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कभी पांडवों ने की थी महादेव के इस स्वरूप की पूजा, जानिए चांदनी चौक स्थित वनखंडी महादेव मंदिर की महिमा - DELHI Bankhandi Mahadev temple - DELHI BANKHANDI MAHADEV TEMPLE

DELHI BANKHANDI MAHADEV TEMPLE: पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन के पास प्राचिन मंदिर है वनखंडी महादेव. भगवान शिव के इस मंदिर की बहुत मान्यता है. कहा जाता है कि यहां आने वाले हर श्रद्धालु को मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है. यही कारण है कि सावन में यहां न केवल चांदनी चौक बल्कि दिल्ली से बाहर के लोग भी दर्शन के लिए आते हैं.

चांदनी चौक स्थित बनखंडी महादेव मंदिर
चांदनी चौक स्थित बनखंडी महादेव मंदिर (ETV BHARAT)
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Jul 27, 2024, 6:01 AM IST

Updated : Jul 27, 2024, 1:38 PM IST

नई दिल्ली: कहा जाता है सावन का महीना भगवान शिव का सबसे प्रिय महीना है. इसलिए भगवान भोले के भक्तों के लिए सावन बेहद खास महीना होता है. राजधानी दिल्ली में शिवजी के कई प्राचीन और विख्यात मंदिर हैं. मगर, पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन के ठीक सामने स्थित वनखंडी महादेव मंदिर शिवभक्तों की आस्था का प्रमुख केंद्र है. यह मंदिर दिल्ली के प्रमुख शिवालयों में से एक है. यहां पुरानी दिल्ली के भक्त तो आते ही हैं, साथ ही पुरानी दिल्ली के इलाके से निकलकर बाहर रहने वाले लोग भी पूजा अर्चना करने नियमित तौर पर आते हैं. सावन के अलावा अन्य दिनों में भी यहां भक्तों का तांता लगा रहता है.

वनखंडी मंदिर का इतिहास और महत्ताः प्राचीन वनखंडी महादेव मंदिर के पुजारी लवपुरी ने 'ETV भारत' को बताया कि मंदिर में मौजूद शिवलिंग स्वयंभू हैं. मान्यता है कि वनखंडी महादेव मंदिर में मौजूद शिवलिंग की पूजा वनवास के दौरान पांडवों ने भी की थी. पहले यहां जंगल हुआ करता था. इसलिए इसका नाम वनखंडी महादेव मंदिर पड़ा.

मंदिर की मान्यता है कि जो भी सच्ची आस्था से भोलेनाथ पर जलार्पण करता है, उसकी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. स्वयंभू शिवलिंग के दर्शनकर भक्तजन मनवांछित फल प्राप्त करते हैं. भक्तों को कोई असुविधा न हो इसके लिए विशेष इंतजाम हैं. महिलाओं और पुरुषों की अलग-अलग कतारें लगती हैं. सावन में विश्व की शांति के लिए प्रभु से विशेष अरदास की जाएगी.

सावन में कांवड़ियों के लिए विशेष प्रबंधः आमतौर पर यहां पूरे साल श्रद्धालुओं की भीड़ लगी रहती है. सावन में भक्तों की संख्या बढ़ जाती है. सावन में जलाभिषेक के लिए आने वाले भक्तों को किसी तरह की दिक्कत न हो, इसके खास इंतजाम किए गए हैं. मंदिर को इलेक्ट्रॉनिक लाइटों से सजाया जा चुका है. साथ ही मंदिर के आसपास सफाई व्यवस्था चाक चौबंद रहे, इसका भी पूरा ख्याल रखा जा रहा है.

प्राचीन वनखंडी महादेव मंदिर की देखरेख महंत भरतपुरी महाराज कर रहे हैं. वो कांवड़ियों के लिए विशेष सुविधा प्रबंध करवा रहे हैं. जैसे विश्राम की व्यवस्था, नहाने की व्यवस्था और मंदिर में प्रतिदिन तीन बार भंडारा होता है. सावन के महीने मंदिर में पूरे दिन भजन कीर्तन होते हैं.

