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संभल में सैकड़ों साल पुराने एक और कूप की खोदाई, बगल में प्राचीन माता मंदिर पर कब्जा - SAMBHAL NEWS

स्थानीय लोगों ने सैकड़ों साल पुराने मंदिर को कब्जा मुक्त कराने की सीएम योगी और पीएम मोदी से लगाई गुहार

संभल में पुराने कूप की खुदाई.
संभल में पुराने कूप की खुदाई. (Photo Credit; ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Jan 2, 2025, 3:38 PM IST

संभल: संभल में लगातार तीर्थ स्थल, कुएं और कूपों की खोज के बाद एक और प्राचीन कूप एवं माता के मंदिर की खोज हुई है. प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर कूप की खोदाई का कार्य शुरू कराया है.

जबकि यहां के रहने वाले हिंदू समाज के लोगों ने मंदिर को कब्जा मुक्त कराने की पीएम मोदी और सीएम योगी से गुहार लगाई है.

स्थानीय लोगों ने मंदिर को कब्जा मुक्त कराने की मांग की. (Video Credit; ETV Bharat)
बता दें कि संभल में इस समय तमाम तीर्थ स्थल, कुएं और कूपों को संरक्षित करने का काम जारी है. जिला प्रशासन अवैध अतिक्रमण कर लिए गए तमाम कुएं और कूपों की खोदाई करा रहा है. इसी कड़ी में प्रशासन ने गुरुवार को सदर कोतवाली इलाके के महमूद खां सराय में पाट दिए गए सैकड़ों साल पुराने कूप की खुदाई कार्य शुरू कराई है. नगर पालिका की टीम इस कूप की खोदाई कर रही है. वहीं, कूप के बगल में प्राचीन चामुंडा देवी का मंदिर भी है.

स्थानीय लोगों का आरोप है कि दूसरे समुदाय के लोगों ने कूप को पाट कर अवैध कब्जा कर लिया था. 30 से 40 साल पहले तक इस कूप में पानी हुआ करता था. यहां के रहने वाले सभी हिंदू समुदाय के लोग इसके पानी का इस्तेमाल किया करते थे. जबकि इसी के बगल में स्थित माता रानी के मंदिर पर लोग हवन पूजन, भंडारे आदि करते थे. शादी समारोह के दौरान घुड़चढ़ी भी मंदिर से हुआ करती थी.

कस्तूरी का कहना है कि हिंदू समुदाय के ही शख्स ने मंदिर की जमीन पर अवैध कब्जा कर लिया. मंदिर को चार दीवारी में करते हुए पूजा पाठ के लिए नाम मात्र की जगह छोड़ दी. अब यहां के हिंदू समुदाय के लोगों को एक बड़े से फाटक के अंदर से गुजर कर मंदिर में पूजा करने के लिए जाना पड़ता है. स्थानीय निवासी राखी का कहना है कि फाटक के अंदर मेंथा फैक्ट्री संचालित है, जिसमें दूसरे समुदाय के लोग काम करते हैं. ऐसे में मंदिर में पूजा करने के लिए महिलाओं को समूह में जाना पड़ता है. अकेली महिला डर की वजह से पूजा अर्चना करने नहीं जाती.

वीर सिंह का कहना है कि कई-कई घंटे उन्हें फाटक के बाहर ही खड़ा रहना पड़ता है, जब कोई दरवाजा नहीं खोलता तो मजबूर होकर उन्हें बाहर से ही हाथ जोड़कर जाना पड़ता है. मुस्लिम आबादी से घिरे मंदिर के आसपास 30 से 40 हिंदू परिवार रहते हैं. सूरजमुखी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मंदिर को संरक्षित कराते हुए भूमि पर कर लिए गए अवैध कब्जे को कब्जा मुक्त कराने की गुहार लगाई है.

इसे भी पढ़ें-संभल में रानी की बावड़ी में फिर शंख लेकर घुसा युवक; शंखनाद करने से रोकने पर किया हंगामा

संभल: संभल में लगातार तीर्थ स्थल, कुएं और कूपों की खोज के बाद एक और प्राचीन कूप एवं माता के मंदिर की खोज हुई है. प्रशासन ने मौके पर पहुंचकर कूप की खोदाई का कार्य शुरू कराया है.

जबकि यहां के रहने वाले हिंदू समाज के लोगों ने मंदिर को कब्जा मुक्त कराने की पीएम मोदी और सीएम योगी से गुहार लगाई है.

स्थानीय लोगों ने मंदिर को कब्जा मुक्त कराने की मांग की. (Video Credit; ETV Bharat)
बता दें कि संभल में इस समय तमाम तीर्थ स्थल, कुएं और कूपों को संरक्षित करने का काम जारी है. जिला प्रशासन अवैध अतिक्रमण कर लिए गए तमाम कुएं और कूपों की खोदाई करा रहा है. इसी कड़ी में प्रशासन ने गुरुवार को सदर कोतवाली इलाके के महमूद खां सराय में पाट दिए गए सैकड़ों साल पुराने कूप की खुदाई कार्य शुरू कराई है. नगर पालिका की टीम इस कूप की खोदाई कर रही है. वहीं, कूप के बगल में प्राचीन चामुंडा देवी का मंदिर भी है.

स्थानीय लोगों का आरोप है कि दूसरे समुदाय के लोगों ने कूप को पाट कर अवैध कब्जा कर लिया था. 30 से 40 साल पहले तक इस कूप में पानी हुआ करता था. यहां के रहने वाले सभी हिंदू समुदाय के लोग इसके पानी का इस्तेमाल किया करते थे. जबकि इसी के बगल में स्थित माता रानी के मंदिर पर लोग हवन पूजन, भंडारे आदि करते थे. शादी समारोह के दौरान घुड़चढ़ी भी मंदिर से हुआ करती थी.

कस्तूरी का कहना है कि हिंदू समुदाय के ही शख्स ने मंदिर की जमीन पर अवैध कब्जा कर लिया. मंदिर को चार दीवारी में करते हुए पूजा पाठ के लिए नाम मात्र की जगह छोड़ दी. अब यहां के हिंदू समुदाय के लोगों को एक बड़े से फाटक के अंदर से गुजर कर मंदिर में पूजा करने के लिए जाना पड़ता है. स्थानीय निवासी राखी का कहना है कि फाटक के अंदर मेंथा फैक्ट्री संचालित है, जिसमें दूसरे समुदाय के लोग काम करते हैं. ऐसे में मंदिर में पूजा करने के लिए महिलाओं को समूह में जाना पड़ता है. अकेली महिला डर की वजह से पूजा अर्चना करने नहीं जाती.

वीर सिंह का कहना है कि कई-कई घंटे उन्हें फाटक के बाहर ही खड़ा रहना पड़ता है, जब कोई दरवाजा नहीं खोलता तो मजबूर होकर उन्हें बाहर से ही हाथ जोड़कर जाना पड़ता है. मुस्लिम आबादी से घिरे मंदिर के आसपास 30 से 40 हिंदू परिवार रहते हैं. सूरजमुखी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मंदिर को संरक्षित कराते हुए भूमि पर कर लिए गए अवैध कब्जे को कब्जा मुक्त कराने की गुहार लगाई है.

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