नई दिल्ली: दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (डीएमआरसी) मेट्रो के रखरखाव की जिम्मेदारी निजी हाथों में दे सकता है. इसके लिए डीएमआरसी की ओर से तैयारी शुरू कर दी गई है. सबसे पहले येलो लाइन पर चलने वाली मेट्रो के मेंटेनेंस का काम निजी कंपनी को दिया जाएगा. डीएमआरसी की ओर से टेंडर निकालने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है.
दिसंबर 2004 से नवंबर 2015 के बीच येलो लाइन कॉरिडोर का विस्तार हुआ था.
इस कॉरिडोर की कुल लंबाई 49 किलोमीटर है इस पर कुल 37 मेट्रो स्टेशन हैं और कुल 64 मेट्रो इस येलो लाइन पर चलती हैं. मेट्रो ट्रेनों के मेंटेनेंस के लिए वर्तमान में दिल्ली में तीन डिपो है जिसमें खैबर पास, सुल्तानपुर और बदली डिपो है. बदली डिपो की 20 मेट्रो ट्रेनों के मेंटेनेंस का काम 10 साल के लिए निजी एजेंसी को देने की तैयारी की जा रही है.
अधिकारियों से मिली जानकारी के मुताबिक यदि डीएमआरसी 10 साल के लिए मेट्रो के मेंटेनेंस का काम निजी एजेंसी को देता है तो इसमें करीब 400 करोड रुपए का खर्च आएगा मौजूदा समय में ट्रेनों के रखरखाव डीएमआरसी खुद करती है. रखरखाव पर खर्च कम करने के लिए या पहले पीएमसी की ओर से की गई है बता दे येलो लाइन पर पिछले कुछ साल से मेट्रो के परिचालन जिम्मेदारी भिन्न निजी एजेंसी की संभाल रही है.
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