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दिल्ली को मिलेगी भीषण जाम से निजात, 32 कॉर‍िडोर होंगे एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से लैस - DTP Adaptive Traffic Control System

द‍िल्‍ली ट्रैफ‍िक पुल‍िस राजधानी की यातायात व्यवस्था को दुरूस्‍त करने में जुटी है. लोगों को जाम से छुटकारा दिलाने के लिए यहां के 32 कॉर‍िडोर को एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से लैस करने की तैयारी की जा रही है.

दिल्ली में लागू होगा एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम
दिल्ली में लागू होगा एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम (Etv Bharat)
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Sep 3, 2024, 4:00 PM IST

नई दिल्ली: आने वाले द‍िनों में दिल्ली की सड़कों पर लगने वाले लंबे जाम से लोगों को छुटकारा म‍िल सकेगा. ट्रैफ‍िक स‍िग्‍नल पर लगने वाली वाहनों की लंबी कतार से निजात पाने के लिए द‍िल्‍ली ट्रैफ‍िक पुल‍िस की ओर से खास योजना लागू करने की तैयारी की जा रही है. द‍िल्‍ली पुल‍िस ने राजधानी के 32 ऐसे कॉर‍िडोर की पहचान की है जहां शुरुआत में इसको पायलट प्रोजक्‍ट के तौर पर लागू क‍िया जाएगा. इन सभी कॉर‍िडोर को ऑटोमेटिक सिग्नल लाइट यानी एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से लैस क‍िया जाएगा. अगर यह पायलट प्रोजेक्‍ट सफल होता है तो पूरी द‍िल्‍ली में इसको बड़े स्‍तर पर लागू क‍िया जाएगा.

द‍िल्ली के उपराज्‍यपाल वीके सक्‍सेना ने भी पिछले दिनों दिल्ली ट्रैफिक व्यवस्था को लेकर लगातार कई रिव्यू मीटिंग की है. इन मीट‍िंग्‍स में द‍िल्‍ली पुल‍िस, द‍िल्‍ली ट्रैफ‍िक पुल‍िस के अलावा द‍िल्‍ली सरकार के पर‍िवहन व‍िभाग के आला अफसर भी मौजूद रहे हैं. इस दौरान ट्रैफ‍िक पुल‍िस को अपने ऐप को अपग्रेड करने और आम लोगों को 'ट्रैफिक प्रहरी' के रूप में ऐप में जोड़ने के निर्देश भी दिए थे. जिससे कि आम लोग दिल्ली में किसी तरह के ट्रैफिक नियमों के उल्‍लंघन से जुड़े मामलों को यहां पर ट्रैफिक प्रहरी के रूप में उजागर कर सकेंगे.

ट्रैफिक पुलिस ने पहले इंटेलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (ITMS) प्रोजेक्ट तैयार किया था

द‍िल्‍ली के चुनिंदा सिग्नल लाइट्स पर शुरुआत में इस प्रोजेक्‍ट को अमल में लाया जाएगा. दरअसल, दिल्ली ट्रैफिक पुलिस की तरफ से काफी समय पहले इंटेलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (ITMS) प्रोजेक्ट तैयार किया था. वहीं, अब दिल्ली की कई सड़कों पर लगने वाले भीषण जाम और ट्रैफिक सिग्नल पर वाहनों की लंबी कतारों से छुटकारा दिलाने के लिए ITMS प्‍लान को तेजी से लागू करने की दिशा में काम शुरू कर दिया है.

ये भी पढ़ें: दिल्ली का मिंटो ब्रिज दो दिन के लिए रहेगा बंद, ट्रैफिक पुलिस ने जारी की एडवाइजरी

इस सिस्टम के लागू होने के बाद सिग्नल लाइट को ऑटोमेटिक मोड पर चलाना संभव हो सकेगा. साथ ही ट्रैफिक पुलिसकर्मियों को भी इन रेड लाइट पर तैनात करने की जरूरत भी नहीं पड़ेगी. इतना ही नहीं इस सिस्टम के पूरी तरीके से अमल में आने के बाद वाहन चालकों की ओर से ट्रैफिक नियमों का अगर उल्लंघन किया जाता है तो उनका आसानी से चालान भी क‍िया जा सकेगा. रेड लाइट उल्‍लंघन करने से लेकर ओवर स्पीड या स्टॉप लाइन वायलेशन आदि से जुड़े चालान इस सिस्टम के जरिए क‍िए जा सकेंगे.

37 कॉरिडोर को एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से किया जाएगा लैस

दिल्ली ट्रैफिक पुलिस के आधिकारिक सूत्रों की माने तो ज‍िन ट्रेफ‍िक स‍िग्‍नलों को एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से लैस क‍िया जाएगा उसके ल‍िए 37 कॉरिडोर की पहचान की गई है. ट्रैफिक पुलिस के अधिकारियों की मानें तो इस सिस्टम के लागू होने से उस तरफ की ज्यादा देर तक ग्रीन सिग्नल रहेगी ज‍िस तरफ वाहनों की संख्या ज्यादा होगी. इसके साथ ही जिस कैरि‍ज्‍व की तरफ व्‍हीकल की संख्या ज्यादा होगी, उस तरफ की लाइट भी ऑटोमेटिक ग्रीन हो जाएगी.

दिल्ली पुलिस ने अब इस दिशा में और तेजी से काम शुरू कर दिया गया है और प्रोजेक्ट से जुड़ी हुई फ़ाइल को केंद्रीय गृह मंत्रालय के पास मंजूरी के ल‍िए भेजा गया है. माना जा रहा है कि प्रोजेक्‍ट से संबंधित फाइल को गृह मंत्रालय की जल्‍द मंजूरी म‍िल जाएगी. वहीं, इस पूरे प्रोजेक्ट की ड‍िटेल्‍ड र‍िपोर्ट यानी डीपीआर तैयार करने का ज‍िम्‍मा त्रिवेंद्रम बेस्‍ड एक सरकारी कंपनी सी-डेक को सौंपा गया है.

