जोधपुर : हाल ही में जोधपुर नगर निगम में एक जीवित महिला का फर्जी मृत्यु प्रमाणपत्र जारी होने का मामला सामने आया था. उसके बाद अब जिले के पीपाड़ नगर पालिका क्षेत्र निवासी एक जीवित युवक को मृत घोषित कर मृत्यु प्रमाणपत्र जारी होने का प्रकरण सामने आया है. इसको लेकर युवक ने सोमवार को जोधपुर कलेक्ट्रेट के बाहर प्रदर्शन किया. साथ ही ज्ञापन देकर मामले की जांच की मांग की है. पीड़ित ने बताया कि उसके पिता ने उसे अपने भाई को गोद देकर उसका मृत प्रमाणपत्र बनवा लिया था. वहीं, पीड़ित की मदद के लिए 'मेरी भावना' संस्थान सामने आई है.
पीपाड़ निवासी सुमेर सिंह ने बताया कि हाल ही में उनकी शादी हुई है. ऐसे में उन्हें उनकी पत्नी के कागजात अपडेट करवाने थे. साथ ही उन्हें विवाह प्रमाणपत्र बनवाना था. इसके लिए वो ई-मित्र पर गए और जब परिवार के सदस्यों की लिस्ट अपडेट करवाने लगे तब उन्हें ई-मित्र पर पता चला कि परिवार की सूची में से उनका नाम कट गया है.
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इतना ही नहीं राशन कार्ड से भी उनका नाम कट गया था. इस पर जब वो पीपाड़ सिटी नगर पालिका गए तो उन्हें 181 हेल्पलाइन नंबर पर फोन करने को कहा गया. हेल्पलाइन से पता चला कि उन्हें डेटाबेस में मृत घोषित कर दिया गया है. साथ ही उनका मृत्यु प्रमाणपत्र भी जारी हो चुका है.
हालांकि, जब उन्होंने इस मामले को लेकर पीपाड़ सिटी नगर पालिका के अधिकारी से बात की तो उन्हें पालिका के गार्ड और अन्य अधिकारियों ने डराया धमकाया. कलेक्टर को दिए ज्ञापन में सुमेर सिंह ने मृत्यु प्रमाणपत्र को निरस्त करने की मांग की है.
साथ ही कहा कि उन्हें कागजों में जिंदा घोषित किया जाए. मेरी भावना संस्थान की संयोजक पवन मिश्रा ने बताया कि पीड़ित के पिता ने फर्जी गोदनामा कर उसे अमृत घोषित करवा दिया था. हमने प्रशासन से मांग की है कि इस मामले की जांच कर अविलंब कार्रवाई की जाए.