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जंतर मंतर पर प्रदर्शन करने पहुंचे लोगों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया, जानें पूरी कहानी - Jantar Mantar protest

Bhagat Singh Jan Adhikar Yatra: दिल्ली के जंतर-मंतर पर रविवार को भगत सिंह जन अधिकार यात्रा में शामिल कई लोगों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया है.

लोगों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया
लोगों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Mar 3, 2024, 7:43 PM IST

लोगों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया

नई दिल्ली: दिल्ली के जंतर-मंतर पर रविवार को भगत सिंह जन अधिकार यात्रा के दूसरे चरण का समापन होना था. इसके चलते भारी संख्या में प्रदर्शनकारी अपनी विभिन्न मांगों को लेकर जंतर मंतर पहुंचे थे. इस दौरान दिल्ली पुलिस ने कई लोगों को हिरासत में लिया.

दिल्ली स्टेट आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन की संयोजक प्रियमवाद ने बताया कि इस रैली को कई जाने-माने वकील, एक्टिविस्ट और ट्रेड यूनियन नेताओं के साथ देश भर से आए सामाजिक कार्यकर्ता संबोधित करने वाले थे. पुलिस ने जबरदस्ती सैकड़ों मजदूरों, कर्मचारियों, स्त्रियों और छात्रों-नौजवानों को हिरासत में लिया है. प्रियमवाद का आरोप है कि दिल्ली पुलिस अमित शाह के इशारे पर कल रात से ही रैली को नाकाम करने में जुटी थी. तमाम लोगों को रात में ही पुलिस ने उठा लिया, जगह-जगह नाकाबंदी और घेराबंदी कर दी.

जंतर-मंतर पर सैकड़ों लोगों को बल प्रयोग करके हिरासत में ले लिया. बवाना औद्योगिक क्षेत्र में हड़ताल करके रैली में आने के लिए जुट रहे मजदूरों पर लाठीचार्ज किया गया. पहली बार गिरफ्तारी के बाद दोपहर बीतते-बीतते सैकड़ों छात्र-युवा फिर से जंतर-मंतर पहुंच गए. लेकिन उन्हें फिर से पुलिस ने हिरासत में ले लिया. जंतर-मंतर के आसपास जबरदस्त बैरिकेडिंग करके लगभग 1000 पुलिसवालों की तैनाती की गई. लेकिन लोगों के हौसले पस्त करने में वे नाकाम रहे.

प्रियमवाद ने आगे बताया कि पुलिस की हर तिकड़म के बावजूद सैकड़ों की तादाद में विभिन्न संगठनों और यूनियनों के कार्यकर्ता, छात्र, युवा 11 बजे से जंतर-मंतर पहुंचने लगे थे. इस शान्तिपूर्ण प्रदर्शन से घबरायी सरकार के इशारे पर पुलिस ने महिलाओं समेत सैकड़ों लोगों को बुरी तरह घसीट-घसीटकर बसों में भरा. उन्होंने कहा कि इस यात्रा को भारत की क्रांतिकारी मजदूर पार्टी, दिशा छात्र संगठन, दिल्ली स्टेट आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन, बिगुल मजदूर दस्ता समेत विभिन्न संगठनों और यूनियनों की ओर से चलाई जा रही है.

वहीं, दिल्ली स्टेट आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन की शिवानी ने कहा कि पिछले 10 दिसंबर को बेंगलुरु से शुरू हुई भगत सिंह जनअधिकार यात्रा अपने दूसरे चरण में देश के 13 राज्यों के 80 से ज़्यादा जिलों से होकर गुजरी. इस दौरान यात्रा ने 8,500 किलोमीटर से ज़्यादा की दूरी तय की और देश के अलग-अलग गांवों-शहरों, औद्योगिक इलाक़ों, शैक्षणिक परिसरों से होकर गुज़री और मोदी सरकार की जनविरोधी नीतियों का पर्दाफ़ाश किया. इसलिए सरकार इस आवाज़ को दबाने पर आमादा है.

लोगों को दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिया

नई दिल्ली: दिल्ली के जंतर-मंतर पर रविवार को भगत सिंह जन अधिकार यात्रा के दूसरे चरण का समापन होना था. इसके चलते भारी संख्या में प्रदर्शनकारी अपनी विभिन्न मांगों को लेकर जंतर मंतर पहुंचे थे. इस दौरान दिल्ली पुलिस ने कई लोगों को हिरासत में लिया.

दिल्ली स्टेट आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन की संयोजक प्रियमवाद ने बताया कि इस रैली को कई जाने-माने वकील, एक्टिविस्ट और ट्रेड यूनियन नेताओं के साथ देश भर से आए सामाजिक कार्यकर्ता संबोधित करने वाले थे. पुलिस ने जबरदस्ती सैकड़ों मजदूरों, कर्मचारियों, स्त्रियों और छात्रों-नौजवानों को हिरासत में लिया है. प्रियमवाद का आरोप है कि दिल्ली पुलिस अमित शाह के इशारे पर कल रात से ही रैली को नाकाम करने में जुटी थी. तमाम लोगों को रात में ही पुलिस ने उठा लिया, जगह-जगह नाकाबंदी और घेराबंदी कर दी.

जंतर-मंतर पर सैकड़ों लोगों को बल प्रयोग करके हिरासत में ले लिया. बवाना औद्योगिक क्षेत्र में हड़ताल करके रैली में आने के लिए जुट रहे मजदूरों पर लाठीचार्ज किया गया. पहली बार गिरफ्तारी के बाद दोपहर बीतते-बीतते सैकड़ों छात्र-युवा फिर से जंतर-मंतर पहुंच गए. लेकिन उन्हें फिर से पुलिस ने हिरासत में ले लिया. जंतर-मंतर के आसपास जबरदस्त बैरिकेडिंग करके लगभग 1000 पुलिसवालों की तैनाती की गई. लेकिन लोगों के हौसले पस्त करने में वे नाकाम रहे.

प्रियमवाद ने आगे बताया कि पुलिस की हर तिकड़म के बावजूद सैकड़ों की तादाद में विभिन्न संगठनों और यूनियनों के कार्यकर्ता, छात्र, युवा 11 बजे से जंतर-मंतर पहुंचने लगे थे. इस शान्तिपूर्ण प्रदर्शन से घबरायी सरकार के इशारे पर पुलिस ने महिलाओं समेत सैकड़ों लोगों को बुरी तरह घसीट-घसीटकर बसों में भरा. उन्होंने कहा कि इस यात्रा को भारत की क्रांतिकारी मजदूर पार्टी, दिशा छात्र संगठन, दिल्ली स्टेट आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन, बिगुल मजदूर दस्ता समेत विभिन्न संगठनों और यूनियनों की ओर से चलाई जा रही है.

वहीं, दिल्ली स्टेट आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन की शिवानी ने कहा कि पिछले 10 दिसंबर को बेंगलुरु से शुरू हुई भगत सिंह जनअधिकार यात्रा अपने दूसरे चरण में देश के 13 राज्यों के 80 से ज़्यादा जिलों से होकर गुजरी. इस दौरान यात्रा ने 8,500 किलोमीटर से ज़्यादा की दूरी तय की और देश के अलग-अलग गांवों-शहरों, औद्योगिक इलाक़ों, शैक्षणिक परिसरों से होकर गुज़री और मोदी सरकार की जनविरोधी नीतियों का पर्दाफ़ाश किया. इसलिए सरकार इस आवाज़ को दबाने पर आमादा है.

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