ये भी पढ़ें: ट्रैफिक पुलिस को भेजिए नियम तोड़ने वालों की फोटो, इनाम में मिलेंगे पूरे 50 हजार, पढ़िए क्या है ये नई पहल

नई दिल्ली: आने वाले द‍िनों में दिल्ली की सड़कों पर लगने वाले लंबे जाम से लोगों को छुटकारा म‍िल सकेगा. ट्रैफ‍िक स‍िग्‍नल पर लगने वाली वाहनों की लंबी कतार से निजात पाने के लिए द‍िल्‍ली ट्रैफ‍िक पुल‍िस की ओर से खास योजना लागू करने की तैयारी की जा रही है. द‍िल्‍ली पुल‍िस ने राजधानी के 32 ऐसे कॉर‍िडोर की पहचान की है जहां शुरुआत में इसको पायलट प्रोजक्‍ट के तौर पर लागू क‍िया जाएगा. इन सभी कॉर‍िडोर को ऑटोमेटिक सिग्नल लाइट यानी एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से लैस क‍िया जाएगा. अगर यह पायलट प्रोजेक्‍ट सफल होता है तो पूरी द‍िल्‍ली में इसको बड़े स्‍तर पर लागू क‍िया जाएगा.

द‍िल्ली के उपराज्‍यपाल वीके सक्‍सेना ने भी पिछले दिनों दिल्ली ट्रैफिक व्यवस्था को लेकर लगातार कई रिव्यू मीटिंग की है. इन मीट‍िंग्‍स में द‍िल्‍ली पुल‍िस, द‍िल्‍ली ट्रैफ‍िक पुल‍िस के अलावा द‍िल्‍ली सरकार के पर‍िवहन व‍िभाग के आला अफसर भी मौजूद रहे हैं. इस दौरान ट्रैफ‍िक पुल‍िस को अपने ऐप को अपग्रेड करने और आम लोगों को 'ट्रैफिक प्रहरी' के रूप में ऐप में जोड़ने के निर्देश भी दिए थे. जिससे कि आम लोग दिल्ली में किसी तरह के ट्रैफिक नियमों के उल्‍लंघन से जुड़े मामलों को यहां पर ट्रैफिक प्रहरी के रूप में उजागर कर सकेंगे.

ट्रैफिक पुलिस ने पहले इंटेलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (ITMS) प्रोजेक्ट तैयार किया था

द‍िल्‍ली के चुनिंदा सिग्नल लाइट्स पर शुरुआत में इस प्रोजेक्‍ट को अमल में लाया जाएगा. दरअसल, दिल्ली ट्रैफिक पुलिस की तरफ से काफी समय पहले इंटेलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम (ITMS) प्रोजेक्ट तैयार किया था. वहीं, अब दिल्ली की कई सड़कों पर लगने वाले भीषण जाम और ट्रैफिक सिग्नल पर वाहनों की लंबी कतारों से छुटकारा दिलाने के लिए ITMS प्‍लान को तेजी से लागू करने की दिशा में काम शुरू कर दिया है.

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इस सिस्टम के लागू होने के बाद सिग्नल लाइट को ऑटोमेटिक मोड पर चलाना संभव हो सकेगा. साथ ही ट्रैफिक पुलिसकर्मियों को भी इन रेड लाइट पर तैनात करने की जरूरत भी नहीं पड़ेगी. इतना ही नहीं इस सिस्टम के पूरी तरीके से अमल में आने के बाद वाहन चालकों की ओर से ट्रैफिक नियमों का अगर उल्लंघन किया जाता है तो उनका आसानी से चालान भी क‍िया जा सकेगा. रेड लाइट उल्‍लंघन करने से लेकर ओवर स्पीड या स्टॉप लाइन वायलेशन आदि से जुड़े चालान इस सिस्टम के जरिए क‍िए जा सकेंगे.

37 कॉरिडोर को एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से किया जाएगा लैस

दिल्ली ट्रैफिक पुलिस के आधिकारिक सूत्रों की माने तो ज‍िन ट्रेफ‍िक स‍िग्‍नलों को एडाप्टिव ट्रैफिक कंट्रोल सिस्टम से लैस क‍िया जाएगा उसके ल‍िए 37 कॉरिडोर की पहचान की गई है. ट्रैफिक पुलिस के अधिकारियों की मानें तो इस सिस्टम के लागू होने से उस तरफ की ज्यादा देर तक ग्रीन सिग्नल रहेगी ज‍िस तरफ वाहनों की संख्या ज्यादा होगी. इसके साथ ही जिस कैरि‍ज्‍व की तरफ व्‍हीकल की संख्या ज्यादा होगी, उस तरफ की लाइट भी ऑटोमेटिक ग्रीन हो जाएगी.

दिल्ली पुलिस ने अब इस दिशा में और तेजी से काम शुरू कर दिया गया है और प्रोजेक्ट से जुड़ी हुई फ़ाइल को केंद्रीय गृह मंत्रालय के पास मंजूरी के ल‍िए भेजा गया है. माना जा रहा है कि प्रोजेक्‍ट से संबंधित फाइल को गृह मंत्रालय की जल्‍द मंजूरी म‍िल जाएगी. वहीं, इस पूरे प्रोजेक्ट की ड‍िटेल्‍ड र‍िपोर्ट यानी डीपीआर तैयार करने का ज‍िम्‍मा त्रिवेंद्रम बेस्‍ड एक सरकारी कंपनी सी-डेक को सौंपा गया है.

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