ये भी पढ़ें : दूधेश्वर नाथ मठ मंदिर में सावन में उमड़ता है आस्था का सैलाब, जानिए क्या है मान्यता -

मंदिर पहुंचने का आसान माध्यमः अगर इस बार सावन में आप भी प्राचीन वनखंडी महादेव मंदिर में स्वयंभू शिवलिंग के दर्शन, पूजा या जलाभिषेक करना चाहते हैं तो रेल, बस और मेट्रो का इस्तेमाल करके आसानी से पहुंच सकते हैं. यह मंदिर पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन के सामने है. साथ ही नजदीकी मेट्रो स्टेशन चांदनी चौक है और बस स्टॉप पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन है.

ये भी पढ़ें : सावन के महीने में कांवड़ और गंगाजल का है विशेष महत्व, जानिए क्या कहते हैं पुजारी

नई दिल्ली: कहा जाता है सावन का महीना भगवान शिव का सबसे प्रिय महीना है. इसलिए भगवान भोले के भक्तों के लिए सावन बेहद खास महीना होता है. राजधानी दिल्ली में शिवजी के कई प्राचीन और विख्यात मंदिर हैं. मगर, पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन के ठीक सामने स्थित वनखंडी महादेव मंदिर शिवभक्तों की आस्था का प्रमुख केंद्र है. यह मंदिर दिल्ली के प्रमुख शिवालयों में से एक है. यहां पुरानी दिल्ली के भक्त तो आते ही हैं, साथ ही पुरानी दिल्ली के इलाके से निकलकर बाहर रहने वाले लोग भी पूजा अर्चना करने नियमित तौर पर आते हैं. सावन के अलावा अन्य दिनों में भी यहां भक्तों का तांता लगा रहता है.

वनखंडी मंदिर का इतिहास और महत्ताः प्राचीन वनखंडी महादेव मंदिर के पुजारी लवपुरी ने 'ETV भारत' को बताया कि मंदिर में मौजूद शिवलिंग स्वयंभू हैं. मान्यता है कि वनखंडी महादेव मंदिर में मौजूद शिवलिंग की पूजा वनवास के दौरान पांडवों ने भी की थी. पहले यहां जंगल हुआ करता था. इसलिए इसका नाम वनखंडी महादेव मंदिर पड़ा.

मंदिर की मान्यता है कि जो भी सच्ची आस्था से भोलेनाथ पर जलार्पण करता है, उसकी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं. स्वयंभू शिवलिंग के दर्शनकर भक्तजन मनवांछित फल प्राप्त करते हैं. भक्तों को कोई असुविधा न हो इसके लिए विशेष इंतजाम हैं. महिलाओं और पुरुषों की अलग-अलग कतारें लगती हैं. सावन में विश्व की शांति के लिए प्रभु से विशेष अरदास की जाएगी.

सावन में कांवड़ियों के लिए विशेष प्रबंधः आमतौर पर यहां पूरे साल श्रद्धालुओं की भीड़ लगी रहती है. सावन में भक्तों की संख्या बढ़ जाती है. सावन में जलाभिषेक के लिए आने वाले भक्तों को किसी तरह की दिक्कत न हो, इसके खास इंतजाम किए गए हैं. मंदिर को इलेक्ट्रॉनिक लाइटों से सजाया जा चुका है. साथ ही मंदिर के आसपास सफाई व्यवस्था चाक चौबंद रहे, इसका भी पूरा ख्याल रखा जा रहा है.

प्राचीन वनखंडी महादेव मंदिर की देखरेख महंत भरतपुरी महाराज कर रहे हैं. वो कांवड़ियों के लिए विशेष सुविधा प्रबंध करवा रहे हैं. जैसे विश्राम की व्यवस्था, नहाने की व्यवस्था और मंदिर में प्रतिदिन तीन बार भंडारा होता है. सावन के महीने मंदिर में पूरे दिन भजन कीर्तन होते हैं.

ये भी पढ़ें : दूधेश्वर नाथ मठ मंदिर में सावन में उमड़ता है आस्था का सैलाब, जानिए क्या है मान्यता -

मंदिर पहुंचने का आसान माध्यमः अगर इस बार सावन में आप भी प्राचीन वनखंडी महादेव मंदिर में स्वयंभू शिवलिंग के दर्शन, पूजा या जलाभिषेक करना चाहते हैं तो रेल, बस और मेट्रो का इस्तेमाल करके आसानी से पहुंच सकते हैं. यह मंदिर पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन के सामने है. साथ ही नजदीकी मेट्रो स्टेशन चांदनी चौक है और बस स्टॉप पुरानी दिल्ली रेलवे स्टेशन है.

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Last Updated : Jul 27, 2024, 1:38 PM IST
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