बिलासपुर : दिल्ली कोचिंग सेंटर हादसे के बाद बिलासपुर प्रशासन भी एक्टिव हो गई है. प्रशासन की टीम शहर मे संचालित अलग अलग कोचिंग संस्थानों में सुरक्षा मानकों की जांच करने जा रही है. कलेक्टर अवनीश शरण ने एसडीएम के अध्यक्षता में पांच सदस्यीय कमेटी बनाई है. कमेटी पांच बिंदुओं पर जांच कर दस दिन में अपनी रिपोर्ट सौंपेगी.
शहर के कोचिंग सेंटरों की होगी जांच : बिलासपुर शहर में सीजी पीएससी, यूपीएससी, नेट, स्लेट, सिविल जज, एडीपीओ, व्यापम आदि भर्ती परीक्षाओं की तैयारी करने वाले युवाओं का गढ़ है. बिलासपुर का गांधी चौक कोचिंग संस्थानों का हब माना जाता है. यहां बड़ी संख्या में कॉम्प्लेक्स व बिल्डिंगों में कई कोचिंग सेंटर संचालित हैं. कई कोचिंग संस्थानों के खुद के भवन हैं और कई कोचिंग किराए के भवनों में संचालित है. प्रदेश भर के युवा यहां आकर भर्ती परीक्षाओं की तैयारी करते हैं.
कलेक्टर ने जांच के लिए बनाई कमेटी : बिलासपुर कलेक्टर अवनीश शरण ने कोचिंग में सुरक्षा मानकों की जांच के लिए पांच सदस्यीय कमेटी बनाई है. ताकि अभ्यर्थियों की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके. एसडीएम बिलासपुर कलेक्टर द्वारा बनाई गई कमेटी के अध्यक्ष होंगे. इसके अलावा एडिशनल एसपी शहर, अप्रयुक्त नगर पालिका निगम, होमगार्ड के डिस्ट्रिक्ट कमांडेंट, अपर संचालक उच्च शिक्षा सदस्य है.
कोचिंग सेंटरों में मिली खामियां, नोटिस जारी : जांच कमेटी बुधवार शाम शहर के कोचिंग सेंटरों में पहुंची. इस दौरान जिन कोचिंग सेंटरों में जांच के दौरान अव्यवस्था पाई गई, उन्हें नोटिस जारी किया गया. इसके साथ ही फायर सेफ्टी को लेकर जरूरी निर्देश दिए गए. इसके अलावा दिल्ली आईएएस, कल्पवृक्ष, आचार्या और मोशन कोचिंग सेंटरों की भी जांच की गई. इन संस्थानों में पार्किंग और फायर सेफ्टी की कमियां पाई गई. कमेटी ने जिसे 3 दिनों के भीतर ठीक करने कहा गया है। इसके बाद नियमों की अनदेखी करने वालों पर कार्रवाई की जाएगी।