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जीबी रोड पर पुलिसकर्मी की चाकू घोपकर हत्या मामले में चार लोग दोषी करार

दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट ने 2012 में एक पुलिसकर्मी की चाकू घोपकर हत्या के मामले में चार लोगों को दोषी करार दिया है. अब इस मामले की अगली सुनवाई 6 मार्च को होगी.

तीस हजारी कोर्ट
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Mar 4, 2024, 10:39 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट ने 2012 में जीबी रोड पर एक वेश्यालय के सामने एक पुलिसकर्मी की चाकू घोपकर हत्या मामले में चार लोगों को दोषी करार दिया है. एडिशनल सेशंस जज वीरेंद्र कुमार खर्ता ने दोषियों की सजा मामले पर अगली सुनवाई 6 मार्च को करने का आदेश दिया है.

कोर्ट ने जिन आरोपियों को दोषी करार दिया है, उनमें आशीष बहुगुना, सूरज, मनोज और अक्षय शामिल हैं. कोर्ट ने कहा कि घायल कांस्टेबल संदीप, इरशाद और शिकायतकर्ता हेड कांस्टेबल बलजीत के बयान भरोसे लायक हैं. उनके बयान यह साबित करने में सफल है कि आरोपी दोषी है. दिल्ली पुलिस ने इस मामले में 6 दिसंबर 2012 को चार्जशीट दाखिल किया था. कोर्ट ने 20 जुलाई 2013 को चार्जशीट पर संज्ञान लिया था.

बता दें, घटना 10 और 11 सितंबर, 2012 की रात 12 और सवा बारह बजे की है. उस रात जीबी रोड पर एक वेश्यालय के सामने चारों आरोपियों ने कांस्टेबल विजेंद्र को चाकू मारकर गंभीर रूप से घायल कर दिया. विजेंद्र के अलावा आरोपियों ने दो और कांस्टेबल संदीप व इरशाद पर भी चाकू से वार कर घायल कर दिया था. इस घटना में विजेंद्र की बाद में मौत हो गई थी.

दिल्ली पुलिस ने घटना के बाद कमला नगर पुलिस थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा 302, 307, 186, 353, 333 और 34 और आर्म्स एक्ट की धारा 25 के तहत एफआईआर दर्ज किया. दिल्ली पुलिस की ओर से वकील पंकज कुमार रंगा, जबकि आरोपियों की ओर से वकील शुभम शुक्ला, एसएस त्रिपाठी ने दलीलें रखी थी.

नई दिल्ली: दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट ने 2012 में जीबी रोड पर एक वेश्यालय के सामने एक पुलिसकर्मी की चाकू घोपकर हत्या मामले में चार लोगों को दोषी करार दिया है. एडिशनल सेशंस जज वीरेंद्र कुमार खर्ता ने दोषियों की सजा मामले पर अगली सुनवाई 6 मार्च को करने का आदेश दिया है.

कोर्ट ने जिन आरोपियों को दोषी करार दिया है, उनमें आशीष बहुगुना, सूरज, मनोज और अक्षय शामिल हैं. कोर्ट ने कहा कि घायल कांस्टेबल संदीप, इरशाद और शिकायतकर्ता हेड कांस्टेबल बलजीत के बयान भरोसे लायक हैं. उनके बयान यह साबित करने में सफल है कि आरोपी दोषी है. दिल्ली पुलिस ने इस मामले में 6 दिसंबर 2012 को चार्जशीट दाखिल किया था. कोर्ट ने 20 जुलाई 2013 को चार्जशीट पर संज्ञान लिया था.

बता दें, घटना 10 और 11 सितंबर, 2012 की रात 12 और सवा बारह बजे की है. उस रात जीबी रोड पर एक वेश्यालय के सामने चारों आरोपियों ने कांस्टेबल विजेंद्र को चाकू मारकर गंभीर रूप से घायल कर दिया. विजेंद्र के अलावा आरोपियों ने दो और कांस्टेबल संदीप व इरशाद पर भी चाकू से वार कर घायल कर दिया था. इस घटना में विजेंद्र की बाद में मौत हो गई थी.

दिल्ली पुलिस ने घटना के बाद कमला नगर पुलिस थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा 302, 307, 186, 353, 333 और 34 और आर्म्स एक्ट की धारा 25 के तहत एफआईआर दर्ज किया. दिल्ली पुलिस की ओर से वकील पंकज कुमार रंगा, जबकि आरोपियों की ओर से वकील शुभम शुक्ला, एसएस त्रिपाठी ने दलीलें रखी थी.

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