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स्नो लेपर्ड मिशन पर हरियाणा की छोरी रीना भट्टी, 7 हजार से ऊंची बर्फीली चोटी लेनिन पर तिरंगा फहराने वाली बनी पहली भारतीय - Mountaineer Reena Bhatti - MOUNTAINEER REENA BHATTI

Mountaineer Reena Bhatti: हरियाणा के हिसार की पर्वतारोही रीना भट्टी ने किर्गिज़स्तान की बर्फीली चोटी लेनिन पर भारत देश का तिरंगा लहराया है. हिमपात के दौरान चोटी पर चढ़ने वाली वह भारत देश की पहली महिला है.चोटी फतेह करने के बाद वह घर लौट आई हैं. परिजनों में खुशी का माहौल है. आपको बता दे कि रीना भट्टी इससे पहले कई चोटियों को फतेह कर चुकी है.

Mountaineer Reena Bhatti
Mountaineer Reena Bhatti (Etv Bharat)
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By ETV Bharat Haryana Team

Published : Aug 5, 2024, 11:41 AM IST

Updated : Aug 5, 2024, 2:47 PM IST

Mountaineer Reena Bhatti (Etv Bharat)

हिसार: हरियाणा की छोरी ने बर्फीली चोटियों पर झंडा गाड़ दिया है. हरियाणा की छोरियां छोरों से कम नहीं है. हिसार की रहने वाली पर्वतारोही रीना भट्टी ने किर्गिज़स्तान की बर्फीली चोटी लेनिन पर भारत देश का तिरंगा लहराया है. पर्वतारोही रीना भट्टी ने हरियाणा का नाम रोशन किया है. रीना मेहनत और लगन के साथ संघर्ष कर खराब मौसम में किर्गिज़स्तान की चोटी को फतह किया है और 7 हजार 134 मीटर ऊंचाई पर देश का तिरंगा फहराने वाली पहली भारतीय महिला बन गई है. हरियाणा ही नहीं पूरे देश के लिए गर्व की बात है.

किर्गिज़स्तान में लेनिन चोटी हरियाणा की छोरी का कमाल: पर्वतारोही रीना भट्टी ने किर्गिज़स्तान में लेनिन चोटी पर चढ़ाई के लिए 14 जुलाई को भारत से किर्गिज़स्तान पहुंचे थे और 17 जुलाई को बेस कैंप में रुक गए. उसके साथ टीम में 8 और सदस्य भी थे. रीना भट्टी ने बताया कि 19 जुलाई को किर्गिज़स्तान की चोटी पर चढ़ना शुरू किया था. 8 सदस्यों में 2 पर्वतारोही को अनुभव था. टेंट व खाने को लेकर साथ-साथ चलना था. टीम के अन्य सदस्यों को साथ लेकर चढ़ना था. ऐसे में बहुत मुश्किलों का भी सामना करना पड़ा था.

बर्फीली चोटियों पर तिरंगा फहराने वाली पहली भारतीय महिला बनी: रीना भट्टी ने बताया कि चढ़ाई के समय मौसम खराब था. हिमपात भी लगातार हो रहा था. 10 से 12 किलोमीटर प्रति घंटा की हवाएं चल रही थी. ठंडी हवाओं में आगे बढ़ने में काफी समय लग जाता है. रीना ने बताया कि 26 जुलाई को हमने अपनी मंजिल को फतेह कर लिया और वहां तिरंगा फहरा. हिमपात के दौरान चोटी पर चढ़ने वाली वह भारत देश की पहली महिला है. चोटी फतेह करने के बाद वह घर लौट आई हैं. परिजनों में खुशी का माहौल है. आपको बता दे कि रीना भट्टी इससे पहले कई चोटियों को फतेह कर चुकी है.

क्या है स्नो लेपेर्ड मिशन: स्नो लेपेर्ड की उपाधि भूतपूर्व सोवियत संघ द्वारा शुरू की गई थी. स्नो लेपर्ड की उपाधि सोवियत संघ के विभिन्न देशों में 5 चोटियों पर चढ़ने के लिए दी जाती है.

ये भी पढ़ें: रिपब्लिक डे पर विक्की-कैटरीना ने फहराया तिरंगा, देशभक्ति में डूबे दिखे ये सेलेब्स

ये भी पढ़ें: हिसार के प्रोफेसर ने बढ़ाया देश का मान, यूरोप की सबसे ऊंची चोटी पर शान से लहराया तिरंगा - Indian Flag on Mount Elbrus

Mountaineer Reena Bhatti (Etv Bharat)

हिसार: हरियाणा की छोरी ने बर्फीली चोटियों पर झंडा गाड़ दिया है. हरियाणा की छोरियां छोरों से कम नहीं है. हिसार की रहने वाली पर्वतारोही रीना भट्टी ने किर्गिज़स्तान की बर्फीली चोटी लेनिन पर भारत देश का तिरंगा लहराया है. पर्वतारोही रीना भट्टी ने हरियाणा का नाम रोशन किया है. रीना मेहनत और लगन के साथ संघर्ष कर खराब मौसम में किर्गिज़स्तान की चोटी को फतह किया है और 7 हजार 134 मीटर ऊंचाई पर देश का तिरंगा फहराने वाली पहली भारतीय महिला बन गई है. हरियाणा ही नहीं पूरे देश के लिए गर्व की बात है.

किर्गिज़स्तान में लेनिन चोटी हरियाणा की छोरी का कमाल: पर्वतारोही रीना भट्टी ने किर्गिज़स्तान में लेनिन चोटी पर चढ़ाई के लिए 14 जुलाई को भारत से किर्गिज़स्तान पहुंचे थे और 17 जुलाई को बेस कैंप में रुक गए. उसके साथ टीम में 8 और सदस्य भी थे. रीना भट्टी ने बताया कि 19 जुलाई को किर्गिज़स्तान की चोटी पर चढ़ना शुरू किया था. 8 सदस्यों में 2 पर्वतारोही को अनुभव था. टेंट व खाने को लेकर साथ-साथ चलना था. टीम के अन्य सदस्यों को साथ लेकर चढ़ना था. ऐसे में बहुत मुश्किलों का भी सामना करना पड़ा था.

बर्फीली चोटियों पर तिरंगा फहराने वाली पहली भारतीय महिला बनी: रीना भट्टी ने बताया कि चढ़ाई के समय मौसम खराब था. हिमपात भी लगातार हो रहा था. 10 से 12 किलोमीटर प्रति घंटा की हवाएं चल रही थी. ठंडी हवाओं में आगे बढ़ने में काफी समय लग जाता है. रीना ने बताया कि 26 जुलाई को हमने अपनी मंजिल को फतेह कर लिया और वहां तिरंगा फहरा. हिमपात के दौरान चोटी पर चढ़ने वाली वह भारत देश की पहली महिला है. चोटी फतेह करने के बाद वह घर लौट आई हैं. परिजनों में खुशी का माहौल है. आपको बता दे कि रीना भट्टी इससे पहले कई चोटियों को फतेह कर चुकी है.

क्या है स्नो लेपेर्ड मिशन: स्नो लेपेर्ड की उपाधि भूतपूर्व सोवियत संघ द्वारा शुरू की गई थी. स्नो लेपर्ड की उपाधि सोवियत संघ के विभिन्न देशों में 5 चोटियों पर चढ़ने के लिए दी जाती है.

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Last Updated : Aug 5, 2024, 2:47 PM IST
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