जींद: दातासिंह वाला-खनौरी बार्डर पर 21 फरवरी को किसानों के दिल्ली कूच करते समय जान गंवाने वाले किसान शुभकरण की अस्थियां गुरुवार को खटकड़ टोल पर रखी गई. अस्थियों के साथ किसानों द्वारा यहां धरना भी दिया गया. शुक्रवार को शुभकरण की अस्थियों को नारनौंद के माजरा प्याऊ में ले जाया जाएगा और वहां पर महांपचायत होगी.
हिसार में होने वाली किसानों की महापंचायत में किसान शुभकरण को न्याय दिलवाने की मांग की जाएगी. खटकड़ टोल कमेटी के सदस्य हरिकेश काब्रच्छा, कैप्टन भूपेंद्र सिंह, वेदप्रकाश बरसोला, फूल बरसोला समेत किसानों ने बताया कि 15 मार्च को शुभकरण के गांव से अस्थियों के साथ यात्रा शुरू हुई थी. विभिन्न रास्तों से होकर बुधवार शाम को अस्थियां खटकड़ टोल पर पहुंची. वीरवार को अस्थियां खटकड़ टोल पर रखी गई और किसानों द्वारा धरना दिया गया.
किसानों ने बताया कि फरवरी महीने में किसान दिल्ली जाने के लिए निकले थे तो प्रशासन ने उन्हें दातासिंहवाला खनौरी बार्डर पर रोक लिया था. इस दौरान पुलिस ने बल प्रयोग किया और आंसू गैस के गोले के साथ-साथ प्लास्टिक की गोलियां चलाई गई. प्रशासन और किसानों के बीच झड़प में किसान शुभकरण के सिर में गोली लग गई, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई थी. किसानों का कहना है कि शुभकरण की मौत पुलिस की गोली से हुई है लेकिन प्रशासन इससे इनकार कर रहा है.
किसान शुभकरण को न्याय दिलाने के लिए उनकी अस्थियों के साथ यह यात्रा निकाली जा रही है. किसान उसकी अस्थियों को अलग-अलग जगहों पर ले जाकर धरना दे रहे हैं. इसी कड़ी में गुरुवार को उसकी अस्थियां जींद के खनौरी बॉर्डर पर पहुंची. इस दौरान किसानों ने नारबाजी की. शुक्रवार को प्याऊ माजरा में अस्थियां पहुंचेंगी.
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