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आईएमपीसीएल फैक्ट्री के प्रदर्शनकारी कर्मचारियों को मिला हरीश रावत का साथ, हरदा ने रखा मौन व्रत - HARISH RAWAT SILENT FAST

आईएमपीसीएल फैक्ट्री के निजीकरण के विरोध में कर्मचारी कर रहे हैं प्रदर्शन, हरीश रावत ने सरकार से फैसला बदलने की मांग की

HARISH RAWAT SILENT FAST
रामनगर में हरीश रावत का मौन व्रत (PHOTO- ETV BHARAT)
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Nov 21, 2024, 2:05 PM IST

रामनगर: अल्मोड़ा जनपद के मोहान क्षेत्र में भारत सरकार के आयुष मंत्रालय की आईएमपीसीएल के नाम से बरसों पुरानी एक दवा फैक्ट्री स्थापित है. इस फैक्ट्री में बनने वाली दवा देश और विदेश तक जाती है. यह फैक्ट्री हर वर्ष सरकार को करोड़ों रुपए का राजस्व भी देती है. हजारों कर्मचारी भी इससे जुड़े हुए हैं. सरकार द्वारा इस फैक्ट्री के निजीकरण करने की तैयारी की जा रही है.

आईएमपीसीएल फैक्ट्री कर्मचारियों को मिला हरीश रावत का साथ: इसके खिलाफ यहां काम करने वाले हजारों कर्मचारी लंबे समय से आंदोलन कर रहे हैं. कर्मचारियों का आरोप है कि उनकी मांगों को सरकार अनदेखा कर रही है. कर्मचारियों के आंदोलन को समर्थन देने फैक्ट्री के बाहर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत पहुंचे. उन्होंने करीब डेढ़ घंटे का मौन उपवास रखा. इसके बाद कर्मचारियों को संबोधित किया. हरीश रावत ने केंद्र व राज्य सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि जो फैक्ट्री करोड़ों का लाभ सरकार को दे रही है, आज फिर उसे बंद करने की क्या आवश्यकता है.

हरीश रावत ने कर्मचारियों के समर्थन में मौन उपवास रखा: हरीश रावत ने कहा कि एक तरफ सरकार बेरोजगारी दूर करने की बात करती है. दूसरी ओर इस फैक्ट्री में काम करने वाले हजारों कर्मचारियों को बेरोजगार करने पर तुली हुई है. उन्होंने कहा कि इस फैक्ट्री का निजीकरण किसी भी कीमत पर नहीं होने दिया जाएगा. साथ ही उन्होंने कहा कि वह कर्मचारियों के साथ उनकी मांग को लेकर उनके साथ खड़े हैं. हरीश रावत ने कहा कि सरकार को जगाने के लिए अब ढोल बजाओ अभियान शुरू किया जाएगा. इसके तहत प्रदेश के मुख्यमंत्री, विधायकों, सांसदों के आवास के आगे ढोल बजाने के साथ ही दिल्ली में इस क्षेत्रों के सांसदों के आवासों के आगे भी यह कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा.

सरकार से फैसला बदलने की मांग: हरीश रावत ने कर्मचारियों के हितों को ध्यान में रखते हुए सरकार से अपना फैसला वापस लेने की मांग की है. उन्होंने कहा चाहे भाजपा की सरकार हो यह कांग्रेस की सरकार हो, हमेशा सरकारों को अगर डर है तो जनता का डर है. जनता के आगे हमेशा सरकारों को झुकने के साथ ही जनहित को ध्यान में रखते हुए फैसलों को भी बदलना पड़ता है.

