नई दिल्ली: एनएसयूआई के अध्यक्ष पद के उम्मीदवार स्टूडेंट्स के हितों की लड़ाई लड़ रहे हैं. ईटीवी भारत से बातचीत में उन्होंने कहा कि चुनाव में उनके वही मुद्दे हैं जिन मुद्दों पर काम करने की जरूरत है. जो मुद्दे सीधे छात्र-छात्राओं संबंध रखते हैं.
स्टूडेंट्स के हितों के लिए कोर्ट तक गयाः रौनक
रौनक खत्री ने कहा कि मेरा यह वादा है कि एनएसयूआई के घोषणा पत्र में हमने जो 18 वायदे किए हैं, चुनाव में जीत के बाद वह सारे वादे पूरे करूंगा. मैं बिना किसी पद पर रहते हुए पीने के पानी और कक्षाओं में एसी की समस्या के लिए कोर्ट गया था. कोर्ट के निर्देश पर क्लासरूम में एसी भी लगे और पीने के पानी की व्यवस्था के लिए वाटर कूलर भी लगाए गए. रौनक ने कहा की डूसू के इतिहास में मैं ऐसा पहला प्रत्याशी हूं जो छात्रों की समस्या के लिए कोर्ट गया. इससे एक बहुत बड़ा एग्जांपल सेट हुआ है.
'इस बार बड़ा बदलाव होने जा रहा है'
रौनक खत्री ने कहा कि छात्रों को भी पता है कि मैंने और मेरी पार्टी ने उनकी लड़ाई लड़ी है. छात्रों को पता है कि हम काम करना और कराना जानते हैं. इसलिए हम भारी बहुमत से चुनाव जीतने जा रहे हैं. इस बार दिल्ली विश्वविद्यालय में बदलाव होने वाला है. चुनाव से पहले ही छात्रों की समस्याओं को डीयू प्रशासन के सामने उठाता रहा हूं. बिना किसी छात्र संगठन में रहते हुए मैंने छात्र हितों की लड़ाई शुरू की. मैंने खुद अपने स्तर पर पीने के पानी के लिए मटके भी रखवाए.
मटकामैन पर यह बोले रौनक
मटकामैन के नाम से जाने जाने के सवाल पर रौनक ने कहा कि क्योंकि डीयू का नॉर्थ केंपस बहुत बड़ा है. कई जगह पानी पीने के लिए वाटर कूलर लगे हैं तो कई जगह इनकी कमी है. इसलिए पीने के पानी के लिए मटके भी रखवाने पढ़ते हैं. कई जगह मैंने खुद मटके रखवाए थे और कई बार पानी के लिए प्रदर्शन में भी मटके का इस्तेमाल किया. इसलिए लोग मुझे मटकामैन के नाम से जानने लगे.
आरक्षण पर रौनक खत्री ने की बात
रौनक ने कहा कि डीयू के हॉस्टलों में ओबीसी छात्रों को आरक्षण नहीं मिलता है. उनको हॉस्टल में आरक्षण दिलाना भी हमारे घोषणा पत्र का हिस्सा है उसे भी पूरा करेंगे. वीडियो में महिला सुरक्षा के सवाल पर रौनक ने कहा कि पीसीआर की व्यवस्था होनी चाहिए रात के समय कॉलेज कैंपस के बाहर स्ट्रीट लाइट जलती रहे. लेकिन, इसकी पर्याप्त व्यवस्था नहीं है. मैं पूछना चाहता हूं कि एबीवीपी इतने समय से डूसू में क्या कर रही थी. चुनाव जीतने के बाद सबसे पहले कौन सा काम करने की प्राथमिकता रहेगी सवाल पर रौनक ने कहा कि मेरी प्राथमिकता इंफ्रास्ट्रक्चर क्लासरूम में एसी, वाई-फाई सीसीटीवी कैमरे की व्यवस्था हो यही हमारी मांग रहेगी. छात्रों के लिए पैड वेंडिंग मशीन की व्यवस्था होनी चाहिए. एबीवीपी का आरोप है कि एनएसयूआई सिर्फ चुनाव के समय में एक्टिव होती है. इसको लेकर रौनक ने कहा कि यह उनका फर्जी आरोप है. चुनाव से पहले तो हम छात्रों की मूलभूत सुविधाओं के लिए कोर्ट जाकर आ चुके हैं. कोर्ट से ऑर्डर भी लेकर आ चुके हैं. जब हमें पीने का पानी नहीं मिल रहा था तब एबीवीपी के लोग कहां थे. डूसू में प्रेसिडेंट, सेक्रेटरी, जॉइंट सेक्रेटरी सब एबीवीपी के थे, लेकिन, फिर भी छात्रों की मूलभूत सुविधाओं के लिए कोई काम नहीं हुआ. हम इस बार डूसू में जीत दर्ज करके उन्हें दिखाना चाहेंगे कि यह काम हो सकते हैं.
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