समझा जाएगा. ये नियम 1 अप्रैल 2023 से लागू हो चुके हैं. इसके तहत प्रदेश में 15 साल पुरानी कुल 763 गाड़ियां स्क्रैप की जा चुकी हैं. परिवहन विभाग के मुताबिक इसमें 363 सरकारी गाड़ियों सहित 400 निजी गाड़ियों को पड़ोसी राज्य में स्थापित (आरवीएसएफ) केंद्र के जरिए स्क्रैप किया जा चुका है. प्रदेश में 31 मार्च 2023 तक 15 साल पूरा कर चुकी सरकारी गाड़ियों की संख्या 7,436 थी, जो 8 जुलाई 2024 को बढ़कर 7,554 तक पहुंच चुकी थी. वहीं, प्रदेश में 31 जनवरी 2025 तक 15 साल से अधिक पुरानी 1477 सरकारी गाड़ियों को पंजीकृत वाहन स्क्रैपिंग सुविधा के जरिए स्क्रैप करने का लक्ष्य रखा गया है.

परिवहन विभाग के निदेशक डीसी नेगी का कहना है, "अगर कोई प्राइवेट गाड़ी मालिक स्वेच्छा से अपने पुराने वाहनों को स्क्रैप करना चाहता हैं तो सरकार की तरफ से उसे टेक्स में छूट दी जाती है. जिसमें गैर-परिवहन वाहनों पर 25 फीसदी और परिवहन वाहनों पर 15 फीसदी एकमुश्त छूट मिलती है."

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