केदारनाथ उपचुनाव जीतने का भरोसा: वहीं केदारनाथ उपचुनाव पर पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि कांग्रेस यह चुनाव निश्चित तौर पर जीतेगी. उन्होंने कहा कि जिस प्रकार केदारनाथ में शराब और नोटों का जिहाद चला, यह प्रदेश के हित में ठीक नहीं है. उन्होंने कहा कि चुनाव में भाजपा के लोगों की शराब और नकदी पकड़ी गई है. उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के साथ ही महाराष्ट्र, झारखंड और उत्तर प्रदेश में भी कांग्रेस पूर्ण बहुमत के साथ जीतेगी.
ये भी पढ़ें: केदारनाथ उपचुनाव: चुनाव प्रचार के आखिरी दिन हरीश रावत ने बीजेपी पर साधा निशाना, सीएम धामी को भी जमकर घेरा

रामनगर: अल्मोड़ा जनपद के मोहान क्षेत्र में भारत सरकार के आयुष मंत्रालय की आईएमपीसीएल के नाम से बरसों पुरानी एक दवा फैक्ट्री स्थापित है. इस फैक्ट्री में बनने वाली दवा देश और विदेश तक जाती है. यह फैक्ट्री हर वर्ष सरकार को करोड़ों रुपए का राजस्व भी देती है. हजारों कर्मचारी भी इससे जुड़े हुए हैं. सरकार द्वारा इस फैक्ट्री के निजीकरण करने की तैयारी की जा रही है.

आईएमपीसीएल फैक्ट्री कर्मचारियों को मिला हरीश रावत का साथ: इसके खिलाफ यहां काम करने वाले हजारों कर्मचारी लंबे समय से आंदोलन कर रहे हैं. कर्मचारियों का आरोप है कि उनकी मांगों को सरकार अनदेखा कर रही है. कर्मचारियों के आंदोलन को समर्थन देने फैक्ट्री के बाहर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत पहुंचे. उन्होंने करीब डेढ़ घंटे का मौन उपवास रखा. इसके बाद कर्मचारियों को संबोधित किया. हरीश रावत ने केंद्र व राज्य सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि जो फैक्ट्री करोड़ों का लाभ सरकार को दे रही है, आज फिर उसे बंद करने की क्या आवश्यकता है.

हरीश रावत ने कर्मचारियों के समर्थन में मौन उपवास रखा: हरीश रावत ने कहा कि एक तरफ सरकार बेरोजगारी दूर करने की बात करती है. दूसरी ओर इस फैक्ट्री में काम करने वाले हजारों कर्मचारियों को बेरोजगार करने पर तुली हुई है. उन्होंने कहा कि इस फैक्ट्री का निजीकरण किसी भी कीमत पर नहीं होने दिया जाएगा. साथ ही उन्होंने कहा कि वह कर्मचारियों के साथ उनकी मांग को लेकर उनके साथ खड़े हैं. हरीश रावत ने कहा कि सरकार को जगाने के लिए अब ढोल बजाओ अभियान शुरू किया जाएगा. इसके तहत प्रदेश के मुख्यमंत्री, विधायकों, सांसदों के आवास के आगे ढोल बजाने के साथ ही दिल्ली में इस क्षेत्रों के सांसदों के आवासों के आगे भी यह कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा.

सरकार से फैसला बदलने की मांग: हरीश रावत ने कर्मचारियों के हितों को ध्यान में रखते हुए सरकार से अपना फैसला वापस लेने की मांग की है. उन्होंने कहा चाहे भाजपा की सरकार हो यह कांग्रेस की सरकार हो, हमेशा सरकारों को अगर डर है तो जनता का डर है. जनता के आगे हमेशा सरकारों को झुकने के साथ ही जनहित को ध्यान में रखते हुए फैसलों को भी बदलना पड़ता है.

केदारनाथ उपचुनाव जीतने का भरोसा: वहीं केदारनाथ उपचुनाव पर पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि कांग्रेस यह चुनाव निश्चित तौर पर जीतेगी. उन्होंने कहा कि जिस प्रकार केदारनाथ में शराब और नोटों का जिहाद चला, यह प्रदेश के हित में ठीक नहीं है. उन्होंने कहा कि चुनाव में भाजपा के लोगों की शराब और नकदी पकड़ी गई है. उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के साथ ही महाराष्ट्र, झारखंड और उत्तर प्रदेश में भी कांग्रेस पूर्ण बहुमत के साथ जीतेगी.
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